बीजेपी युवा मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष और बेंगलुरु से सांसद तेजस्वी सूर्या इन दिनों चर्चा में बने हुए हैं. तेजस्वी सूर्या पर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के घर पर हमला करने का आरोप लगा है. सूर्या, बीजेपी के सबसे तेज-तर्रार युवा चेहरों में गिने जाते हैं. वे अभी 31 साल के हैं.


तेजस्वी सूर्या ने 2019 में अपने एक भाषणा से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और तब के रहे बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह का दिल जीत लिया था. इसके बाद सूर्या को बेंगलुरु से सांसद बनाया गया और फिर उन्हें बीजेपी युवा मोर्चा का राष्ट्रीय अध्यक्ष भी बना दिया गया. सूर्या 26 सितंबर 2020 से भारतीय जनता युवा मोर्चा के अध्यक्ष हैं. 


9 साल की उम्र में बेची थी पेंटिंग, दान किए पैसे


तेजस्वी सूर्या का पूरा नाम लक्ष्य सूर्यनारायण तेजस्वी सूर्य है. उनका जन्म 16 नवंबर 1990 को बेंगलुरु में हुआ था. सूर्या की माता का नाम रामा है. उनके पिता पिता एल ए सूर्यनारायण आबकारी के संयुक्त आयुक्त रहे हैं. 9 साल की उम्र में सेंट पॉल स्कूल में पढ़ने के दौरान उन्होंने अपनी एक पेंटिंग बेच दी थी और वो पैसे करगिल शहीदों के परिवार के लिए बनाए गए फंड में दान किया.


अंग्रेजी में क्रिएटिव राइटिंग के लिए हुए सम्मानित


2021 में उन्हें अंग्रेजी में क्रिएटिव राइटिंग के लिए राष्ट्रीय बालश्री पुरस्कार से सम्मानित किया गया था. स्कूलिंग के बाद उन्होंने बेंगलुरु इंस्टीट्यूट ऑफ लीगल स्टडीज से लॉ की पढ़ाई की. उन्होंने एलएलबी की डिग्री ली. इसके अलावा उन्होंने कर्नाटिक म्यूजिक में भी महारत हासलि की. 


2014 लोकसभा चुनाव में सक्रिय रूप से भूमिका निभाई


तेजस्वी सूर्या एनजीओ 'एराइज इंडिया' (Arise India) के मालिक हैं, जो स्कूली शिक्षा के क्षेत्र में काम करती है. सूर्या पहले इंडियाफैक्ट्स (IndiaFacts)के लिए लिख चुके हैं. तेजस्वी कॉलेज के समय से ही बीजेपी के छात्र संगठन यानी अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) से जुड़ गए थे. इसके बाद भारतीय जनता युवा मोर्चा में शामिल हो गए. पार्टी ने उन्हें युवा मोर्चा का महासचिव बनाया. तेजस्वी ने 2014 लोकसभा चुनाव के दौरान बीजेपी के प्रचार में सक्रिय रूप से भूमिका निभाई और 2017 में उन्होंने बीजेपी की 'मैंगलोर चलो' रैली आयोजित करने में मदद की.


कर्नाटक बीजेपी की डिजिटल टीम का किया नेतृत्व


इसके बाद तेजस्वी ने कर्नाटक विधानसभा चुनाव के दौरान कर्नाटक बीजेपी की डिजिटल कम्युनिकेशन टीम का नेतृत्व किया. एक वकील के तौर पर तेजस्वी ने बीएस येदियुरप्पा पर लगे भ्रष्टाचार के आरोपों का बचाव करने के लिए वरिष्ठ अधिवक्ताओं की मदद भी की. 


2019 चुनाव प्रचार के दौरान का भाषणा हुआ था वायरल


इसके बाद 2019 लोकसभा चुनाव होना था. 22 मार्च 2019 को बेंगलुरु में एक सभा को तेजस्वी सूर्या ने संबोधित किया था. इस दौरान उन्होंने अपने भाषण का एक अंश ट्विटर पर शेयर किया, जो वायरल हो गया था. अपने भाषण में तेजस्वी ने कहा था, "सभी भारत विरोधी ताकतें मोदी को रोकने के लिए एकजुट हो गई हैं, जबकि मोदी का एजेंडा है न्यू इंडिया यानी एक नया भारत बनाने का है, जबकि विरोधी ताकतों का एजेंडा उन्हें रोकने का है. उनके पास कोई सकारात्मक एजेंडा नहीं है. अगर आप मोदी के साथ हैं, आप भारत के साथ हैं. अगर आप मोदी के साथ नहीं हैं, तो आप भारत विरोधी ताकतों को मजबूत कर रहे हैं."






लोकसभा चुनाव में बेंगलुरु दक्षिण से दिया गया टिकट


चुनाव प्रचार के दौरान तेजस्वी सूर्या के इस भाषण ने पीएम नरेंद्र मोदी और तब के रहे बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह का दिल जीत लिया. इसके बाद तेजस्वी सूर्या को लोकसभा चुनाव में बेंगलुरु दक्षिण से टिकट दिया गया. इस सीट से बीजेपी के अनंत कुमार सांसद थे. उनकी मृत्यु के बाद अटकलें लगाई जा रही थीं कि अब यहां से उनकी पत्नी तेजस्विनी पार्टी की उम्मीदवार होंगी. हालांकि पार्टी के चयन ने सभी को चौंका दिया और टिकट तेजस्वी सूर्या को मिला. चुनाव में तेजस्वी ने शानदार जीत दर्ज की और वे सिर्फ 28 साल की उम्र में सांसद बन गए.  


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