Proposal to incrase man Hours: सरकारी नौकरी के लिए लाखों लोग लगातार तैयारियों में जुटे रहते हैं. क्योंकि इसमें काम करने का समय तय होता है और बाकी तमाम सुविधाएं मिलती हैं. लेकिन ये कहा जा रहा था कि सरकार एक ऐसे प्रस्ताव पर विचार कर रही है, जिसमें सरकारी दफ्तरों में काम करने के समय को 8 से बढ़ाकर 12 घंटे कर दिया जाएगा. लेकिन अब सरकार ने इस पर अपना रुख साफ किया है और बताया है कि फिलहाल ऐसे किसी भी प्रस्ताव पर विचार नहीं किया जा रहा है. 


राज्यसभा में सरकार की तरफ से जवाब 
सरकार ने गुरुवार 10 फरवरी को कहा कि, उसका अपने प्रतिष्ठानों में काम का समय आठ घंटे से बढ़ा कर 12 घंटे करने का कोई प्रस्ताव नहीं है. कार्मिक राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह ने राज्यसभा में एक सवाल का लिखित जवाब देते हुए ये जानकारी दी. उन्होंने अपने संक्षिप्त जवाब में बताया कि, ‘‘ऐसा कोई प्रस्ताव सरकार के समक्ष विचाराधीन नहीं है.’’


उनसे पूछा गया था कि सरकार अपने सभी प्रतिष्ठानों में काम का समय आठ घंटे से बढ़ा कर 12 घंटे करने पर विचार कर रही है या ऐसा कोई प्रस्ताव है? जिस पर मंत्री ने अपना जवाब दिया. इससे केंद्रीय कर्मचारियों को बड़ी राहत मिलेगी, जो काम के घंटे बढ़ाने वाले प्रस्ताव के बारे में सुनकर परेशान थे. 


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लेबर कोड को लेकर हुआ था विवाद
बता दें कि इससे पहले केंद्र सरकार के लेबर कोड में काम के घंटे बढ़ाने का फैसला लिया गया था. जिसमें 8 घंटे से लेकर 12 घंटे तक काम करवाने का प्रावधान शामिल था. हालांकि ज्यादा काम करने के लिए कर्मचारियों को ज्यादा वेतन और हफ्ते में मिलने वाली एक्ट्रा छुट्टी का प्रावधान है. इस फैसले का कई कर्मचारी संगठनों ने विरोध किया था. उन्होंने कहा था कि, फैक्ट्री या कंपनी मालिक इससे कर्मचारियों का उत्पीड़न कर सकते हैं. साथ ही इसके कई और प्रावधानों को लेकर भी विवाद हुआ था. जिनमें कर्मचारियों को हड़ताल करने से रोकना और बिना किसी इजाजत 300 मजदूरों वाली फैक्ट्री को बंद करने जैसे प्रावधान थे. 


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