Navjot Singh Sidhu: भारतीय कुश्ती महासंघ (WFI) के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ कार्रवाई की मांग को लेकर पिछले एक हफ्ते से दिल्ली के जंतर-मंतर पर धरने पर बैठे पहलवानों को समर्थन भी मिल रहा है. कई बड़े नेता वहां पर पहुंचे हैं. इसी क्रम में कांग्रेस नेता और पूर्व क्रिकेटर नवजोत सिंह सिद्धू भी पहलवानों का समर्थन करने पहुंचे और कस्टोडियल इंवेस्टिगेशन की मांग की.


उन्होंने कहा, “अगर इंसाफ मिलने में देरी हुई तो सिद्धू जान की बाजी लगा देगा.” कांग्रेस नेता ने बृजभूषण शरण सिंह के इस्तीफे की मांग करते हुए कहा, “अगर आप सच तक पहुंचना चाहते हैं तो कस्टोडियल इंवेस्टिगेशन कीजिए, ऐसा नहीं होता है तो इन सबका कोई मतलब नहीं है. क्या कानून ऊंचे लोगों के लिए दोहरे मापदंड रखेगा? सबसे पहले तो इस्तीफा देना चाहिए.” जंतर-मंतर पर पहुंचने से पहले नवजोत सिंह सिद्धू ने ट्वीट करते हुए कहा था कि वो इस प्रदर्शन में शामिल होंगे.


सिद्धू के ट्वीट में क्या?


ट्वीट में सिद्धू ने लिखा, “ये जानना कि क्या सही है और ऐसा न करना सबसे बड़ी कायरता है. एफआईआर में देरी क्यों हुई? एफआईआर को सार्वजनिक नहीं करना ये दर्शाता है कि वो हल्की है और शिकायतकर्ता की शिकायत की पुष्टि नहीं करती है.” इसके अलावा उन्होंने बृजभूषण शरण सिंह को बचाने के पीछे की मंशा पर भी सवाल उठाए.






इसको लेकर उन्होंने कहा, “इरादा संदिग्ध है और मकसद अभियुक्त की रक्षा करना है. क्या चीजें कालीन के नीचे बहा दी गईं. जिस अधिकारी ने एफआईआर में देरी की, उसके खिलाफ आईपीसी की धारा 166 के तहत मुकदमा क्यों नहीं चलाया जा रहा है क्योंकि वह प्राथमिकी दर्ज करने के लिए बाध्य था.”


सिद्धू से सवाल किया है, “पॉक्सो अधिनियम के तहत दर्ज मामले गैर-जमानती हैं … अब तक गिरफ्तारी क्यों नहीं हुई? क्या बड़े और ताकतवर लोगों के लिए कानून अलग है?”


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