Republic Day 2022: गणतंत्र दिवस समारोह 23 जनवरी यानी आज से नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 125वीं जयंती के अवसर पर शुरू हो गया है. फिलहाल परेड की फुल ड्रेस रिहर्सल शुरू हो गई गई है. गणतंत्र दिवस समारोह का समापन 30 जनवरी को शहीद दिवस के उपलक्ष्य में होगा. इस साल सेना के तीनों अंगों और केंद्रीय अर्द्धसैनिक बलों के कुल 16 मार्चिंग दस्ते राजपथ पर राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और रक्षा मंत्री सहित सभी गणमान्य व्यक्तियों के सामने मार्च पास्ट करेंगे.
गणतंत्र दिवस 2022 की पांच खासियतें
1- सबसे बड़ा और भव्य फ्लाइपास्ट होगा
इस साल गणतंत्र दिवस (Republic Day) परेड में सबसे बड़ा और भव्य फ्लाइपास्ट (Fly Past) होने जा रहा है, जिसमें वायुसेना (Air Force), नौसेना (Navy) और थलसेना (Army) के कुल 75 एयरक्राफ्ट (Aircraft) हिस्सा लेंगे. आजादी के 75 वें वर्ष में आयोजित इस गणतंत्र दिवस फ्लाइपास्ट में कुल 17 जगुआर लड़ाकू विमान (Jaguar Fighter Jet) एक 'अमृत' फोरमेशन में राजपथ (Rajpath) के ठीक ऊपर '75' बनाते हुए भी दिखाई पड़ेंगे. इस साल फ्लाइपास्ट में वायुसेना के जगुआर, रफाल और सुखोई फाइटर जेट के साथ साथ नौसेना के पी8 आई टोही विमान और मिग 29 के लड़ाकू विमान भी पहली बार हिस्सा लेंगे.
2- मोटर साइकिल पर करतब दिखाएंगे आईटीबीपी के जांबाज
गणतंत्र दिवस परेड में भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) की जांबाज मोटर साइकिल टीम द्वारा प्रदर्शन किया जाएगा, जिसमें बल के मोटर साइकिल सवारों की जांबाज टीम द्वारा कुल 10 प्रकार के फार्मेशन दिखाए जाएंगे. इन प्रदर्शनों में लोटस फॉर्मेशन, बॉर्डर मैन सैल्यूट, फ्लाई राइडिंग, पवन चक्की, होरीजोंटल बार एक्सरसाइज, सिक्स मैन बैलेंस, ऐरो पोजीशन, जैगुआर पोजीशन, हिमालय के प्रहरी और भारत की आजादी की 75वीं वर्षगांठ ‘आजादी के अमृत महोत्सव की थीम’ पर आधारित पिरामिड फॉर्मेशन प्रमुख हैं.
3- नौसेना का विद्रोह होगा नौसेना की झांकी की थीम
आजादी से ठीक एक साल पहले यानी 1946 में नौसेना में विद्रोह हुआ था. उस वक्त रॉयल नेवी के नाम से जाना जाता था. इस दौरान देश में आजादी के लिए आंदोलन बेहद चरम पर था. ऐसे में भारतीय नौसैनिकों ने बगावत कर दी थी, जिसके कारण रॉयल नेवी के ऑपरेशंस और ब्रिटिश हुकूमत को जबरदस्त झटका लगा था. ब्रिटिश हुकूमत के खिलाफ नौसेना के विद्रोह को इस साल गणतंत्र दिवस परेड में भारतीय नौसेना की झांकी का थीम बनाया गया है. आजादी के अमृत महोत्सव की थीम वाली इस झांकी में नौसेना के स्वतंत्रता संग्राम में योगदान को दर्शाने की कोशिश की गई है. नौसेना की झांकी में स्वतंत्रता संग्राम में योगदान के अलावा भारत कई समुद्री ताकत को भी दर्शाया गया है. रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भर भारत को खास तौर से नौसेना की झांकी में दिखाया गया है.
4- बीएसएफ की महिला जवान भी दिखाएंगी करतब
इस साल बीएसएफ का 'सीमा भवानी' और आईटीबीपी का दस्ता बाइक पर हैरतअंगेज स्टंट करते दिखाई पड़ेंगे. सीमा भवानी बीएसएफ की महिला जवानों का दस्ता है. राजपथ पर इस साल कुल 25 टैब्लो यानी झांकियां दिखाई देंगी, जिसमें 12 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेश, 09 केंद्रीय मंत्रालय और विभाग, दो डीआरडीओ, एक-एक थलसेना, वायुसेना और नौसेना के शामिल हैं.
5- सबसे पहले आएंगे पीटी-76 और सेंचुरियन टैंक
राजपथ पर परेड में सबसे पहले पीटी-76 और सेंचुरियन टैंक आएंगे, जिन्होनें 1971 के युद्ध में पाकिस्तानी सेना की धज्जियां उड़ा दी थीं. ये विंटेज टैंक अब सेना के जंगी बेड़ा का हिस्सा नहीं है और खासतौर से म्यूजियम से परेड के लिए बुलाया गया है. हाल ही में देश में 71 के युद्ध की स्वर्णिम विजय वर्ष मनाया गया था. इसके अलावा 75/24 विंटेज तोप और टोपैक आर्मर्ड पर्सनल कैरियर व्हीकल भी परेड का हिस्सा होगी. 75/24 तोप भारत की पहली स्वदेशी तोप थी और 1965 और 1971 के युद्ध में हिस्सा लिया था. विंटेज मिलिट्री हार्डवेयर के अलावा आधुनिक अर्जुन टैंक, बीएमपी-2, धनुष तोप, आकाश मिसाइल सिस्टम, सवत्र ब्रिज, टाइगर कैट मिसाइल और तरंग इलेक्ट्रॉनिक वॉरफेयर सिस्टम सहित कुल 14 मैकेनाइज कॉलम भी परेड में शामिल हैं.