सितंबर तक भारत में आधी से ज्यादा आबादी को किया जा सकता है इम्यून, जानिए किसका है दावा
ये बयान ऐसे समय आया है जब भारत में कोरोना के रोजाना मामले 250,000 पार कर रहे हैं. पिछले हफ्ते संक्रमण को काबू करने के लिए महाराष्ट्र में लॉकडाउन का विकल्प अपनाया गया है. मंगलवार को केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि कोविड-19 वैक्सीन का कम से कम एक डोज 109 मिलियन लोग लगवा चुके हैं.
स्थानीय हेल्थ केयर ग्रुप की प्रबंध निदेशक के मुताबिक भारत की कम से कम 55 फीसद आबादी सितंबर तक इम्यून हो सकेगी. अपोलो हॉस्पिटल्स की सुनीता रेड्डी ने कहा कि 16 जनवरी से शुरू हुए टीकाकरण के प्रथम चरण से लेकर वैक्सीन के 122 मिलियन डोज अब तक भारत में लगाए जा चुके हैं. उन्होंने बताया, "हमारा मानना है कि इस गति से हम सितंबर तक हर्ड इम्यूनिटी की कुछ मात्रा हासिल कर सकेंगे." हर्ड इम्यूनिटी उस बिंदु को संदर्भित करता है जब आबादी का बड़ा हिस्सा बीमारी के खिलाफ टीकाकरण या संक्रमण से सुरक्षित हो जाए, जिससे बीमारी को तेजी से समुदाय के अंदर फैलने से रोका जा सके.
सितंबर तक भारत की 55 फीसद आबादी हो सकेगी इम्यून
कोरोना वायरस संक्रमण के मामलों में भारत दुनिया के दूसरे नंबर पर है. पिछले सप्ताह देश का सबसे धनी राज्य महाराष्ट्र एक बार फिर लॉकडाउन में चला गया, जबकि दिल्ली सरकार ने छह दिनों के लॉकडाउन का एलान सोमवार को किया. रेड्डी ने कहा कि राज्य सरकारें निजी सेक्टर के साथ काम कर रही हैं और मंसूबा टीकाकरण के लिए लागू हैं. स्वास्थ्य मंत्रालय ने मंगलवार की सुबह जानकारी दी कि 109 मिलियन लोगों ने वैक्सीन का कम से कम एक डोज इस्तेमाल कर लिया है और 17 मिलियन को दूसरा डोज दिया जा चुका है. लेकिन विश्व स्वास्थ्य संगठन ने चेताया है कि दक्षिण अफ्रीका की शुरुआती रिपोर्ट बताती है कि कोरोना वायरस को मात दे चुके लोग नए और ज्यादा संक्रामक वेरिएन्ट्स से एक बार फिर बीमार पड़ सकते हैं.
अपोलो हॉस्पिटल्स की प्रबंध निदेशक ने लगाया अनुमान
शुरुआती नतीजे ये भी सुझाते हैं कि कोविड-19 वैक्सीन नए स्ट्रेन के खिलाफ सुरक्षा देने में कम प्रभावी हो सकती हैं, भले ही वैक्सीन संक्रमण की जटिलता को कम कर सके. रेड्डी ने कहा, "कोरोना वायरस की पहली लहर के समय कुछ बड़े शहर करीब 20 फीसद इम्यूनिटी तक पहुंच गए थे. मुझे विश्वास है कि सितंबर तक हम कम से कम 55 फीसद तक पहुंच जाएंगे." गौरतलब है कि उनका बयान ऐसे समय आया है जब भारत में कोरोना वायरस संक्रमण के रोजाना नए मामले 250,000 से ऊपर बने हुए हैं. उन्होंने माना कि मामले 'अप्रत्याशित रूप से' बढ़ रहे हैं लेकिन उनके ग्रुप के पास बढ़ोतरी को नियंत्रित करने के लिए पर्याप्त संसाधन हैं.
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