चीन के साथ समझौते पर राहुल गांधी का वार, सरकार ने कहा- 'डिसइंगेजमेंट हुआ है, सरहद तय नहीं हुई'
चीन के साथ समझौते पर कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने सरकार पर बड़ा हमला बोला था. राहुल ने सवाल उठाया, 'मोदी ने जमीन चीन को क्यों दी? देपसांग प्लेन्स से चीन वापस क्यों नहीं गया? हमारी जमीन फिंगर-4 तक है. मोदी ने फिंगर-3 से फिंगर-4 की जमीन चीन को पकड़ा दी है.'
नई दिल्ली: कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने आज चीन के साथ पैगोंग पर हुए सेनाओं की वापसी के समझौते पर मोदी सरकार पर बड़ हमला बोला है. राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री मोदी कायर हैं और उन्होंने भारत की जमीन चीन को सौंप दी है. एबीपी न्यूज से भारत सरकार के उच्च सूत्रों ने राहुल गांधी के सभी सवालों का जवाब दिया.
सरकार ने कहा कि विवाद को सुलझाने के लिए डिसइंगेजमेंट हुआ है, सरहद पर सीमा नहीं तय कर दी गई है. भारत की जमीन पर चीनी सेना 1962 में ही आ गई थी और तब से कई बार एलएसी पर बदलाव करने की कोशिश की. सरकार ने कहा कि अब पिछले साल अप्रैल की यथास्थिति वापस आ गई है.
"हम फिंगर प्वाइंट 4 पर थे, ये राहुल गांधी का कहना गलत" सरकार के सूत्रों ने एबीपी न्यूज को बड़ी और एक्सक्लूजिव बात ये बताई कि देपसांग प्लेन्स को लेकर जो बात राहुल गांधी कर रहे हैं वो छोटा हिस्सा है. पैगोंग पर डिसइंगेजमेंट के 48 घंटे के भीतर भारत और चीन के बीच देपसांग प्लेन्स को लेकर बात शुरू करने का फैसला हुआ है.
भारत का क्लेम एरिया उससे आगे है और चीन का भी क्लेम एरिया उससे आगे है. सूत्रों ने कहा कि जहां तक बात राहुल गांधी के ये कहने की है कि हम फिंगर प्वाइंट 4 पर थे तो उनको ये पता ही नहीं है कि 4 और 5 तक तो चीन ने पहले ही रोड तक बना रखी थी. सरकार का कहना है कि राहुल गांधी द्वारा प्रधानमंत्री मोदी पर आरोप लगाना बिल्कुल गलत है.
ये भी पढ़ें- राहुल गांधी का PM मोदी पर बड़ा हमला, कहा- 'प्रधानमंत्री डरपोक हैं, चीन को जमीन क्यों दी, जवाब दें'
राहुल के वार पर सरकार का पलटवार, केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने बताया 'मंदबुद्धि'