Ukraine Russia War: पुतिन ने सबसे खूंखार जनरल को सौंपी कमान, क्या अब होकर रहेगा परमाणु युद्ध?
सर्गेई सुवोविकीन को रूस में तबाही लाने वाला जनरल कहा जाता है. पुतिन ने इस नए जनरल को युद्ध की कमान सौंप दी है.
72 घंटों में यूक्रेन को सरेंडर करा देने का दावा करने वाले रूस के राष्ट्रपति व्लदिमीर पुतिन ने अब अपने सबसे खूंखार और निर्दयी जनरल को यूक्रेन युद्ध की जिम्मेदारी सौंप दी है.
यूक्रेन के साथ रूस का युद्ध अब भयानक दौर पर पहुंच गया है. रूस को क्रीमिया से जोडने वाले पुल केर्च को उड़ाने के बाद रूसी सेनाओं ने यूक्रेन की राजधानी कीव और दूसरे शहरों पर मिसाइलें बरसा दी हैं.
युद्ध की तीव्रता जिस तरह से बढ़ रही है कहा नहीं जा सकता है कि ये जंग कहां तक और किस तबाही तक जाएगी. इसके साथ ही पूरी दुनिया में परमाणु युद्ध की भी आशंका बढ़ती जा रही है. अब लोगों लगने लगा है कि यह लड़ाई सिर्फ यूक्रेन तक ही सीमित रहेगी ये कहना अब मुश्किल है.
इस बीच रूस का यूक्रेन युद्ध में अपने सबसे खूंखार जनरल को तैनात कर देना एक तरह से नई तबाही का संकेत है. इस जनरल का नाम सर्गेई सुवोविकीन है. रूस की सेना में उसके दोस्त 'जनरल आर्मेगाडन' के नाम से जानते हैं. जिसका मतलब तबाही लाने वाला जनरल है.
लेकिन जनरल सुवोविकीन को ऐसे ही नाम से नहीं पुकारा जाता है. अफगानिस्तान, चेचेन्या, ताजिकिस्तान और सीरिया में जहां-जहां रूसी ने सेना ने सैन्य अभियान में हिस्सा लिया है वहां सर्गेई सुवोविकीन की निर्दयिता के निशान आज भी देखकर लोग कांप जाते हैं.
बीबीसी में रूसी एजेंसी टास के हवाले से उनका एक बयान छापा है जिसमें ये जनरल कहता है, 'एक मृत सैनिक के बदले तीन चरमपंथियों को मारा जाएगा'.
साल 2017 में सर्गेई सुर्वोविकीन को रूसी सेना में जनरल बनाया गया था. उससे पहले वो सीरिया में जारी भीषण जंग की कमान संभाल रहा था. इस युद्ध में उसने सीरिया ज्यादातर क्षेत्रों में कब्जा कर लिया था. सीरिया के अलेप्पो शहर में हवाई हमले कर रूस के इस कमांडर ने तबाही फैला दी थी.
राष्ट्रपति पुतिन ने सर्गेई सुर्वोविकीन की बहादुरी से खुश होकर रूसी संघ के हीरो के सम्मान से नवाजा था. बीबीसी के मुताबिक सुर्वोविकीन साल 1991 में हुए तख्तापलट के दौरान लोकतंत्र समर्थक प्रदर्शनकारियों की हत्या में भी शामिल थे. इसकी वजह से उनको गिरफ्तार किया गया था. लेकिन बाद में तत्कालीन राष्ट्रपति बोरिस येल्तसिन ने उनकी रिहाई के आदेश दे दिए थे.
जनरल सर्गेई सुर्वोविकीन को तोपखाने के इस्तेमाल का विशेषज्ञ माना जाता है. इसके साथ ही उनके पास रूसी एयरफोर्स को कमांड देने का भी अनुभव है. सीरिया में तैनातगी के दौरान अमेरिकी कमांडर भी उनकी सीधी सलाह लेते थे.
यूक्रेन युद्ध के दौरान रूस सेना में तोपखाने, आर्टिलेरिली और एयरफोर्स के इस्तेमाल करने में समन्वय स्थापित नहीं कर पाई है. दूसरी यूक्रेन ने आक्रामक तरीके से हमला कर बढ़त बनाई है.
सुर्वोविकीन के बारे में कहा जाता है कि उनको पता है कैसे बम और मिसाइलों के जरिए युद्ध लड़ा जाता है. उनकी छवि निर्दयी है. उनके बारे में कहा जाता है कि वो अपने जूनियर अधिकारियों के साथ ठीक व्यवहार नहीं करते हैं और बहुत जल्द आपा खो देते हैं.
इस बीच अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन ने रूस को रोकने के लिए हैरान करने वाली सलाह दी है. उन्होंने कहा कि पश्चिमी देशों को ऐसी कोई वजह ढूंढनी चाहिए जिससे की पुतिन खुद को जीता हुआ महसूस करें और युद्ध विराम की घोषणा कर दें.
वहीं रूस के अंदर से भी पुतिन के ऊपर दबाव बढ़ता जा रहा है क्योंकि जिस तरह का अंदाजा था ये युद्ध उस दिशा में नहीं गया है. रूस के कई जनरल, कमांडर और सैनिक मारे जा चुके हैं. साथ ही हथियारों को भी काफी नुकसान हुआ है. रूस के अंदर पुतिन के विरोधियों ने उन पर सवाल उठाने शुरू कर दिए हैं. ऐसे हालात में पुतिन के पास अब एक ही रास्ता बचा है कि युद्ध की तीव्रता को बढ़ाया जाए.
यही वजह है कि कुछ दिनों से सारी नैतिकता को पीछे रख अब रूस की सेना आम नागरिकों को भी निशाना बना शुरू कर दिया है. ऐसा लग रहा है कि पुतिन अब इस बात की परवाह नहीं करेंगे कि कितने नागरिक मारे जा रहे हैं. और यही इस युद्ध का सबसे घातक पड़ाव है.
माना जा रहा है कि रूस की सेना जितनी बार झटका खाएगी मिसाइल हमले उतनी ही तेज होते जाएंगे. जहां तक रही परमाणु हमले की बात तो कम क्षमता वाले बमों का इस्तेमाल किया जा सकता है जिनका असर 2-4 किलोमीटर तक ही होता है.
जर्मनी यूक्रेन को भेज रहा है आईआरआईएस-टी वायु रक्षा प्रणाली'
जर्मन रक्षा मंत्रालय का हवाला देते हुए यूक्रेन की मीडिया ने बताया कि जर्मनी चार आईआरआईएस-टी एसएलएम वायु रक्षा प्रणालियों में से पहला यूक्रेन भेज रहा है. मंत्रालय ने ट्वीट किया, कीव और अन्य शहरों पर हाल ही में रूसी मिसाइल हमले यूक्रेन के लिए हवाई रक्षा क्षमता के महत्व को दर्शाते हैं.
समाचार एजेंसी शिन्हुआ की रिपोर्ट के अनुसार, यूक्रिनफॉर्म समाचार एजेंसी द्वारा की गई रिपोर्ट में यह निर्दिष्ट नहीं किया गया है कि यूक्रेन को वायु रक्षा प्रणाली कब वितरित की जाएगी. आईआरआईएस-टी एसएलएम एक भूमि आधारित वायु रक्षा प्रणाली है जो विमान, हेलीकॉप्टर, क्रूज मिसाइल, जेट तोपखाने, ड्रोन, रडार रोधी मिसाइल और बम मार सकती है.