फिल्म आर्टिकल-15 को इलाहाबाद हाईकोर्ट से बड़ी राहत, पाबंदी लगाए जाने की मांग खारिज
आयुष्मान खुराना की फिल्म आर्टिकल-15 की इन दिनों बहुत चर्चा है. इलाहाबाद हाईकोर्ट से फिल्म को बड़ी राहत मिली है. कोर्ट ने फिल्म पर पाबंदी की मांग को खारिज कर दिया है.
प्रयागराज: डायरेक्टर अनुभव सिन्हा और एक्टर आयुष्मान खुराना की फिल्म आर्टिकल-15 को इलाहाबाद हाईकोर्ट से बड़ी राहत मिली है. हाईकोर्ट की डिवीजन बेंच ने फिल्म पर पाबंदी लगाए जाने की मांग को फौरी तौर पर खारिज करते हुए इस मामले में पांच जुलाई को सुनवाई करने का फैसला किया है.
फिल्म 28 जून को ही रिलीज होनी है. ऐसे में पांच जुलाई को सुनवाई होने का कोई मतलब नहीं रह जाएगा. अदालत ने फिल्म पर पाबंदी लगाए जाने की मांग वाली पीआईएल पर फिल्म से जुड़े लोगों और सेंसर बोर्ड के साथ केंद्र व यूपी सरकार से फिलहाल कोई जवाब भी नहीं मांगा है.
पीआईएल में इन सभी को पक्षकार बनाया गया था. अदालत के इस रुख से फिल्म के रिलीज होने का रास्ता साफ़ हो गया है. यह पीआईएल कानपुर के पंकज कुमार दीक्षित की तरफ से दाखिल की गई थी.
पीआईएल में कहा गया कि ट्रेलर से साफ़ है कि फिल्म में ब्राह्मण वर्ग के लोगों को अपमानित किया गया है और समाज में उनकी गलत छवि पेश की गई है.
फिल्म बदायूं में साल 2014 में दो नाबालिग लड़कियों की गैंगरेप के बाद हत्या की सत्य घटना पर आधारित है. बदायूं की घटना में आरोपी दूसरे समुदाय के थे, जबकि फिल्म में आरोपियों को ब्राह्मण वर्ग का दिखाया गया है.
मामले की सुनवाई जस्टिस राम सूरत मौर्य और जस्टिस पीयूष अग्रवाल की डिवीजन बेंच में हुई. फिल्म में आयुष्मान खुराना, ईशा तलवार, सयानी गुप्ता, कुमुद मिश्रा और मनोज पाहवा जैसे कलाकारों ने काम किया है.