भड़काऊ भाषण मामले में अमित शाह को फिलहाल राहत नहीं, स्पेशल कोर्ट ने वादी को जारी किया समन
इलाहाबाद की स्पेशल कोर्ट इस मामले में इकतीस अक्टूबर को फिर से सुनवाई करेगी. इस मामले में फाइनल रिपोर्ट साल 2016 में ही दाखिल हो चुकी है. अमित शाह के सांसद होने की वजह से यह मामला अब मुज़फ्फरनगर से इलाहाबाद की स्पेशल कोर्ट में ट्रांसफर हो चुका है.
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इलाहाबाद: साल 2014 के लोकसभा चुनाव के दौरान यूपी के मुज़फ्फरनगर में भड़काऊ भाषण दिए जाने के मामले में बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह की मुश्किलें ख़त्म होने का नाम नहीं ले रही हैं. इस मामले में पुलिस द्वारा लगाई गई फाइनल रिपोर्ट को इलाहाबाद की एमपी एमएलए स्पेशल कोर्ट ने स्वीकार कर मुक़दमे को ख़त्म किये जाने की मंजूरी दिए जाने से फिलहाल इंकार कर दिया है.
स्पेशल कोर्ट ने अमित शाह के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने वाले तत्कालीन चकबंदी अधिकारी रामकुमार को समन जारी कर उन्हें इकतीस अक्टूबर को तलब कर लिया है. वादी रामकुमार को कोर्ट में खुद पेश होकर यह बताना होगा कि वह पुलिस की जांच से संतुष्ट हैं या नहीं और क्या वह चाहेंगे कि अदालत पुलिस की फाइनल रिपोर्ट को ठुकराकर अमित शाह के खिलाफ मुकदमा चलाए जाने की मंजूरी दे. हालांकि वादी चकबंदी अधिकारी को इसके लिए पर्याप्त आधार बताने के साथ ही ठोस सबूत भी पेश करने होंगे.
इलाहाबाद की स्पेशल कोर्ट इस मामले में इकतीस अक्टूबर को फिर से सुनवाई करेगी. इस मामले में फाइनल रिपोर्ट साल 2016 में ही दाखिल हो चुकी है. अमित शाह के सांसद होने की वजह से यह मामला अब मुज़फ्फरनगर से इलाहाबाद की स्पेशल कोर्ट में ट्रांसफर हो चुका है.
बता दें कि साल 2014 के लोकसभा चुनाव के दौरान बीजेपी महासचिव और यूपी का प्रभारी रहते हुए अमित शाह ने पार्टी उम्मीदवार कुंवर भारतेन्दु सिंह के समर्थन में मुज़फ्फरनगर में हुई चुनावी जनसभा में भड़काऊ भाषण देते हुए विवादित बयान दिया था. उन्होंने सपा नेता मुलायम सिंह यादव को एक धर्म विशेष से जुड़ा हुआ बताया था. इस पर रिटर्निंग आफिसर बंदोबस्त चकबंदी अधिकारी राम कुमार ने अमित शाह के खिलाफ पीपुल्स रिप्रेजेंटेशन एक्ट की धारा 123 की उपधारा 3 व 133 के साथ ही आईपीसी की धारा 188 के तहत केस दर्ज कराया था. इस मामले में चुनाव आयोग ने भी अमित शाह को नोटिस जारी किया था.
अमित शाह इस मुक़दमे के खिलाफ इलाहाबाद हाईकोर्ट आए थे, लेकिन बाद में उन्होंने अपनी अर्जी वापस ले ली थी. इस मामले की विवेचना अक्टूबर 2016 में पूरी हुई. पहले इस मामले में चार्जशीट दाखिल की गई, बाद में क्लोजर रिपोर्ट लगा दी गई थी. क्लोजर रिपोर्ट को मुज़फ्फरनगर की अदालत में चुनौती दी गई थी. इसी मामले में स्पेशल कोर्ट ने वादी रामकुमार को समन जारी कर उन्हें इकतीस अक्टूबर को तलब कर लिया है.
इसी तरह स्पेशल कोर्ट ने दिल्ली के सीएम अरविन्द केजरीवाल द्वारा यूपी के सुलतानपुर में दिए गए भड़काऊ भाषण मामले में जवाब दाखिल करने के लिए और मोहलत दे दी है. कोर्ट केजरीवाल मामले में अब चौदह दिसम्बर को सुनवाई करेगी.
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