बरेली: लोकसभा चुनाव नजदीक आते ही 3 तलाक़ के मामले ने एक बार फिर तूल पकड़ना शुरू कर दिया है. कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की मौजूदगी में गुरूवार को अल्पसंख्यक सम्मेलन में घोषणा की गई कि अगर कांग्रेस की सरकार बनी तो तीन तलाक क़ानून को खत्म कर दिया जाएगा. कांग्रेस के इस बयान के बाद अरुण जेटली ने ब्लॉग लिख कर राहुल गांधी पर निशाना साधा है. अरुण जेटली ने बरेली की तलाक और हलाला पीड़ित महिला का उदाहरण देते हुए लिखा है कि Does the Bareilly “Nikah-Halala” not shock your conscience? अरुण जेटली ने अपने ब्लॉग को ट्वीट किया है.


ऐसी ही गलती राजीव गांधी ने शाह बानो में केस में की थी- अरुण जेटली


कांग्रेस के अल्पसंख्यक अधिवेशन में 3 तलाक क़ानून खत्म करने की घोषणा पर अरुण जेटली ने करारा हमला बोला है. अरुण जेटली ने अपने ब्लॉग में लिखा है कि यह दुर्भाग्य की बात है कि लंबित तीन तलाक के बिल को कांग्रेस पार्टी सत्ता में आने पर वापस लेना चाहती है. इतिहास खुद को दोहरा रहा है, ऐसी ही गलती राजीव गांधी ने शाह बानो में केस में की थी. सुप्रीम कोर्ट का फैसला पलट कर राजीव गांधी ने मुस्लिम महिला को गरीबी और विनाश के लिए प्रेरित किया. अब 32 साल बाद उनके बेटे भी ऐसा कदम उठाने जा रहे हैं जो मानव अस्तित्व का विरोधी है.


बरेली की महिला हुई थी हलाला का शिकार


बरेली के किला इलाके की रहने वाली महिला का निकाह 2009 में बानखाना के रहने वाले युवक के साथ हुआ था. शादी के बाद जब महिला को बच्चा नहीं हुआ तो उसके साथ मारपीट होने लगी और 2011 में उसके पति ने उसे तलाक दे दिया. जिसके बाद महिला को ससुराल में ही नशे के इंजेक्शन दिए जाने लगे और उसी हालत में उसके साथ ससुर ने हलाला किया. कुछ दिन बाद ससुर ने तलाक़ दिया फिर पति ने उससे दोबारा निकाह किया.


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महिला को पति ने कुछ दिन बाद ही दोबारा तलाक़ दे दिया और फिर देवर से हलाला का दबाब बनाया जाने लगा. पीड़िता की तहरीर पर किला थाने में मुकदमा दर्ज किया गया था. वहीं इस मामले में 3 तलाक और हलाला का दंश झेल चुकी सबीना का कहना है कि ये कानून कभी नहीं खत्म होना चाहिए. सबीना का कहना है कि हजारों तलाक़शुदा मुस्लिम महिलाएं परेशान हो रही हैं और कोर्ट कचहरी के चक्कर लगा रही हैं.


तीन तलाक़ कानून को खत्म करने के कांग्रेस के बयान के बाद तलाक़ पीड़िता व समाजसेवी निदा खान का कहना है कि ये कांग्रेस की ओछी मानसिकता है. जो कांग्रेस कभी जेंडर इक्विलिटी की बात करती थी वही कांग्रेस अब कानून को खत्म करने की बात कह रही है. गौरतलब है कि निदा को भी उसके पति ने तीन तलाक़ देकर घर से निकाल दिया था. तब से ही निदा अपने साथ साथ तलाक़शुदा महिलाओं के हक़ की लड़ाई लड़ रही है.


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कांग्रेस के बयान पर पलटवार करते हुए केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी की बहन फ़रहत नक़वी ने कहा कि ये कांग्रेस नेत्री का बचकाना बयान है. उन्होंने कहा कि कांग्रेस 3 तलाक़ कानून को सियासत से जोड़ कर देख रही है जबकि ये मामला मुस्लिम महिलाओं के हक़ से जुड़ा हुआ है. मुस्लिम महिलाओं के साथ जो अत्याचार हो रहे हैं उनके बारे में कभी भी कांग्रेस ने नहीं सोचा. मुस्लिम महिलाओं को छोटी छोटी बातों पर तलाक़ दे दिया जाता है जिसके बाद उन्हें काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है.