पटना: पटना का एक और शेल्टर होम सवालों के घेरे में आ चुका है. बीती रात यहां से चार नाबालिग लड़कियां फरार हो गई हैं. रात करीब 2 बजे लड़कियां दुपट्टों के जरिये रस्सी बनाकर दूसरे तल से फरार हो गईं और अभी तक फरार हुई लड़कियों के बारे में पुलिस कुछ भी पता नहीं लगा पाई है.


लड़कियों ने इमारत के दूसरे तल से दुपट्टों से लटककर लड़कियों ने जान जोखिम में डालकर भागने का तरीका अपनाया. जिस तरफ से लड़कियां भागी हैं वो स्कूल का अंदरूनी हिस्सा है, यानी कि शेल्टर होम से निकलने के बाद भी लड़कियां स्कूल कैम्पस में ही थीं और उसके बाद वो स्कूल परिसर से फरार हुईं. जो चार लड़कियां शेल्टर होम से भागी हैं वो सभी नाबालिग हैं, जिनमें से तीन पश्चिम बंगाल तो एक बिहार के अररिया जिले की रहने वाली है लेकिन अभी तक लड़कियों के फरार होने की वजह और अब वे कहां हैं, इस बारे में कोई जानकारी नहीं मिल पाई है.


शेल्टर होम का संचालन मशाल नाम का एनजीओ करता है जिसे समाज कल्याण विभाग से मान्यता मिली हुई है. लेकिन इस घटना के बाद ये सवाल फिर से खड़ा हो गया है कि आखिर बिहार में शेल्टर होम किसके भरोसे चल रहे हैं. मुजफ्फरपुर शेल्टर होम कांड के बाद पटना के आसरा होम से भी लड़कियों के भागने और रहस्यमयी मौत की खबरें आई थीं और अब इस फेहरिस्त में एक और नाम जुड़ गया है. घटना के बाद से ही एनजीओ और शेल्टर होम के संचालक कैमरे पर बात करने से बच रहे हैं लेकिन कोतवाली डीएसपी राकेश कुमार ये दावा कर रहे हैं कि इस मामले में अगर शेल्टर होम संचालकों की लापरवाही सामने आएगी तो उनपर भी कार्रवाई होगी.