बिहार: NDA में अब सीटों की पहचान को लेकर फंसा पेंच, इस सप्ताह मामला सुलझने के आसार
जेडीयू उपाध्यक्ष प्रशांत किशोर के एक करीबी ने कहा कि इस सप्ताह के अंत तक लिस्ट पूरी हो जाएगी और सब सामने आ जाएगा. जेडीयू प्रवक्ता नीरज सिंह ने कहा कि संख्या के बारे में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के घटक दलों में सर्वानुमति बन गई है.
पटना: इस बार लोकसभा चुनाव में बिहार में एनडीए की घटक दल जेडीयू और बीजेपी बराबर-बराबर सीटों पर लड़ेगी. हालांकि अभी ये तय नहीं हो पाया कि किस सीट पर कौन लड़ेगा. इस बीच बिहार के सभी इलाके में बीजेपी और जेडीयू का बराबर प्रतिनिधित्व हो इसकी कवायद चल रही है. एनडीए में सीटों को लेकर इस सप्ताह मामला सुलझने के आसार हैं.
अगर बिहार की 40 लोकसभा सीटों को इलाकों में तब्दील किया जाए तो ये कुल 10 रीजन बनेंगे. अब सारण रीजन को ही लें तो यहां लोकसभा की चार सीटें हैं जिसमें छपरा, महाराजगंज, सिवान और गोपालगंज हैं. अब कोशिश ये हो रही है कि इस रीजन में दो सीटों पर बीजेपी और दो सीटों पर जेडीयू लड़े. ठीक इसी तरह सीमांचल रीजन में किशनगंज, अररिया, कटिहार और पूर्णिया लोकसभा सीट है. यहां भी दो सीटें बीजेपी और दो सीटें जेडीयू को मिलने की बात है.
इसके अलावा लोक जनशक्ति पार्टी की तरफ से मुंगेर और खगड़िया सीट पर दावेदारी है लेकिन मुंगेर से नीतीश कुमार के करीबी और बिहार सरकार में मंत्री ललन सिंह तैयारी कर रहे हैं. ऐसे में लोक जनशक्ति पार्टी इस सीट के बदले नवादा सीट चाहती है लेकिन वहां से मौजूदा सांसद गिरिराज सिंह तैयार नहीं है.
लोक जनशक्ति पार्टी के लिए हाजीपुर, जमुई और समस्तीपुर सीट में कोई बदलाव नहीं है. हाजीपुर से खुद रामविलास पासवान सांसद हैं हालांकि इस बार उनके राज्यसभा जाने की बात हुई है. जमुई से चिराग पासवान सांसद हैं तो रामविलास के भाई रामचन्द्र पासवान समस्तीपुर से सांसद हैं. खगड़िया से महबूब अली कैसर सांसद हैं लेकिन उनके करीबियों का कहना है कि वे लोक जनशक्ति पार्टी से इस बार चुनाव नहीं लड़ेंगे. उधर वैशाली से सांसद रामा सिंह बागी हो चुके हैं इसलिए इन सीटों के बदले दूसरी सीटें मिलने की बात चल रही है.
महराजगंज से बीजेपी सांसद जनार्दन सिंह सिग्रीवाल इस सीट पर ही चुनाव लड़ने की बात कह रहे हैं तो जेडीयू इसे परंपरागत सीट होने का दावा कर उम्मीदवार उतारने की बात कह रही है. ऐसे भी कुछ सीटें हैं जिसपर बीजेपी के नेता बागी हो गए हैं. दरभंगा से सांसद कीर्ति आजाद बीजेपी छोड़ चुके हैं वहीं पटना साहिब से शत्रुघ्न सिन्हा ने भी अपने तेवर साफ कर दिए हैं. बेगूसराय के सांसद भोला सिंह के निधन से ये सीट खाली है. उपेन्द्र कुशवाहा के एनडीए छोड़ देने से तीन सीट काराकाट, सीतामढ़ी और जहानाबाद खाली है. मधुबनी से हुकुमदेव नारायण यादव के फिर से चुनाव लड़ने की संभावना कम है. सासाराम के छेदी पासवान भी बागी हो चुके हैं.
जेडीयू उपाध्यक्ष प्रशांत किशोर के एक करीबी ने कहा कि इस सप्ताह के अंत तक लिस्ट पूरी हो जाएगी और सब सामने आ जाएगा. जेडीयू प्रवक्ता नीरज सिंह ने कहा कि संख्या के बारे में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के घटक दलों में सर्वानुमति बन गई है. उम्मीदवार भी शानदार होगा और गठबंधन भी शानदार है. कहीं कोई परेशानी नहीं है, समय पर घोषणा हो जायेगी. नीरज सिंह ने महागठबंधन में सीटों के बंटवारे पर हो रही देरी पर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि जब तक राहुल गांधी होटवार जेल के कैदी नम्बर 3351 लालू यादव के सामने दंडवत नहीं होगें, सीटों का बंटवारा नहीं होगा.
वहीं बीजेपी प्रवक्ता प्रेमचंद ने कहा कि संख्या तो तय हो चुकी है अब किस सीट पर कौन लड़ेगा ये केंद्रीय नेतृत्व का मामला है. अभी चुनाव की घोषणा नहीं हुई है. चुनाव की घोषणा के तुरंत बाद सीटों का भी वर्गीकरण कर लेंगे. हमारे यहां कोई विवाद नहीं है.
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