पटना: बिहार में जनता दल युनाइटेड के एक नारा लिखे होर्डिंग लगाने के बाद से ही राज्य में स्लोगन पॉलिटिक्स शुरू हो गई है. कोई भी दल इस राजनीति में पीछे नहीं रहना चाह रहा है. राजनीतिक दल सोशल साइटों पर भी स्लोगन के जरिए विरोधियों पर जहां हमले कर रहे हैं, वहीं वे अपनी बात भी रख रहे हैं. सत्ताधारी जेडीयू ने पटना स्थित प्रदेश कार्यालय के नजदीक सोमवार को एक होर्डिंग लगाया, जिसपर एक नया नारा लिखा था -'क्यों करें विचार, ठीके तो है नीतीश कुमार'.


जेडीयू के इस नारे के जवाब में राज्य की मुख्य विपक्षी पार्टी राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) के कार्यकर्ताओं ने 'क्यों न करें विचार, बिहार जो है बीमार' नारे वाला बैनर लगा दिया. जेडीयू के प्रवक्ता संजय सिंह कहते हैं, "जेडीयू का यह नारा लोगों के बीच से आया है. लोग मानते हैं कि जब बिहार नई ऊंचाइयां छू रहा है, तब अन्य लोगों पर विचार करने की क्या जरूरत है." पार्टी के सचिव रविंद्र कुमार सिंह पार्टी के नारे को 'हिट' बताते हुए कहते हैं कि पार्टी इस नारे के जरिए लोगों को जो संदेश देना चाहती थी, वह देने में कामयाब हुई है. उन्होंने कहा कि बिहार विधानसभा चुनाव तक पार्टी द्वारा और भी नारों के जरिए संदेश दिया जाएगा.


इस बीच, जन अधिकार पार्टी के प्रमुख और पूर्व सांसद पप्पू यादव ने ट्वीट कर एक नारे के जरिए नीतीश कुमार पर निशाना साधा- 'हो चुका है विचार, देंगे उखाड़, कहीं के नहीं रहेंगे नीतीश कुमार.'





इस बीच, आरजेडी की तरफ से सोशल मीडिया पर एक और नारा दिया गया, जिसमें पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद को अगला मुख्यमंत्री बताया गया है. आरजेडी का यह नारा है- 'हमने कर लिया विचार, हमें चाहिए तेजस्वी सरकार.' आरजेडी की तरफ से जारी एक अन्य पोस्टर में राज्य में अपराध को लेकर सरकार पर निशाना साधा गया है. पोस्टर कुछ इस प्रकार है- 'पुलिस से डरने की अब रह गई है क्या दरकार, जब करे मन मार रहे गोली दो-चार, ठीके तो है नीतीश कुमार'.


गौरतलब है कि बिहार विधानसभा चुनाव में अभी एक साल बाकी है लेकिन राजनीतिक दल अभी से नारों को लेकर एक-दूसरे से भिड़ गए हैं. आरजेडी प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी कहते हैं कि जेडीयू ने अपने पोस्टर में नीतीश कुमार को 'ठीके' बताकर स्थिति स्पष्ट कर अपनी मजबूरी बता दी है. उन्होंने कहा, "पिछले चुनाव में जेडीयू का नारा 'बिहार में बहार है, नीतीश कुमार है' दिया गया था लेकिन आज वही जेडीयू नीतीश कुमार को 'ठीके' बता रहा है."


इधर, बीजेपी भी इस पोस्टर वॉर में कूद गई है. बीजेपी नेता और बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी कहते हैं कि "पोस्टर के जरिए जनमत बनाने का अधिकार सभी दलों को है. कुछ लोग जनमत बिगाड़ने या राज्य की छवि धूमिल कर निवेशकों को डराने के लिए भी पोस्टर का दुरुपयोग कर रहे हैं." उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव के समय भी बहुत सारे पोस्टर लगाए गए थे, लेकिन जनता ने किस पर भरोसा किया, किनके पोस्टर को रद्दी समझा यह सबके सामने है. सुशील मोदी हालांकि जेडीयू को भी इशारों ही इशारों में नसीहत देने से नहीं चूके.


सुशील मोदी ने ट्वीट किया, "राज्य विधानसभा चुनाव होने में जब एक साल से ज्यादा वक्त बचा है, तब राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) के लिए यह चुनावी मोड में आने का नहीं, कार्यकाल की शेष अवधि में विकास के ज्यादा से ज्यादा काम करने का समय है. हमारे यहां नेतृत्व को लेकर न कोई संशय है, न कोई अन्तर्कलह है."