अमरोहा: लोकसभा चुनाव के लिए बूथ अध्यक्षों में जोश भरने पहुंचे भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने राममंदिर मुद्दे पर दांव चला है. उन्होंने राहुल गांधी, अखिलेश यादव और मायावती का मंच से नाम लेकर कहा कि चुनाव में जनता के बीच जाने से पहले उनको यह बताना चाहिए कि वो अयोध्या में राममंदिर निर्माण के पक्ष में है या नहीं. अमित शाह ने कहा कि अगर उनसे यही सवाल पूछा जायेगा तो उनका जबाब है कि बीजेपी अयोध्या में भव्य राममंदिर निर्माण के लिए प्रतिबद्ध है.


बीजेपी अध्यक्ष ने अपने भाषण में कहा कि जनता और हम सभी लोग चाहते हैं कि अयोध्या में मंदिर जल्द से जल्द बने. जयश्रीराम का नारा लगाकर कार्यकर्ताओं में जोश भरते हुए अमित शाह ने कहा कि राममंदिर निर्माण बीजेपी का संकल्प है, निश्चय है. इसके लिए हमारे मन के अंदर कोई दुविधा नही है, लेकिन कोर्ट में जब भी केस आता है कांग्रेस के वकील कपिल सिब्बल खड़े होकर कहते हैं कि 2019 के चुनाव तक यह मत करिये. सर्वोच्च अदालत के मुख्य न्यायाधीश के खिलाफ इन्पिचमेंट लाया गया. केवल इसलिए कि केस न चल पाये.


अमित शाह ने कहा कि कांग्रेस पार्टी के लोग कान खोलकर सुन लें. राहुल गांधी से मेरा कहना है कि चुनाव में जाने से पहले अयोध्या में राममंदिर निर्माण के पक्ष में आप हो या नहीं, इसकी घोषणा करके जाइये. यही घोषणा अखिलेश यादव और मायावती भी करें. 70 साल से यह केस देश की अलग-अलग अदालत में चल रहा है, लेकिन निपटारा नहीं होता है. रामजन्मभूमि न्यास ने अधिग्रहीत जमीन वापिस मांगी है. मोदी सरकार ने 42 एकड़ जमीन न्यास को वापिस देने का फैसला किया है. हम कोर्ट में हलफनामा लेकर गये हैं. यह जमीन कांग्रेस सरकार ने अधिग्रहीत की थी.


अमित शाह ने कहा कि बीजेपी ने रोहिंग्या और घुसपैठियों को रोकना का काम शुरू किया है. ये घुसपैठिये कांग्रेस पार्टी के वोटर हैं. 2019 में सत्ता में आने के बाद नरेन्द्र मोदी सरकार अगले 5 सालों में कश्मीर लेकर कन्याकुमारी तक और आसाम से लेकर गुजरात तक एक भी घुसपैठिये को देश में नहीं रहने देगी. इस चुनाव में हरेक कार्यकर्ता को 50 फीसदी वोट की लड़ाई लड़नी है. 50 फीसदी में बीजेपी और बाकी 50 फीसदी में विरोधी पार्टियां और गठबंधन रहेगें.