अमेठी: उत्तर प्रदेश के अमेठी जिले के पीपरपुर में लूट के एक आरोपी की पुलिस हिरासत में मौत की घटना की मजिस्ट्रेट से जांच के आदेश दिये गये हैं. पुलिस महकमा इसकी विभागीय जांच भी करायेगा. अमेठी के जिलाधिकारी प्रशांत शर्मा ने बताया कि मामले की गंभीरता को देखते हुए मजिस्ट्रेट से जांच के आदेश दे दिये गये हैं. पूरे मामले की जांच अमेठी के उप जिला मजिस्टेट योगेन्द्र कुमार सिंह करेंगे.
उधर, पुलिस अधीक्षक ख्याति गर्ग ने बताया कि घटना की उच्च स्तरीय विभागीय जांच के आदेश दे दिये गये हैं. अमेठी के अपर पुलिस अधीक्षक दयाराम को जांच सौपी गयी है. मालूम हो कि अमेठी जिले के पीपरपुर क्षेत्र में हाल ही में बैंक कर्मचारी से 26 लाख रुपये लूटे जाने के मामले में पूछताछ के मकसद से हिरासत में लिये गये सत्य प्रकाश शुक्ला की मंगलवार देर रात संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गयी.
पिछली पांच अक्टूबर को पीपरपुर थाना क्षेत्र के परसोईया इलाके में यूको बैंक की दूसरी शाखा में रकम डालने जा रहे शाखा प्रबंधक से हुई 26 लाख रुपये की लूट के मामले में पुलिस और स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप (एसओजी) ने सत्य प्रकाश शुक्ला (50) और उनके बेटों को 28/29 अक्टूबर की रात करीब दो बजे घर से हिरासत में लिया था.
परिजनों का क्या है दावा?
अपर पुलिस अधीक्षक दयाराम के मुताबिक, शुक्ला ने दबिश के दौरान अपने घर में ही जहर खा लिया. रास्ते में तबीयत खराब होने पर उसे सुलतानपुर जिला अस्पताल ले जाया गया, जहां इलाज के दौरान उसकी मौत हो गयी. शुक्ला के परिजन का दावा है कि पुलिस ने उसे बेहद प्रताड़ित किया और जहर खिला दिया जिससे उसकी मौत हो गयी.
इस बारे में शिकायत किये जाने पर सुलतानपुर के पुलिस अधीक्षक हिमांशु कुमार के निर्देश पर शहर कोतवाली में एसओजी अमेठी और पीपरपुर पुलिस के सम्बन्धित अफसरों और कर्मियों के खिलाफ धारा 302 (हत्या), 392 (लूट के लिये दण्ड), 504 (शांति भंग करने के इरादे से जानबूझकर अपमान करना), 452 (बिना अनुमति घर में घुसना, चोट पहुंचाने के लिए हमले की तैयारी) के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है.
हालांकि अपर पुलिस अधीक्षक ने शुक्ला को प्रताड़ित करने और पुलिस द्वारा जहर खिलाये जाने के आरोपों को निराधार बताते हुए कहा कि पुलिस 26 लाख रुपये की लूट के मामले में पूछताछ के लिये उसे पकड़ने गयी थी तभी उसने घर के अंदर ही जहर खा लिया.
योगी सरकार पर विपक्ष का हमला
उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने पुलिस हिरासत में मौत को लेकर योगी सरकार पर निशाना साधा है. उन्होंने ट्वीट कर कहा, ''अमेठी में पुलिस-हिरासत में हुई स्व. सत्य प्रकाश शुक्ला की मौत से उपजे जनाक्रोश को बीजेपी सरकार झूठी दलीलें देकर दबाना चाह रही है. परिजनों ने थर्ड डिग्री की प्रताड़ना का जो आरोप लगाया है उसकी निष्पक्ष जांच होनी चाहिए नहीं तो बीजेपी सरकार से जनता का रहा-सहा भरोसा भी उठ जाएगा.''
वहीं कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने कहा, ''यूपी पुलिस अपराधियों पर मेहरबान है लेकिन हरदिन नागरिकों को परेशान करने में माहिर है. प्रतापगढ़ के सत्य प्रकाश शुक्ला का परिवार बता रहा है कि उनको बच्चों के सामने टॉर्चर किया गया. हापुड़ में इस तरह की घटना हुई थी. बीजेपी सरकार के कान पर जूं तक नहीं रेंग रही.''
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