लखनऊ: समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता मुलायम सिंह यादव मंगलवार को प्रेस कनफ़्रेंस कर रहे हैं. खास बात है कि उनका ये प्रेस कॉन्फ्रेंस लखनऊ में समाजवादी पार्टी के ऑफिस में होगा. जिसने भी ये खबर सुनी, सब हैरान रह गए. जितने मुंह उतनी बातें. वो ऐसा इसीलिए क्योंकि परिवार में घमासान के बाद नेताजी ने कभी पीसी नहीं की. दो साल से भी अधिक हो गए इस बात को. समाजवादी पार्टी के समर्थक मुलायम सिंह यादव को नेताजी कह कर बुलाते हैं.
समाजवादी पार्टी की तरफ़ से संदेश आया है कि मुलायम सिंह यादव मंगलवार को दोपहर 1 बजे पीसी करेंगे. बताया गया कि पूर्व रक्षा मंत्री और मैनपुरी के सांसद पत्रकारों से बात करेंगे. लेकिन मुद्दा क्या हो सकता है ? आखिर वो कौन सी बात है जिसे बताने के लिए मुलायम को ढाई साल बाद पीसी करनी पड़ रही है. इन दिनों उनका स्वास्थ्य भी ठीक नहीं रहता है. लेकिन बात ही कुछ ऐसी है. उनके दोस्त आजम खान मुसीबत में हैं. रामपुर के सांसद आजम खान पर अब तक 76 मुकदमे दर्ज हो चुके हैं. भैंस चोरी और लूटपाट से लेकर जमीन हड़पने तक. पुलिस उनके घर वालों तक से पूछताछ कर चुकी है. आजम खान पर गिरफ्तारी का खतरा मंडरा रहा है. वे कहां हैं, किस हालात में हैं, किसी को नहीं पता. एबीपी न्यूज़ को पता चला है कि मुलायम सिंह कल आजम खान के समर्थन में पीसी करने वाले हैं.
समाजवादी पार्टी के सीनियर नेता आजम खान की पत्नी तंजीम फातिमा भी राज्यसभा से सांसद हैं. खबर है कि रविवार को वे लखनऊ आई थीं. उन्होंने मुलायम सिंह यादव से मुलाकात की. बातचीत बड़ी लंबी रही. तंजीम ने नेताजी से अपने पति आजम को बचाने की गुहार लगाई. जिसके बाद मुलायम ने अपने बेटे अखिलेश यादव से बातचीत की. फिर तय हुआ कि नेताजी प्रेस कॉन्फ्रेंस करेंगे. अखिलेश ने समाजवादी पार्टी ऑफिस में इसे करने का सुझाव दिया. मुलायम झट तैयार हो गए.
मुलायम सिंह यादव को आजम खान से दोस्ती के नाते ढाई साल बाद पीसी करने आना पड़ रहा है. दोनों की दोस्ती करीब 33 साल पुरानी है. मुलायम ने जब 1992 में समाजवादी पार्टी बनाई. तब से आजम खान उनके साथ रहे हैं. बीच में अमर सिंह के कारण कुछ महीनों के लिए आजम पार्टी से अलग हो गए थे. आजम खान कई बार कह चुके हैं कि उनकी सियासत मुलायम सिंह तक ही है. मुलायम परिवार में मचे घमासान के दौरान आजम ने शिवपाल यादव के बदले अखिलेश यादव का साथ दिया था. आजम के समर्थन में समाजवादी पार्टी के समर्थकों ने पिछले ही महीने सड़कों पर प्रदर्शन भी किया था. ये समय का फेर ही है कि जिस आजम की भैंस चोरी होने पर बड़े बड़े पुलिस अफसर उसे ढूंढने में जुट गए थे, अब वही आजम खान भैंस चोरी के आरोपी हैं.