आजम खान के खिलाफ बोलना IPS ऑफिसर अमिताभ ठाकुर को पड़ा भारी!
लखनऊ: उत्तर प्रदेश सरकार ने नगर विकास मंत्री आजम खान के खिलाफ बोलने पर आईपीएस अधिकारी अमिताभ ठाकुर पर विभागीय कार्यवाही शुरू कर दी है. बीती 13 मार्च को आईपीएस ठाकुर और अपनी पत्नी एक्टिविस्ट डॉ. नूतन ठाकुर ने रामपुर के वाल्मीकि बस्ती में मंत्री आजम खान द्वारा वाल्मीकि बस्ती को हटवाने के प्रयासों के खिलाफ वाल्मीकि समाज को संगठित रूप से लड़ने को कहा था. जिस पर शासन ने मंत्री के खिलाफ लोगों को भड़काने के आरोप में आईपीएस ठाकुर के खिलाफ विभागीय कार्यवाही शुरू की है.
अमिताभ पर आजम के खिलाफ धर्म और जाति के नाम पर वाल्मीकि लोगों को भड़काने और इसे राज्य सरकार की आलोचना माने जाने का आरोप है. इसे अखिल भारतीय सेवा आचरण नियमावली के नियम तीन (आईपीएस अफसर से अपेक्षित आचरण के विपरीत) और नियम सात (सरकार की आलोचना) माना गया है. मुलायम सिंह के खिलाफ आरोप लगाने के बाद यह अमिताभ के खिलाफ चौथी विभागीय कार्यवाही है.
आजम खान पर गंभीर आरोपों की याचिका खारिज
इलाहाबाद हाई कोर्ट ने एसपी सरकार के कद्दावर मंत्री आजम खान पर पुराने नोटों का काला धन बदलने तथा अन्य आरोपों की जांच स्वतंत्र जांच एजेंसी से कराने की मांग में दाखिल याचिका खारिज कर दी है. याचिका रामपुर के व्यवसायी फैसल खान लाला ने दाखिल की है. याची रामपुर जिला कांग्रेस का महासचिव भी है. याचिका पर न्यायमूर्ति रमेश सिन्हा और न्यायमूर्ति रेखा दीक्षित ने सुनवाई की.
याची के खिलाफ रामपुर में 2010 से 2016 के बीच जानलेवा हमला सहित कई संगीन धाराओं में चार मुकदमे दर्ज हुए हैं. उस पर थाना सिविल लाइंस में पुलिस के साथ मारपीट करने और बलवा करने का भी मुकदमा दर्ज है. उसने याचिका दाखिल कर कहा कि याची को आगामी विधानसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी से टिकट मिला है.
बिल जमा होने के बावजूद कटवा दी बिजली
एसपी नेता आजम खान भी इसी विधानसभा से प्रत्याशी होंगे. उनके बीच राजनीतिक प्रतिद्वंदिता है. याची का आरोप है कि आजम खान उसके ऊपर कई बार जानलेवा हमला करवा चुके हैं. उसकी फैक्ट्रियों के लाइसेंस उन्होंने रद्द करा दिये और बिल जमा होने के बावजूद बिजली कटवा दी. पिछले लोकसभा चुनाव के दौरान भी आजम खान के मीडिया प्रभारी सहित कई लोगों ने उस पर हमला किया था. उसका एनकाउंटर कराने की भी कोशिश की गयी.
याची ने राज्यपाल को प्रत्यावेदन देकर आरोप लगाया है कि जौहर विश्वविद्यालय परिसर में स्थित जिला सहकारी बैंक में आजम खान का काला धन सफेद किया गया है. जिसकी जांच करायी जाए और बैंक की मानीटरिंग करायी जाए. हाईकोर्ट से मांग की गयी कि याची और आजम खान के खिलाफ सभी आरोपों की जांच स्वतंत्र जांच एजेंसी से करायी जाए.