जेवर एयरपोर्ट: 72 प्रतिशत किसानों ने अधिग्रहण को दी मंजूरी, प्रशासन ने सरकार को भेजा प्रस्ताव
जेवर एयरपोर्ट बनने का रास्ता अब साफ होता नजर आ रहा है. नोएडा के जिला प्रशासन ने शासन को प्रस्ताव भेज दिया है जिसमें 70 प्रतिशत किसानों की सहमति मिलने की बात कही गई है.
नोएडा: जेवर में अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के लिए गौतमबुद्ध नगर (नोएडा) प्रशासन ने 1,334 हेक्टेयर जमीन के अधिग्रहण का प्रस्ताव उत्तर प्रदेश सरकार को भेजा है. जिला मजिस्ट्रेट ब्रजेश नारायण सिंह ने संवाददाताओं से कहा कि प्रस्ताव की समीक्षा के बाद राज्य सरकार भूमि अधिग्रहण में उचित मुआवजा और पारदर्शिता का अधिकार, पुनर्वास और पुन:स्थापना अधिनियम, 2013 की धारा 11ए के तहत अधिसूचना जारी करेगी.
उन्होंने बताया कि इस नए हवाई अड्डे के लिए कुल 5,000 हेक्टेयर जमीन का अधिग्रहण किया जाना है. हवाई अड्डे का निर्माण 15,000 से 20,000 करोड़ रुपये में किया जाना है. जेवर एनसीआर में दिल्ली के इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के बाद दूसरा अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डा होगा.
RTI के तहत पूछा पीएम मोदी के काफिले में कितनी हैं गाड़ियां, PMO ने ये दिया जवाब
सिंह ने कहा कि परियोजना के पहले चरण के लिए 1,334 हेक्टेयर जमीन की जरूरत है. 1,239 हेक्टेयर जमीन का अधिग्रहण छह गांवों रोही, दयांतपुर, परोही, किशोरपुर, रनहेड़ा तथा बनवारी बांस के किसानों से किया जाएगा और उन्हें इसके लिए उचित मुआवजा दिया जाएगा. उन्होंने कहा कि क्षेत्र में 95 प्रतिशत शेष जमीन पहले से सरकार की है.
जिला मजिस्ट्रेट ने कहा,"अधिग्रहण के लिए अनिवार्य 70 प्रतिशत भूमि मालिकों की मंजूरी मिल गई है. वास्तव में 72 प्रतिशत ने भूमि अधिग्रहण के लिए अपनी मंजूरी दी है. जिला स्तर पर सभी औपचारिकताएं पूरी हो गई हैं और सरकार को प्रस्ताव भेजा गया है."
उल्लेखनीय है कि भूमि अधिग्रहण में उचित मुआवजा और पारदर्शिता का अधिकार, पुनर्वास और पुन:स्थापना अधिनियम, 2013 के तहत सरकार को इस तरह की किसी परियोजना के लिए भूमि अधिग्रहण को कम से कम 70 प्रतिशत भूमि मालिकों की मंजूरी लेना जरूरी है.