पटना: बिहार सरकार के गृह विभाग के अपर मुख्य सचिव आमिर सुबहानी ने 31 मई तक लॉकडाउन-4 के मद्देनजर गाइडलाइन जारी किया. गाइडलाइन के मुताबिक, बिहार के बिहार के सभी प्रखंड मुख्यालय रेड जोन में आएंगे. सरकार का मानना है कि अप्रवासी लोगों को क्वारन्टीन में रखा गया है इसलिए वह रेड जोन में आएगा. आदेश में कहा गया है कि प्रवासी श्रमिकों के बड़ी संख्या में बाहर से आने की वजह से राज्य में कोविड-19 के संक्रमण में वृद्धि हो रही है. इसलिए भारत सरकार के द्वारा निर्गत आदेश के क्रम में राज्य सरकार के स्तर से कुछ निर्देश दिए जाते हैं.


कहां छूट और कहां पाबंदी?


चूंकि राज्य के बाहर से और विशेषकर अन्य राज्यों के रेड जोन से आने वाले प्रवासी श्रमिकों को बड़ी संख्या में प्रखंड स्तरीय क्वॉरन्टीन शिविरों में रखा जा रहा है. इसलिए सभी प्रखंड मुख्यालय (जिला मुख्यालय को छोड़कर) रेड जोन के रूप में चिन्हित और घोषित किये जाएंगे. प्रखंड मुख्यालय के सभी रेड जोन में केवल उन्हीं सामग्रियों की दुकानें खोलने की अनुमति होगी जिनका स्पष्ट निर्धारण गृह विभाग के आदेश संख्या 303 दिनांक 6 मई 2020 के द्वारा किया जा चुका है .उपरोक्त शर्तों के साथ रेड जोन में वे ही सारी गतिविधियां अनुमान्य होगी जो भारत सरकार के द्वारा आदेश दिया गया है. सभी कंटेनमेंट जोन में भारत सरकार के द्वारा लगाए गए सभी प्रतिबंध यथावत लागू रहेंगे.


सभी कंटेनमेंट जोन एवं सभी प्रखंड मुख्यालय रेड जोन) को छोड़कर राज्य के सभी शेष क्षेत्र एक समान समझे जाएंगे और उन क्षेत्रों में भारत सरकार के आदेश के अनुसार अनुमान्य गतिविधियां की जा सकेगी. कंटेनमेंट जोन और रेड जोन से बाहर सभी प्रकार की उपभोक्ता वस्तुओं (कपड़ा की दुकान और रेडिमेड वस्त्र दुकान सहित) को नियंत्रित ढंग से खोला जाएगा ताकि अत्यधिक भीड़ न हो.


अलग-अलग दिन या अलग-अलग समय पर दुकानें खुलेंगी


किसी एक स्थान पर स्थित अनेक दुकानों को बारी-बारी से सप्ताह के अलग-अलग दिन या अलग-अलग समय पर खोलने का आदेश संबंधित जिला पदाधिकारी निर्गत करेंगे. ग्राहकों के लिए अनिवार्य होगा कि वे अपने आवासीय क्षेत्र के निकट दुकानों में से खरीदारी के लिए जाएं और उन्हें दूर के दूसरे क्षेत्रों में स्थित दुकानों में खरीदारी के लिए जाने की इजाजत नहीं होगी.


ओला/उबर और दूसरे टैक्सी मात्र चिकित्सीय कारणों से और स्पेशल ट्रेनों के यात्रियों के लिए रेलवे स्टेशन तक जाने और आने के लिए अनुमान्य होंगी. रिक्शा/ऑटो रिक्शा के परिचालन के संबंध में परिवहन विभाग अलग से समुचित आदेश निर्गत करेगा. किराये के बसों का परिचालन जिला के अन्दर और अंतरजिला पूर्णतया प्रतिबंधित रहेगा.


गैर व्यवसायिक कार्यालयों में 33 फीसदी स्टाफ के साथ खोलने की अनुमति


इसके अलावा गाड़ियों /व्यक्तियों का अंतर जिला/जिला के अंदर परिचालन भी प्रतिबंधित रहेगा (अनुमान्य गतिविधियों को छोड़कर). सरकारी कार्यालयों में उप सचिव या समकक्ष तथा उनसे वरीय अधिकारी शत-प्रतिशत और उनसे जूनियर अधीनस्थ अधिकारी/ कर्मचारी प्रतिदिन बारी-बारी से 33 प्रतिशत उपस्थित रहेंगे. प्राइवेट संस्थाओं के व्यवसायिक/गैर व्यवसायिक कार्यालयों में 33 प्रतिशत कर्मियों के साथ खोलने की अनुमति होगी.


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