राम मंदिर निर्माण के लिए शिवसेना का शंखनाद, वारकरी संप्रदाय के लोगों से एबीपी न्यूज ने की खास बातचीत
वारकरी संप्रदाय के लोग हाथ में ढोल, मजीरा और रामायण लेकर यात्रा कर रहे हैं. ये लाग महाराष्ट्र के अलग-अलग हिस्सों से अयोध्या के लिए कूच कर रहे हैं. भजन कीर्तन के साथ यात्रा करते इन लोगों की मांग है कि 2019 से पहले राम मंदिर का निर्माण होना चाहिए और इसीलिए बड़ी संख्या में ये लोग अयोध्या के लिए निकले हैं.
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लखनऊ: राम मंदिर के निर्माण के समर्थन में 25 नवंबर को अयोध्या में धर्म संसद का आवाहन किया गया है, जिसमें देश के अलग-अलग हिस्सों के हिन्दू संगठनों से जुड़े लोगों के आने की संभावना है. माना जा रहा है कि संत समाज की तरफ से मोदी सरकार पर इस तरह से दबाव बनाया जा रहा है कि 2019 के चुनाव के पहले मंदिर के निर्माण को लेकर काम तेज किए जाएं. शिवसेना के संजय राउत ने अयोध्या में पूजा अर्चना कर इस माहौल में और गर्मी ला दी है. महाराष्ट्र से बड़ी संख्या में लोग ट्रेनों में सवार होकर अयोध्या के लिए रवाना हो रहे हैं. महाराष्ट्र के वारकरी समुदाय के लोगों से उनकी यात्रा के दौरान हमने खास बातचीत की जिसमें उन्होंने राम मंदिर के निर्माण के मुद्दे पर खुलकर अपनी बात रखी.
वारकरी संप्रदाय के लोग हाथ में ढोल, मजीरा और रामायण लेकर यात्रा कर रहे हैं. ये लाग महाराष्ट्र के अलग-अलग हिस्सों से अयोध्या के लिए कूच कर रहे हैं. भजन कीर्तन के साथ यात्रा करते इन लोगों की मांग है कि 2019 से पहले राम मंदिर का निर्माण होना चाहिए और इसीलिए बड़ी संख्या में ये लोग अयोध्या के लिए निकले हैं. लोगों ने कहा कि सरकार 2019 से पहले राम मंदिर बनवाने का वादा पूरा करे.
संप्रदाय के जुड़े सदस्य हरिभक्त परायण रामचंद्र महाराज पेनोरे ने कहा कि देश में राम मंदिर का निर्माण हो उसके लिए सरकार को कोशिश करनी चाहिए. उन्होंने कहा कि श्री राम को टेंट में देखकर संत समाज आहत है. हम सभी संत समाज के लोग उस ढांचे की जगह श्री राम का भव्य मंदिर चाहते हैं.
कहा जा रहा है कि शिवसेना इस पूरे मंदिर के मसले पर सरकार को घेरने की कोशिश करती आ रही है और इसी कड़ी में संजय राउत ने भी अयोध्या में पूजा पाठ कर ये दिखाने की कोशिश की कि अब बीजेपी की सहयोगी पार्टियां भी मंदिर के मुद्दे पर मुखर हो रही हैं. 25 नवंबर को होने वाली धर्म संसद में उद्धव ठाकरे भी आ रहे हैं और इसीलिए ये भी समझा जा सकता है क्यों और कैसे महाराष्ट्र से इतनी बड़ी संख्या में लोग अयोध्या की धर्म संसद में हिस्सा लेने के लिए आ रहे हैं.
शिवसेना पार्टी से जुड़े शाखा प्रमुख भागवत निवृत्ति कदम ने कहा कि अभी तो उद्धव ठाकरे के नेतृत्व में हम राम मंदिर के निर्माण की मांग करने अयोध्या जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि इस ट्रेन में 80 फीसदी से ज्यादा लोग अयोध्या ही जा रहे हैं आने वाले दिनों में 25 तारीख से पहले हजारों की संख्या में ट्रेनों में भरकर लोग आने वाले हैं.
एक और सदस्य ईश्वर जी महाराज नागरे ने कहा कि राम मंदिर नहीं बनाया है इसलिए संत समाज तत्कालीन सरकार से नाराज है. 5 साल में से साढ़े चार साल का समय बीत गया है लेकिन राम मंदिर के नाम पर कुछ नहीं किया गया है. उन्होंने कहा कि राम लला हम आएंगे मंदिर वहीं बनाएंगे के नारे कहां गए अब?
कहा जा रहा है कि इस मुद्दे पर शिवसेना इसलिए भी ज्यादा एक्टिव नजर आ रही है क्योंकि इस समय इस बात की भी होड़ लगी है कि कौन सी पार्टी ज्यादा हिंदुओं के लिए हितैषी है और शायद इसीलिए उत्तर भारत मे अपनी जमीन तलाश रही शिवसेना भी अब राम के नाम पर लोगों से जुड़ना चाहती है.
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