मेरठ: मेरठ के कसेरू बक्सर में भीम आर्मी के कार्यक्रम के लिए इजाजत न मिलने से भड़के भीमआर्मी प्रमुख चन्द्रशेखर ने विवादित बोल बोले हैं. अपने समर्थकों के बीच मिले सम्मान से गदगद चन्द्रशेखर ने कहा कि हम चमड़ा उतारना जानते हैं, चमड़े का जूता बनाना जानते हैं और उस जूते को सिर में मारना भी जानते हैं. हमें छेड़ने वाले जान लें कि हम कपड़ों की तरह फाड़ देंगे.


मेरठ में शनिवार को आयोजन स्थल पर सरकारी अनुमति के बिना ही कार्यक्रम किया जा रहा था. जिला प्रशासन और पुलिस ने इस आयोजन के मंच और वहां चल रही तैयारियों को चन्द्रशेखर के पहुंचने से पहले ही हटवा दिया. सरकारी कार्रवाई से गुस्साये कार्यकर्ताओं ने इसका विरोध भी किया. मगर जब चन्द्रशेखर मेरठ पहुंचे तो उन्होंने जिला प्रशासन और पुलिस को तल्ख लहजे में चेतावनी दे डाली. चन्द्रशेखर ने यहां तक कहा कि संविधान से खेलने वालों के लिए भीमआर्मी झंडा और डंडा दोनो मजबूत रखे हुए है.


रोड शो के बाद पत्रकारों से रूबरू चन्द्रशेखर सामान्य वर्ग को केन्द्र सरकार के 10 फीसदी आरक्षण मुद्दे पर चतुर राजनैतिक की तरह बात करते नजर आये. उन्होंने कहा कि ओबीसी समाज में जाट, गुर्जर और अन्य जातियों के बच्चे आज भी प्राइमरी स्कूलों में पढ़ते हैं. उन्हें रोटी नसीब नहीं है. अपनी सियासी बंदूक को ओबीसी के कंधे पर रखते हुए चन्द्रशेखर ने ओबीसी, मुस्लिम और दलित को भाजपा से मुकाबला करने के लिए साथ आने का आह्वान किया. चन्द्रशेखर ने कहा कि सवर्णो के नाम पर 10 फीसदी आरक्षण संविधान की हत्या है. ओबीसी समाज बीजेपी के खिलाफ आंदोलन शुरू करे तो भीमआर्मी हक की लड़ाई के लिए उन्हें अपना खून तक देने को तैयार है.


चुनाव से पहले महागठबंधन का समर्थन करते हुए चन्द्रशेखर ने कहा कि जिस संविधान की वजह से तानाशाह लोग सत्ता की कुर्सी पर बैठे है, वही अब संविधान की हत्या करने पर उतारू है. ऐसे लोगो को रोकने के लिए सामूहिक प्रयास जरूरी है. जो ओबीसी दल अभी गठबंधन से दूर है उन्हें साथ लाने की भीमआर्मी कोशिश कर रही है. सभी बहुजन हमारे प्रतिनिधि है, बस वह अपना काम ईमानदारी से करें.


चन्द्रशेखर ने यह भी कहा कि बीजेपी के पास जनता को ठगने का अब कोई हथकंडा नही बचा है. वह राजस्थान में हारे, उनका गुजरात मॉडल फेल हो गया. वह राममंदिर, कुंभ और बजरंगबली के नाम पर राजनीति कर रहे है. 10 फीसदी आरक्षण से किसी का भला नही होगा. यह लोकतन्त्र और संविधान की हत्या है. भीमआर्मी अब चुप नही बैठेगी.