नई दिल्ली: यूपी के समाजवादी दंगल के पहलवान आज दिल्ली में अपना दांव खेलेंगे. बेटे अखिलेश से झगड़े के बाद आज मुलायम सिंह चुनाव आयोग के दरवाजे पर दस्तक देंगे और पार्टी का चुनाव चिन्ह उन्हें दिया जाए इसकी गुहार लगाएंगे. मुलायम सिंह यादव चुनाव आयोग को बताएंगे कि वही समाजवादी पार्टी के असली नेता हैं.
अखिलेश खेमे की तरह मुलायम भी अपने समर्थक विधायकों-सांसदों का हलफनामा लेकर जाएंगे. चुनाव आयोग ने दोनों खेमों को आज तक का वक्त दिया था. मुलायम सिंह यादव, अमर सिंह और शिवपाल यादव के साथ आज दोपहर पौने एक बजे चुनाव आयोग पहुंचेंगे.
आज अखिलेश खुद मिलेंगे चुनाव आयोग से
मुलायम सिंह यादव की मुलाकात के बाद अखिलेश गुट भी चुनाव आयोग से मुलाकात कर अपना पक्ष रखेगा. सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक अकिलेश यादव खुद चुनाव आयोग से मुलाकात कर इस बात की जानकारी देंगे कि उनकी तरप से अभी तक रामगोपाल यादव ने जो भी दस्तावेज जमा कराए हैं वो सब वैध हैं और पार्टी सिंबल पर असली हक उनका है.
अखिलेश गुट पहले भी कर चुका है दावा
पिछले दिनों एसपी के अधिवेशन में अखिलेश को राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाए जाने के बाद के पार्टी दो फाड़ हो गई है. दोनों गुट चुनाव चिन्ह साइकिल पर भी दावा ठोक चुके हैं और इसीलिए चुनाव आयोग ने दोनों पक्षों से समर्थन के हलफनामे मांगे हैं जिसका आज आखिरी दिन है. जिसका पलड़ा मजबूत होगा उसी की चलेगी. अखिलेश गुट पहले ही हलफनामे देकर 90 फीसद नेताओं के साथ होने का दावा कर चुका है.
अब बहुमत से मिलेगी 'साइकिल की सवारी'
अब जिस पक्ष के पास बहुमत (50 प्रतिशत से एक ज्यादा) होगा, उसे पार्टी का नियंत्रण हासिल करने में आसानी होगी. इस आपको बता दें कि अगर समय रहते चुनाव आयोग फैसला नहीं कर पाता तो साइकिल निशान के इस्तेमाल पर रोक लग सकती है. आयोग को बहुमत पर 17 जनवरी से पहले फैसला लेना होगा क्योंकि उसी दिन चुनाव के पहले चरण की अधिसूचना जारी होगी.
पहले चरण के लिए चुनाव दो फरवरी को होने हैं और अधिसूचना के साथ ही, नामांकन की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी. मुलायम और अखिलेश के गुट एक समय पर एक ही चुनाव चिह्न यानी साइकिल के साथ चुनाव नहीं लड़ सकते हैं.
मैं पार्टी का राष्ट्रीय अध्यक्ष, अखिलेश सिर्फ सीएम- मुलायम
कल दिल्ली पहुंचे मुलायम ने खुद को एसपी का राष्ट्रीय अध्यक्ष बताते हुए अखिलेश गुट के अधिवेशन को फर्जी कहा था. हालांकि अखिलेश के प्रति वो नरम ही दिखे. मुलायम ने कल शाम प्रेस कॉन्फ्रेंस करके कहा, "मैं पार्टी का राष्ट्रीय अध्यक्ष, अखिलेश सिर्फ मुख्यमंत्री और शिवपाल प्रदेश अध्यक्ष हैं. रामगोपाल बार्खास्त नेता हैं इसलिए उन्हें पार्टी का अधिवेशन बुलाने का अधिकार नहीं हैं.''
कार्यालय की चाबियां साथ लाए मुलायम
कल दिल्ली निकलने से पहले मुलायम ने शिवपाल के दफ्तर में फिर उनकी नेम प्लेट लगा दी थीं और चाबियां लेते गए थे. पिछले हफ्ते यहां अखिलेश समर्थकों ने कब्जा कर लिया था.
एनडी तिवारी ने दी मुलायम को सलाह
इस बीच वरिष्ठ कांग्रेसी नेता एनडी तिवारी ने मुलायम को चिट्ठी लिखकर सलाह दी है कि उन्हें अपनी राजनीतिक विरासत अखिलेश को सौंप देनी चाहिए.