ट्वीट विवाद: प्रशांत भूषण के घर के बाहर कान्हा के अपमान से आहत लोगों ने नेमप्लेट पर पोत दी कालिख
नई दिल्ली: कान्हा के अपमान को लेकर सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ वकील प्रशांत भूषण के खिलाफ लोगों का गुस्सा फूट रहा है. आज दिल्ली से सटे नोएडा में प्रशांत भूषण के घर के बाहर पहुंच कर लोगों ने प्रदर्शन किया. कान्हा के अपमान से आहत लोगों ने भूषण की नेमप्लेट में कालिख पोत दी.
दिल्ली के बाद लखनऊ में भी प्रशांत भूषण के खिलाफ केस दर्ज करा दिया गया है. दरअसल योगी सरकार के एंटी रोमियो स्क्वॉड के खिलाफ प्रशांत भूषण ने एक ट्वीट किया और उसमें भगवान कृष्ण का ज़िक्र कर दिया, जिसके बाद विवाद शुरू हो गया.
प्रशांत भूषण ने अपने ट्वीट में लिखा, ‘’रोमियो ने सिर्फ एक महिला से प्यार किया था जबकि कृष्ण पौराणिक मनचले थे. क्या योगी आदित्यनाथ में दम है कि वो अपने छेड़खानी निरोधक दस्ते को एंटी कृष्णा स्कवॉयड कह सकें?’’
प्रशांत भूषण ने ट्वीट किया और विवाद शुरु हो गया. बीजेपी की ओर से दिल्ली के तिलक मार्ग थाने में उनके खिलाफ केस दर्ज करा दिया, वहीं यूपी सरकार ने भी फौरन प्रशांत भूषण के खिलाफ मोर्चा खोल दिया. लखनऊ में भी प्रशांत भूषण के खिलाफ केस दर्ज दिल्ली में बीजेपी ने मुकदमा दर्ज कराया तो लखनऊ में कांग्रेस की ओर से भी हज़रतगंज थाने में प्रशांत भूषण के खिलाफ केस दर्ज कराया गया. मामले को तूल पकड़ता देख प्रशांत भूषण ने सोशल मीडिया पर सफाई भी दी. कहा, ‘’उनके बयान को गलत तरीके से लिया जा रहा है.’’ ट्वीट के बाद दी सफाई उन्होंने लिखा, ‘’एंटी रोमियो ब्रिगेड पर मेरे ट्वीट को तोड़ मरोड़कर पेश किया जा रहा है. मेरा केवल ये कहना है कि एंटी रोमियो ब्रिगेड को लेकर जो तर्क दिया जा रहा है, उस हिसाब से भगवान कृष्ण की छवि भी मनचले जैसी होती.’’Romeo loved just one lady,while Krishna was a legendary Eve teaser.Would Adityanath have the guts to call his vigilantes AntiKrishna squads? https://t.co/IYslpP0ECv
— Prashant Bhushan (@pbhushan1) April 2, 2017
My tweet on Romeo brigade being distorted. My position is: By the logic of Romeo Brigade, even Lord Krishna would look like eve teaser. — Prashant Bhushan (@pbhushan1) April 2, 2017
लेकिन उनकी सफाई से विवाद थमा नहीं, अब चूंकि भगवान कृष्ण का नाम इस मामले में घसीटा गया इसलिए धार्मिक संगठन भी प्रशांत भूषण के खिलाफ उतर आए. हालांकि उनके मित्र और सामाजिक कार्यकर्ता योगेंद्र यादव ने उनका बचाव किया है.
बता दें कि योगी आदित्यनाथ ने सीएम बनते ही मनचलों के खिलाफ कार्रवाई करने का आदेश दिया था, साथ में ये भी कहा है कि किसी शरीफ को तंग ना किया जाए.
कौन हैं प्रशांत भूषण ?
प्रशांत भूषण आम आदमी पार्टी के सह-संस्थापक रह चुके हैं. 2015 में पार्टी के खिलाफ बोलने पर प्रशांत भूषण को आम आदमी पार्टी से निकाल दिया गया था. जिसके बाद प्रशांत भूषण ने योगेंद्र यादव के साथ मिलकर स्वराज अभियान नाम की पार्टी भी बनायी. प्रशांत अन्ना हजारे के इंडिया अगेंस्ट करप्शन अभियान में रह चुके हैं. भूषण बोफोर्स घोटाले पर किताब लिख चुके हैं. मुंबई हमले के दोषी आतंकी कसाब को फांसी देने का भी वह विरोध कर चुके हैं. वहीं वह कश्मीर में जनमत संग्रह कराने की बात और नक्सलियों के खिलाफ कार्रवाई का भी विरोध करते रहे हैं.