नई दिल्ली: लोकसभा में जमा योजनाओं पर नियमन के लिए विधेयक पर चर्चा के दौरान बीजेपी सांसद राजीव प्रताप रूडी ने देश में मुद्रा योजना के क्रियान्वयन पर उठाए सवाल. रूडी ने कहा कि बैंक सही तरीके से क्रियान्वित नहीं कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि अगर मुद्रा लोन योजना बेहतर तरीके से लागू होती तो पोंजी योजनाओं को पनपने के लिए जमीन नहीं मिलती. फर्जी पोंजी निवेश योजनाओं पर रोकथाम के लिए लोकसभा में सरकार द्वारा लाये गये ‘अविनियमित निक्षेप स्कीम पाबंदी विधेयक, 2019’ पर चर्चा में भाग लेते हुए पूर्व केंद्रीय मंत्री रूडी ने यह बात कही.
बीजेपी सांसद ने कहा कि वित्त मंत्री ने मुद्रा योजना में बैंकों को 19 लाख करोड़ रुपये देने की बात कही है लेकिन बैंकों ने इनका सही से इनका इस्तेमाल नहीं किया. उन्होंने कहा कि मुद्रा लोन योजना प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की महत्वाकांक्षी योजना में है और उनकी इस दिशा में स्पष्ट नीति है. उन्होंने कहा, ‘‘इस सरकार की सारी योजनाओं में दम है. लेकिन जो दम मुद्रा योजना में है, किसी में नहीं.’’
रूडी ने कहा कि वह खुद अपने संसदीय क्षेत्र में मुद्रा योजना के लिए गरीब लोगों के आवेदन बैंकों में लेकर जाते हैं. उन्होंने कहा, ‘‘मैं खुद बैंकों में जाकर 20 हजार से ज्यादा आवेदन जमा करा चुका हूं. मैं इसके प्रत्यक्ष प्रमाण दे सकता हूं.’’ उन्होंने कहा कि अगर 19 लाख करोड़ रुपये सही से मुद्रा योजना में बंट गया होता तो पोंजी स्कीम में निवेश की जरूरत ही नहीं पड़ती.
इसके साथ ही उन्होंने कहा कि बैंकों को सरकार ने सुदृढ़ीकरण के लिए 70 हजार करोड़ की मदद दी है. बैंक अधिकारी बातें तो बड़ी बड़ी करते हैं लेकिन जमीन पर स्थिति उलट है. उन्होंने कहा, ‘‘मैं सरकार से आग्रह करता हूं कि बैंकों से मुद्रा लोन के आवेदन स्वीकार करा दीजिए. किसानों, गरीबों और छोटे कारोबारियों को मुद्रा लोन मिल गया तो पोंजी स्कीम में निवेश की जरूरत ही नहीं पड़ेगी. ये लोग ईमानदारी से पैसा भी लौटाएंगे.