जसलीन-जलोटा की लवस्टोरी सुनाने वाले प्रोफेसर से परेशान हैं CCS यूनिवर्सिटी की छात्राएं!
पहचान छुपाये रखने की शर्त पर एक छात्रा ने बताया कि हम पर अश्लील कमेंट किये जाते हैं. हमें और कपड़ों को प्रोफेसर घूरते हैं. गंदे कमेंट करते हैं. पढ़ाई तो दूर की बात है क्लासरूम में हमें जसलीन और अनूप जलोटा की लवस्टोरी सुनाकर प्रोफेसर साहब प्रेम और गुरू-शिष्य के संबधों की महिमा का गुणगान करते हैं.
मेरठ: मेरठ का चौधरी चरणसिंह विश्वविद्यालय पिछले कुछ दिनों से हंगामे का अड्डा बना हुआ है. अंग्रेजी विभाग में नये आये एसोसिएट प्रोफेसर से छात्राएं परेशान हैं. प्रोफेसर पढ़ाई के बजाय छात्राओं को क्लास में अश्लील शायरी सुना रहे हैं. जसलीन-जलोटा की लवस्टोरी से इन्स्पायर होने को कहते हैं और लड़कियों से पूछते है- आर यू कम्फर्टेबल इन जींस ऑर नॉट.
26 अक्टूबर 2018 को मेरठ के सीसीएस विश्वविद्यालय की छात्राओं ने कुलपति को एक लिखित शिकायत दी है. अंग्रेजी विभाग की करीब एक दर्जन छात्राओं की ओर से की गई शिकायत में लिखा है कि फ्रैशर्स पार्टी में प्रोफेसर ने एक छात्र के साथ मारपीट की. छात्राओं ने विरोध किया तो प्रोफेसर ने कैंपस में बाहरी लड़कों को बुलवाकर छात्राओं पर भद्दे कमेंट कराये और उनका पीछा भी कराया.पहचान छुपाये रखने की शर्त पर एक छात्रा ने बताया कि हम पर अश्लील कमेंट किये जाते हैं. हमें और कपड़ों को प्रोफेसर घूरते हैं. गंदे कमेंट करते हैं. पढ़ाई तो दूर की बात है क्लासरूम में हमें जसलीन और अनूप जलोटा की लवस्टोरी सुनाकर प्रोफेसर साहब प्रेम और गुरू-शिष्य के संबधों की महिमा का गुणगान करते हैं.
छात्राओं की शिकायत पर कुलपति ने जांच शुरू कराई है. यूनिवर्सिटी की वूमन विंग को अंग्रेजी विभाग की कक्षाओं के औचक निरीक्षण के आदेश दिये गये हैं. एक कमेटी बनाई गयी है जो प्रोफेसर की हरकतों की सच्चाई की जांच कर रही है. मगर 5 दिन बीत जाने के बाद भी जब जांच का नतीजा नहीं आया तो गुरूवार (01 नवम्बर) को छात्राओं ने कुलपति आवास के बाहर बैठकर धरना दिया. छात्राओं के साथ विश्वविद्यालय के छात्र नेता और अंग्रेजी विभाग के छात्र भी थे. हालात देखकर विश्वविद्यालय प्रशासन ने पुलिस और आरएएफ की टुकड़ी भी बुला ली. बाद में चीफ प्रॉक्टर के आश्वासन के बाद हंगामा खत्म हो सका.
छात्राओं का कहना है कि ऐसे प्रोफेसर की उन्हें कतई जरूरत नहीं जो पढ़ाई के बजाय कक्षा में अश्लीलता फैलाता हो. उनकी मांग है कि प्रोफेसर को कैंपस से बाहर भेजा जाये. उधर, अंग्रेजी विभाग में 31 अक्टूबर को प्रोफेसर रविन्द्र पर फायरिंग का मामला भी तूल पकड़ गया है. पुलिस के शक की सुई छात्राओं से अश्लीलता करने वाले प्रोफेसर की ओर है.
एसपी सिटी मेरठ कुमार रणविजय सिंह ने बताया कि बहुत से तथ्य सामने आये हैं. प्रोफेसर पर हमला और छात्राओं का मामला एक-दूसरे से जुड़ा हुआ लगता है. हम जल्द ही सच्चाई का खुलासा कर देगें. छात्राओं के आरोपों की जांच विश्वविद्यालय प्रशासन कर रहा है. हमारी जानकारी में तथ्य लाये गये हैं, लेकिन अभी आरोपी प्रोफेसर पर केस दर्ज करने के लिए हमें नहीं कहा गया है.
चीफ प्रॉक्टर डॉ. वीरपाल सिंह ने बताया कि कुलपति ने जो जॉच कमेटी बनाई है उसमें महिलाएं भी शामिल है. विवि प्रशासन आरोपी प्रोफेसर का बिल्कुल पक्ष नहीं ले रहा है. जांच में जो सामने आयेगा उसके खिलाफ कार्रवाई की जायेगी. जहां तक गंभीरता की बात है छात्राओं के आरोपों के कोई सबूत उन्होने शिकायत के साथ नहीं दिये हैं. इसलिए जब तक जांच पूरी नहीं हो जाती, इसमें आरोपी प्रोफेसर के साथ गंभीरता दिखाना ठीक नहीं.
छात्राओं के आरोप झेल रहे अंग्रेजी विभाग के एसोसिएट प्रोफेसर ने फोन पर बताया कि ये आरोप उनके साथ हो रही राजनीति का हिस्सा है. जो छात्राएं आरोप लगा रही है वह एमए थर्ड सैमेस्टर की हैं जबकि उनकी कोई क्लास वह नहीं लेते है. जबकि आरोप लगाने वाली छात्राओं का कहना है कि वह एमफिल की छात्राएं है और आरोपी प्रोफेसर उन्हें पढ़ाते हैं.