SP सरकार पर बोले कलराज, 'विज्ञापनों तक सीमित है अखिलेश का विकास'
लखनऊ: केन्द्रीय मंत्री कलराज मिश्र ने उत्तर प्रदेश की एसपी सरकार पर आरोप मढा कि उसके शासनकाल में कानून व्यवस्था ध्वस्त हो चुकी है और जिन विकास कार्यों के दावे मुख्यमंत्री अखिलेश यादव कर रहे हैं, वे केवल विज्ञापनों तक सीमित हैं.
कलराज ने कहा, ‘‘उत्तर प्रदेश में जिस तरह की राजनीतिक परिस्थितियां बन रही हैं, उन क्रिया कलापों से जनता त्रस्त हो गयी है. कानून व्यवस्था ध्वस्त हो चुकी है. विकास कार्य केवल विज्ञापनों तक सीमित हैं.’’ उन्होंने लखनऊ-आगरा एक्सप्रेसवे पर उन्नाव में हुई सडक दुर्घटना का उल्लेख करते हुए कहा, ‘‘जहां कहीं भी निर्माण कार्य हो रहे हैं, सडकों का लोकार्पण हो रहा है, सडकें ध्वस्त हो जा रही हैं.’’
लूट, हत्या, डकैती, मां बहनों की इज्जत से खिलवाड़ आम बात
कलराज ने कहा, ‘‘अगर देखा जाए तो अखिलेश सरकार के समय विज्ञापनों में तो काफी कार्य होता नजर आ रहा है लेकिन प्रत्यक्ष धरती पर कोई कार्य नहीं हुआ है.’’
उन्होंने कहा कि लूट, हत्या, डकैती, मां बहनों की इज्जत से खिलवाड़ आम बात हो गयी है. ‘‘महिलाओं के सम्मान की रक्षा तो दूर..पिता के सामने बेटी का बलात्कार होता है और राज्य सरकार के मंत्री को यह कहने में भी संकोच नहीं होता कि इसमें राजनीति की जा रही है.’’
कलराज का इशारा बुलंदशहर और राज्य के अन्य जिलों में हुई गैंगरेप की घटनाओं और उन पर राज्य सरकार के वरिष्ठ मंत्री के बयान की ओर था.
केन्द्रीय सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्री ने कहा कि जब सत्ताधारी दल में अंतर्कलह चल रही हो तो प्रशासनिक उद्दंडता भी बढती है.
उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश की जनता अब परिवर्तन के लिए मन बना चुकी है क्योंकि उसे भरोसा है कि बीजेपी ही कानून व्यवस्था दुरूस्त कर भ्रष्टाचार समाप्त कर सकती है. सुशासन के साथ विकास कर सकती है.
कुछ बैंकों की ओर से भी की जा रही है गडबड़ी: कलराज मिश्र
केन्द्रीय मंत्री कलराज मिश्र ने माना कि छापेमारी में करोडों रूपये के नये नोटों का पकडा जाना कहीं ना कहीं कुछ बैंकों की गडबड़ी का नतीजा है. कलराज ने कहा, ‘‘छापे पडे हैं. कुछ लोग पकडे गये हैं. बैंकों ने भी गडबडी की है. कुछ बैंक अधिकारियों को निलंबित किया गया है.’’ उन्होंने कहा कि कुछ बैंकों की ओर से गडबडी की जा रही है. ‘‘लेकिन जहां इसकी सूचना मिलती है, कार्रवाई की जा रही है. लोग निलंबित किये गये हैं.’’ उनसे चेन्नई में आयकर छापों के दौरान 2000 रूपये के नये नोटों के करोडों रूपये के बंडल पकडे जाने के बारे में सवाल किया गया था.
नोटबंदी के बाद बैंकों और एटीएम के आगे लग रही कतारों और लोगों के आत्महत्या करने के बारे में पूछे जाने पर कलराज ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने खुद देश की जनता से आग्रह किया था कि कुछ दिन कठिनाई सह लें. कोई बडा फैसला किया जाता है तो दिक्कतें आती हैं लेकिन इस फैसले से भविष्य में साफ सुथरी आर्थिक व्यवस्था हासिल होगी.
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने पहले ही देश की जनता से अपील की थी कि 30 सितंबर तक अघोषित धन जमा करा दें अन्यथा कडा कदम उठाएंगे. जब इस अपील का ज्यादा असर नहीं हुआ तो पांच सौ और हजार रूपये के नोट बंद करने पड़े.
हमारा कोई अड़ियल रवैया नहीं
कलराज ने कहा कि नोटबंदी के फैसले का शुरुू में कुछ दलों ने स्वागत किया था लेकिन बाद में बोलने लगे कि ये गलत फैसला है. कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने टिप्पणी की है कि यदि उन्हें संसद में इस प्रकरण पर बोलने दिया जाए तो भूकंप आ जाएगा, इस ओर ध्यान दिलाये जाने पर केन्द्रीय सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्री ने कहा कि हम तो चाहते हैं कि राहुल गांधी बोलें. इस बारे में चर्चा हो. यदि संसद में चर्चा के दौरान विरोधी दलों की ओर से कुछ अच्छे सुझाव आते हैं तो सरकार उन्हें शामिल करने को तैयार है. इसमें हमारा कोई अड़ियल रवैया नहीं है.
उन्होंने कहा, ‘‘विरोधी दल चर्चा से भाग रहे हैं और सदन की कार्यवाही नहीं चलने दे रहे हैं.’’ किसानों को हो रही दिक्कतों और गेहूं पर आयात शुल्क घटाये जाने के बारे में पूछने पर उन्होंने कहा कि सरकार ने अहसास किया है कि दिक्कत है. लेकिन आंकडे बताते हैं कि पिछली बार की तुलना में इस बार बुवाई बढी है. आयात शुल्क घटाये जाने का फैसला कुछ वक्त के लिए है. निश्चित तौर पर इस पर आगे विचार किया जाएगा.