लखनऊ: उत्तर प्रदेश के जिलों में आए आंधी-तूफान और आकाशीय बिजली गिरने से 26 लोगों की मौत हो गई. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने लोगों की मौत पर दुख व्यक्त करते हुए मृतकों के परिजनों के प्रति संवेदना व्यक्त की है.


सरकारी प्रवक्ता ने बताया कि शुक्रवार को आंधी-तूफान और आकाशीय बिजली गिरने से प्रदेश के 11 प्रभावित जिलों में 26 लोगों और चार पशुओं की मौत हुई है. इनमें जौनपुर और सुल्तानपुर में पांच-पांच, चन्दौली और बहराइच में तीन-तीन, मिर्जापुर, सीतापुर, अमेठी और प्रतापगढ़ में एक-एक, उन्नाव में चार और रायबरेली में दो लोगों की मौत हुई है. इसी प्रकार कन्नौज में तीन और चन्दौली में एक पशु की भी मौत हुई है.


मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आंधी-तूफान और आकाशीय बिजली गिरने से हुई मौत पर दुःख व्यक्त करते हुए मृतकों के परिजनों के प्रति संवेदना व्यक्त की है. उन्होंने संबंधित जिलों के जिलाधिकारियों को प्रभावित लोगों को राहत पहुंचाने के निर्देश दिए हैं. उन्होंने कहा कि संकट की इस घड़ी में राज्य सरकार पीड़ित परिवारों और अन्य प्रभावित लोगों के साथ है और उनकी हर संभव मदद की जाएगी. राहत कार्य में किसी भी प्रकार की शिथिलता बर्दाश्त नहीं की जाएगी.


मौसम विभाग ने जारी किया अलर्ट


मौसम विभाग के अधिकारी ने उत्तर प्रदेश में गाजियाबाद, मेरठ, बागपत और पश्चिम उत्तर प्रदेश में इनसे सटे जिलों में आंधी चलने का पूर्वानुमान जताया है. बारिश के बाद हरियाणा और पंजाब में गर्मी से थोड़ी राहत मिली. चंडीगढ़ में सुबह बारिश हुई. वहां अधिकतम तापमान 33.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया. बारिश के बाद पंजाब के अमृतसर में अधिकतम तापमान 31.7 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया.


हरियाणा के अंबाला में भारी बारिश हुई. वहां अधिकतम तापमान 31.9 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया. हालांकि हिसार और भिवानी में भीषण गर्मी जारी है. वहां अधिकतम तापमान 41 और 41.4 डिग्री सेल्सियस रहा. स्थानीय मौसम विभाग ने दोनों राज्यों में कल कई स्थानों पर गरज के साथ छींटे पड़ने और आंधी का पूर्वानुमान जताया है.


मौसम विभाग के अधिकारी ने उत्तराखंड , हिमाचल प्रदेश , पंजाब , उत्तर प्रदेश , हरियाणा , जम्मू कश्मीर , राजस्थान , पश्चिम बंगाल , ओडिशा , झारखंड , अरुणाचल प्रदेश , असम , मेघालय , बिहार , मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में कल यानि कि रविवार को बारिश का पूर्वानुमान जताया है. हिमाचल प्रदेश के कई हिस्सों में भी बारिश होने से जनजीवन प्रभावित रहा और कई कच्चे घरों और फलों के बागान को नुकसान पहुंचा.


कुफरी और शिमला में 91 मिमी और 50 मिमी बारिश दर्ज की गई जबकि तराई क्षेत्र शिवालिक में 67 मिमी बारिश हुई. बारिश से पारे में गिरावट दर्ज की गई. बारिश से कई पेड़ उखड़ गये और कच्चे घरों की छतें उड़ गईं और आडू और सेब के बागानों को नुकसान पहुंचा. स्थानीय मौसम विज्ञान विभाग के निदेशक मनमोहन सिंह ने बताया कि हिमाचल प्रदेश और इसके आस-पास के इलाकों के ऊपर साइक्लोनिक सर्कुलेशन(चक्रवातीय परिसंचरण) बना हुआ है और यह कोई मानसून पूर्व बारिश नहीं है.


विभाग ने अगले दो दिनों में निचले तराई क्षेत्र में कहीं-कहीं बारिश या गरज के साथ छींटे पड़ने या ऊंचाई वाले पर्वतीय इलाकों में बारिश या बर्फबारी होने की संभावना जताई है. विभाग ने यह भी कहा कि कल से अगले छह दिन तक मध्यवर्ती पर्वतीय क्षेत्रों में छिटपुट स्थानों पर बारिश या गरज के साथ छींटे पड़ने की संभावना है.