नई दिल्ली: समाजवादी पार्टी (सपा) के वरिष्ठ नेता आजम खान अपने विवादित बयानों की वजह से सुर्खियों में रहते हैं. अकसर वो कोई ऐसा बयान दे ही देते हैं जो चर्चा का विषय बन जाता है. तो आइए जानते हैं उनके कुछ ऐसे बयानों के बारे में जो विवादित रहे.
बिना नाम लिए जयाप्रदा पर अभद्र टिप्पणी
उत्तर प्रदेश की रामपुर सीट से सपा प्रत्याशी आजम खान के अपनी प्रतिद्वंद्वी भाजपा उम्मीदवार जयाप्रदा के खिलाफ कथित रूप से बेहद व्यक्तिगत अभद्र टिप्पणी किए जाने का एक वीडियो सामने आया है. वीडियो के मुताबिक रामपुर में एक चुनावी सभा में खान ने कहा "रामपुर वालों, उत्तर प्रदेश वालों, हिंदुस्तान वालों! उसकी असलियत समझने में आपको 17 बरस लग गए. मैं 17 दिन में पहचान गया कि इनके नीचे का जो अंडरवियर है वह भी खाकी रंग का है. मैं 17 दिन में पहचान गया, आपको पहचानने में 17 बरस लगे, 17 बरस."
हालांकि, आजम खान ने इस वीडियो में जयाप्रदा का नाम नहीं लिया है लेकिन भाजपा इसे जया के खिलाफ अभद्र टिप्पणी के रूप में पेश कर रही है.आजम खान के इस बयान पर बवाल हुआ तो उन्होंने सफाई दे दी. आजम ने कहा मैंने किसी का नाम नहीं लिया है. महिला आयोग ने आजम के खिलाफ कारण बताओ नोटिस जारी करने की बात कही है.
आजम ने जयाप्रदा को नाचने वाली भी कहा था.
किया बजरंग अली शब्द का इस्तेमाल
उत्तर प्रदेश में अली-बजरंगी विवाद लोकसभा चुनाव में एक बार फिर चर्चा में आ गया है. पहले यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने चुनाव प्रचार में कहा कि एसपी बीएसपी को अली पर भरोसा है तो हमें बजरंग बली पर भरोसा है. इसके बाद इस मुद्दे पर एसपी नेता आजम खान ने बजरंग अली शब्द का जिक्र किया. इससे विवाद गहरा गया है.
एयर स्ट्राइक- 40 सेकेंड का भी इंतजार नहीं करता
समाजवादी पार्टी (सपा) के वरिष्ठ नेता आजम खान ने भारतीय वायुसेना द्वारा पाकिस्तान के कोटलाबाद में जैश-ए-मोहम्मद के शिविर पर की गई एयर स्ट्राइक पर कहा था कि 400 लोग पड़ोसी मुल्क में मारे गए, लेकिन किसी का जनाजा नहीं दिखा. उन्होंने कहा कि यह बात वह अपने देश से नहीं, पड़ोसी मुल्क से पूछ रहे हैं. आजम ने कहा था , "अगर मैं प्रधानमंत्री होता तो पुलवामा हमले के बाद 40 सेकेंड का भी इंतजार नहीं करता और हमला कर देता. मुझे पता चला कि वायुसेना के हमले में 400 लोग पड़ोसी मुल्क में मारे गए, लेकिन किसी का जनाजा नहीं दिखा. यह बात मैं अपने देश से नहीं, पड़ोसी मुल्क से पूछ रहा हूं."
मोदी सरकार को बताया था पापियों की सरकार
यूपी के रामपुर चुनाव लड़ रहे आजम खान ने मोदी सरकार पर विवादित बयान देते हुए आजम खान ने सरकार को पापियों की सरकार कहा था. आजम खान के सामने बीजेपी ने जया प्रदा को रामपुर की लड़ाई में उतारा है. जया प्रदा ने आजम पर हमला करते हुए कहा कि पिछले चुनावों के दौरान आजम खान ने उन्हें अपनी दबंगई से डराकर रखा था.
जयाप्रदा पर की थी ये टिप्पणी
जयाप्रदा और आज़म खान के रामपुरी झगड़े को आप भूले नहीं होंगे. ये बात 2009 के लोकसभा चुनाव की है. तब अमर सिंह समाजवादी पार्टी के चाणक्य हुआ करते थे. आज़म खान के ज़बरदस्त विरोध के बावजूद मुलायम सिंह ने जयाप्रदा को टिकट दे दिया. वे लोकसभा चुनाव लड़ने रामपुर पहुंच गईं. आज़म खान और उनके समर्थकों ने उन्हें हराने के लिए सारे घोड़े खोल दिए. जयाप्रदा को आजम ने ‘नचनिया’ से लेकर ‘घुँघरू वाली’ तक कहा. पूरे शहर में उनकी फ़िल्मों के अंतरंग दृश्यों के पोस्टर तक लगाए गए. लेकिन जयाप्रदा घूम घूम कर वोटरों के बीच आज़म खान को भैया कहती रहीं. आज़म के छोड़ कर पूरी पार्टी जया के समर्थन में रही. अमर सिंह ने रामपुर में ही डेरा डाल दिया. आख़िरकार जयाप्रदा 30 हज़ार वोटों से चुनाव जीत गईं थीं.
सीएम योगी को भी लिया था निशाने पर
सीएम योगी आदित्यनाथ द्वारा राम मंदिर पर दिए बयान को लेकर एसपी नेता आजम खान ने उनपर निशाना साधा था. आजम खान ने कहा था कि ऐसे लोगों को तो जेल में होना चाहिए. उन्होंने सुप्रीम कोर्ट से योगी को जेल भेजने की मांग भी की थी. दरअसल सीएम योगी ने 24 घंटे के भीतर अयोध्या विवाद का निपटारा करने का दावा किया था. उन्होंने कहा था कि राम मंदिर मसले पर लोगों का धैर्य समाप्त हो रहा है और सुप्रीम कोर्ट इस विवाद पर जल्द आदेश देने में असमर्थ है. योगी आदित्यनाथ ने कहा था, "इसे हमारे हवाले कर देना चाहिए और 24 घंटे के भीतर इसका समाधान हो जाएगा.
अखिलेश को एयरपोर्ट पर रोके जाने पर कही थी ये बात
इलाहाबाद यूनिवर्सिटी के छात्रसंघ कार्यक्रम में जा रहे समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव को लखनऊ एयरपोर्ट पर रोके जाने से नाराज़ सपा नेता आज़म खान ने रामपुर में कहा था, ''अगर ये झूठा लोकतंत्र है, तब भी नहीं रोका जाना चाहिए था. इससे यही आशय निकला कि उनके जाने से कोई खतरा पैदा हो जाएगा. वह सही बात कहेंगे जो छात्रों तक जाएगी. छात्रों में रिवॉल्ट पैदा होगा इसलिए रोका है. उन्होंने आगे कहा था कि लेकिन कहा ये जा रहा है कि कभी योगी जी को भी रोका गया था, इसलिए अखिलेश जी को रोका गया है. योगी जी में और अखिलेश जी में बहुत फर्क है, जो मुकदमे वापस करने के लिए योगी जी ने अपनी सिफारिश की है उसमें 302 का मुकदमा है, जो अखिलेश जी पर नहीं है. यह बुनियादी फर्क है दोनों में.
पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी के लिए बोली थी ये बात
पूर्व कांग्रेसी नेता व देश के राष्ट्रपति रहे प्रणव मुखर्जी को भारतरत्न सम्मान के लिए नामित किए जाने पर समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव आजम खान ने कहा था कि आरएसएस की दावत कुबूलने के लिए उन्हें (पूर्व राष्ट्रपति) यह इनाम मिला है. आजम खान ने कहा था कि इसमें कोई राजनीति नहीं है. उन्होंने आरएसएस के हेड क्वार्टर जाने की दावत कुबूल की थी, उसके बदले में आरएसएस को कुछ तो देना था. यह उसी का इनाम है.
राममंदिर पर भी बोले थे आजम
राम जन्मभूमि मंदिर निर्माण के मुद्दे पर आजम ने कहा कि प्रदेश के मुख्यमंत्री ने ताजमहल को भी शिवमंदिर बताया था. हमने तो उनसे यह भी कहा था कि ताजमहल गिराने चलेंगे. साथ में दस-पांच हजार ऐसे मुसलमानों को भी ले चलेंगे जो देखने से मुसलमान लगें. बड़ा बल दिया हमने उनकी बात को, लेकिन वह तो ताजमहल पर झाड़ू देने पहुंच गए. पिछले दिनों राम मंदिर को लेकर जब धर्म संसद की बात हुई तो मैंने संतों से कहा कि भरोसा दिलाइये राममंदिर बनायेंगे और चलिये अयोध्या. मगर जब दिल्ली के रामलीला मैदान में ही राममंदिर बनाना है तो बात ही खत्म हो गई. आप कूच करिये अयोध्या के लिए, मैं हरी झंडी दिखाने चलूंगा.
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