लखनऊ: मुलायम सिंह यादव एक बार फिर पलट गए हैं. अब उन्होंने कहा है कि बेटे अखिलेश के साथ कोई मतभेद नहीं है.  वो कांग्रेस और समाजवादी पार्टी के गठबंधन के सभी उम्मीदवारों को अपना आशीर्वाद देंगे.


मुलायम से सवाल-


सवाल- अखिलेश से कोई मतभेद है ?


जवाब- अखिलेश से क्या मतभेद होगा


सवाल- गठबंधन के उम्मदवारों को आशीर्वाद देंगे ?


जवाब- हां सबको


जिस दिन अखिलेश और राहुल एक मंच पर आए थे, उसी दिन मुलायम भी मीडिया के सामने आए थे और कह दिया था कि वो गठबंधन के खिलाफ हैं. इसलिए प्रचार नहीं करेंगे. विरोध सिर्फ इतना ही नहीं था मुलायम ने अखिलेश के दोस्त राहुल की पार्टी को खूब कोसा भी था.



गठबंधन के लिए प्रचार करेंगे मुलायम


अब ये बात चार दिन पुरानी हो गई है. इस दौरान मुलायम का मन बदल गया है. वैसे अगर पिछले कुछ महीनों में समाजवादी पार्टी में जो कुछ भी हुआ उस दौरान कई बार मुलायम के बोल और विचार बदलते दिखे हैं.


जब समाजवादी पार्टी में चुनाव चिन्ह साइकिल को लेकर झगड़ा चलता रहा तो मुलायम ये कहते रहे कि साइकिल पर उनका हक है, लेकिन चुनाव आयोग में चुनाव चिन्ह पर दावे के लिए कोई कागजात ही नहीं पेश किए.


मुलायम के बदलते बोल


यही नहीं, मुलायम ये भी कहते रहे कि उनकी पार्टी अलग चुनाव लड़ेगी, लेकिन जब चुनाव आयोग में अखिलेश की जीत हो गई और साइकिल उन्हें मिल गई तब एक बार फिर मुलायम का मन बदला और बोले कि वो अखिलेश के लिए प्रचार करेंगे.



कुछ दिन बाद ऐसा लगा कि सबकुछ ठीक हो गया है लेकिन जब कांग्रेस के साथ गठबंधन हुआ, राहुल और अखिलेश एक साथ एक मंच पर आए तो मुलायम पलटे और कहा कि गठबंधन के लिए प्रचार नहीं करूंगा. अब मुलायम के मन बदलने की ये कहानी आगे बढ़ गई है. अब एक बार फिर बेटे के साथ हैं और कह रहे हैं कि सबको मेरा आशीर्वाद है.


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यूपी में इस बार एसपी ने कांग्रेस के साथ गठबंधन किया है. कांग्रेस से गठबंधन का फैसला सीएम अखिलेश यादव ने किया था. हालांकि इस गठबंधन से मुलायम सिंह यादव नाराज थे. एसपी-कांग्रेस गठबंधन की बीएसपी और बीजेपी से टक्कर है. चुनाव में 298 सीटों पर सपा और 105 सीटों पर कांग्रेस लड़ेगी. बता दें कि यूपी में 7 चरणों में चुनाव हो रहे हैं. 11 मार्च को चुनाव के नतीजे आएंगे.