वह लेखक के तौर पर 'आज का अभिमन्यू' नाम का उपयोग करते हैं और उनके नाम कुल चार वर्ल्ड रिकॉर्ड हैं.
उन्होंने कहा, "मैंने रामायण के 51 किरदारों का विश्लेषण करके किताबें लिखीं. हर किताब में करीब 25 से 100 पन्ने हैं. मुझे यहां तक की लंदन स्थित वर्ल्ड यूनिवर्सिटी आफ रिकार्ड्स से डॉक्टरेट के लिए ऑफर भी मिला."
सुल्तानपुर स्थित एक निजी स्कूल में पढ़ाने वाली उनकी मां ने कहा कि उनके लड़के ने बचपन में ही पढ़ने में रुचि दिखाई और उन्होंने अपने बेटे को प्रोत्साहित किया.
मृगेंद्र के पिता राज्य के चीनी उद्योग व गन्ना विकास विभाग में काम करते हैं.
मृगेंद्र ने कहा कि वह बड़े होकर एक लेखक ही बने रहना चाहते हैं और विभिन्न विषयों पर अधिक से अधिक किताबें लिखना चाहते हैं.