गोरखपुरः मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि व्यापारियों के उत्पीड़न के खिलाफ आंदोलन और धरना-प्रदर्शन के दौरान आपसे महीने में कहीं न कहीं मुलाकात हो जाती रही है. लेकिन, पिछली सरकारें ऐसी थी कि उन्हें सुरक्षा सुव्यवस्था से कोई मतलब नहीं होता था. उस अराजकता के खिलाफ आंदोलन करने के लिए मजबूर होना पड़ता था. जब मुझे मुख्यमंत्री का दायित्व मिला, तो मैंने पहले पांच कदम उठाए थे, उसमें ये भी था कि कोई चिकित्सक और व्यापारी गुंडा टैक्स नहीं देगा. कोई गुंडा टैक्स लेने का प्रयास करेगा, तो उसकी कीमत जेल या रामनाम सत्य की यात्रा निकलेगी.
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ रविवार को व्यापारियों को संबोधित कर रहे थे. इस दौरान उन्होंने कहा कि अपनी बचत के रुपए को भी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने गरीब कन्याओं की पढ़ाई और विवाह के लिए फंड बनाकर उस खाते में भेज दिया. यहां तक कि मुख्यमंत्री और प्रधानमंत्री रहते हुए उन्हें जो गिफ्ट मिले, उन्हें दान करके नमामि गंगे प्रोजेक्ट को वो रुपए दान कर दिए. यहां तो आपने ऐसे नेता भी देखे होंगे जिन्होंने देश की संपत्ति को अपने नाम करा लिया होगा.
आपने लखनऊ में ऐसे भी नेता देखे होंगे, जो उत्तर प्रदेश सरकार के रुपए से लगी टोटी भी उखाड़कर लेकर चले गए होंगे. ये तो हुआ है न यूपी में. आपने ऐसे भी नेता देखे होंगे जिन्होंने गरीबों और दलितों के नाम पर राजनीति की. खुद के लिए आलीशान बंगला बनवा लिया. लेकिन, गरीबों को कभी मकान नहीं दिया. आपको देश में ऐसा नेता मिला है, जो गरीबों को हर सुविधा दे रहा है.
वे आगे और सख्त कार्रवाई करने जा रहे हैं. क्योंकि उनका मानना है कि व्यापारी और बहन-बेटियां सुरक्षित हैं. तो प्रदेश की कानून व्यवस्था सुरक्षित और अच्छी है. कानून व्यवस्था की अच्छी स्थिति हर तरह के निवेश को अपने आने के लिए निमंत्रित कर देती है. आज उसका परिणाम भी दिखाई दे रहा है. विगत दो वर्ष के अंदर हमने डेढ़ लाख करोड़ का निवेश हमने जमीन पर उतार दिया है.
पांच लाख करोड़ का निवेश हमारे यहां आवेदन किया गया है. एक लाख करोड़ का निवेश पाइप लाइन में हैं. चुनाव के तत्काल बाद उसका मुझे शिलान्यास करना है. बीस साल पहले जब मैं गोरखपुर का सांसद बना तो यहां पर गुंडा टैक्स वसूला जाता था. हमने सड़क पर उतरकर इसका विरोध किया. नतीजा गोलघर में व्यापारियों ने गुंडों को दौड़ा-दौड़ाकर पीटा और उसके बाद से यहां पर गुंडा टैक्स बंद हो गया.
गोरखपुर यूपी का पहला जिला बना, जहां गुंडा टैक्स खत्म किया गया. आज यूपी का कोई व्यापारी नहीं है, जो गुंडे से भयभीत होता है. वो खुद को सुरक्षित महसूस करता है. एक व्यापारी ने कहा कि मुझसे गुंडा टैक्स मांगा जा रहा है. गुंडा टैक्स मांगने वाले को उसी की भाषा में जवाब देंगे.
व्यापारी को अपना नंबर दिया और कहा कि आप लगातार मेरे कांटेक्ट में रहेंगे. अधिकारियों को कहा कि उसे पांच लाख रुपए नहीं पांच गोलियां देना. जिससे उसे अहसास हो कि किसी निर्दोष को गोली मारने का क्या मतलब होता है. कांधला और कैराना में बीस साल पहले आकर जो व्यापारी व्यापार कर रहा है. उसे प्रताडि़त किया जा रहा था. वे गुंडे आज राज्य, देश और दुनिया छोड़ चुके है. यूपी पहला राज्य है जिसने अपने प्रोडक्ट को प्रमोट करने के लिए वन डिस्ट्रिक वन प्रोडक्ट योजना प्रारम्भ की.