'स्मार्टफोन' के बाद अब अखिलेश के 'साइकिल ट्रैक' पर है योगी सरकार की टेढ़ी नजर
लखनऊ: समाजवादी स्मार्टफोन योजना और समाजवादी पेंशन स्कीम के बाद अब यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के ड्रीम प्रोडेक्ट 'साइकिल ट्रैक' पर योगी आदित्यनाथ सरकार की टेढ़ी नजर है. शहरी विकास राज्य मंत्री गिरीश यादव ने कहा कि उत्तर प्रदेश की नई सरकार साइकिल ट्रैक के औचित्य का अध्ययन कराने की योजना बना रही है. ताकि जमीनी स्तर इसकी उपयोगिता का अनुमान लगाया जा सके.
योगी सरकार की अब अखिलेश के साइकिल ट्रैक पर नजर
‘साइकिल’ समाजवादी पार्टी का चुनाव निशान है, जिसने पांच साल उत्तर प्रदेश में अखिलेश यादव के नेतृत्व में सत्ता संभाली. समाजवादी पार्टी के राजनीतिक विरोधी साइकिल ट्रैक के इर्द गिर्द लाल-हरे रंग की सीमा रेखा बनाने पर भी ऐतराज कर चुके हैं क्योंकि वे इसे एसपी के प्रचार का साधन मानते हैं. आपको बता दें कि एसपी का झंडा लाल हरे रंग का है.
गिरीश यादव ने कहा कि साइकिल ट्रैक की व्यवहार्यता का अध्ययन कराया जा रहा है. राज्य सरकार को इसकी रिपोर्ट मिलने के बाद आगे कार्रवाई की जाएगी. उन्होंने हालांकि कहा कि इस बारे में कोई भी फैसला जनता के हितों को ध्यान में रखकर किया जाएगा. एक सवाल के जवाब में यादव बोले, ‘‘शायद दो दिन में हम कोई फैसला कर सकें.’’
स्मार्टफोन योजना भी अखिलेश का ड्रीम प्रोजेक्ट
समाजवादी स्मार्टफोन योजना भी अखिलेश का पसंदीदा प्रोजेक्ट थी. उसे भी योगी सरकार संभवत: बंद कर देगी. अपर मुख्य सचिव (आईटी एवं इलेक्ट्रानिक्स) संजीव सरन कह चुके हैं कि उत्तर प्रदेश सरकार ने योजना को जारी रखने के बारे में कोई फैसला नहीं किया है. उन्होंने हालांकि और कोई ब्यौरा नहीं दिया.
इस बीच सरकारी सूत्रों ने बताया कि योजना से राजकोष पर भारी बोझ पड़ेगा. स्कीम के लिए 1.4 करोड़ से अधिक लोग, विशेषकर युवा पहले ही ऑनलाइन पंजीकरण करा चुके हैं. समाजवादी स्मार्टफोन योजना का पंजीकरण पिछले साल दस अक्तूबर को शुरू हुआ था.
पेंशन योजना को बंद कर लाभार्थियों की जांच का आदेश
उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने हाल ही में समाजवादी पेंशन योजना को बंद कर लाभार्थियों की जांच का आदेश दिया है. राज्य सरकार के एक प्रवक्ता के मुताबिक, अधिकारियों से कहा गया है कि लाभार्थियों की जांच महीने भर में कर ली जाए. एक सुझाव ये भी है कि ‘समाजवादी’ शब्द हटाकर इसका नाम ‘मुख्यमंत्री पेंशन योजना’ किया जाए.