Telangana News: तेलंगाना की सत्तारूढ़ पार्टी तेलंगाना राष्ट्र समिति (Telangana Rashtra Samithi) के अध्यक्ष और तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव (K Chandrashekhar Rao) ने क्षेत्रीय राजनीति से बाहर निकलकर राष्ट्रीय राजनीति में उतरने का फैसला किया है. सीएम चंद्रशेखर ने इस दिशा में एक कदम आगे बढ़ाते हुए अपनी 21 साल पुरानी तेलंगाना राष्ट्र समिति पार्टी का नाम बदलकर बीआएस (BRS) करने का एलान किया है.
पार्टी की तरफ से बीआरएस के विस्तृत नाम को लेकर अभी तक कुछ तय नहीं किया गया है. पार्टी तीन अलग-अलग विस्तार पर विचार कर रही है जिसमें भारतीय राष्ट्र समिति, भारत राष्ट्रीय समिति और भारत राष्ट्र समिति के नाम शामिल हैं. यहां तक की पार्टी को राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने के लिए पार्टी के झंडे में भी बदलाव किए जाएंगे. पार्टी को नई राष्ट्रीय पहचान दिलाने के लिए इसके पुराने झंडे से तेलंगाना के नक्शे को भारत के नक्शे से बदल दिया जाएगा.
पार्टी सूत्रों ने बताया कि टीआरएस अध्यक्ष और मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर राव ने टीआरएस का नाम बदलकर बीआरएस करने का प्रस्ताव पारित करने के लिए 21 और 22 जून को पार्टी की राज्य कार्यकारिणी की बैठक आयोजित करने का फैसला किया है. पार्टी द्वारा प्रस्ताव पारित करने के बाद इसे चुनाव आयोग को मंजूरी के लिए भेज दिया जाएगा.
टीआरएस की राज्य कार्यकारिणी की बैठक पहले 18 और 19 जून को होनी थी, लेकिन बाद में इसे टाल दिया गया. टीआरएस प्रमुख के. चंद्रशेखर राव की तरफ से नई पार्टी को लेकर सभी कानूनी औपचारिकताएं पूरी नहीं हो पाई हैं. पार्टी सूत्रों के मुताबिक, नई पार्टी बीआरएस बनने के बाद इसका चिन्ह 'कार' ही रहेगा. क्योंकि टीआरएस पहले से ही ईसीआई द्वारा मान्यता प्राप्त एक राज्य पार्टी है और पार्टी के नाम में बदलाव से उसके चुनाव चिन्ह पर कोई असर नहीं पड़ेगा.
चुनाव आयोग से लेनी होगी अनुमति
हालांकि, अन्य राज्यों में 'कार' के चिन्ह पर चुनाव लड़ने के लिए पार्टी को चुनाव आयोग (Election Commission) से अनुमति लेनी होगी. चुनाव आयोग अन्य राज्यों में 'कार' चिन्ह को मंजूरी दे सकता है, बशर्ते उस विशेष राज्य में किसी अन्य मान्यता प्राप्त पार्टी के पास वह चिन्ह न हो. भारत में किसी भी अन्य प्रमुख पार्टी के पास कार का चिन्ह नहीं है. हालांकि कुछ क्षेत्रीय पार्टियां एक जैसे चुनाव चिन्ह पर चुनाव लड़ती है. जैसे समाजवादी पार्टी और तेलुगु देशम पार्टी दोनों का चुनाव चिन्ह साइकिल है.
नाम बदलने की प्रक्रिया में लगेगा समय
हालांकि, पार्टी का नाम बदलने की प्रक्रिया में कुछ हफ्ते का समय लग सकता है. नियमों के अनुसार, पार्टी को पहले चुनाव आयोग के पास एक आवेदन जमा करना होता है. इसके बाद आवेदक को दो राष्ट्रीय दैनिक समाचार पत्रों और दो स्थानीय दैनिक समाचार पत्रों में एक प्रस्तावित पार्टी का नाम प्रकाशित करने और आयोग के समक्ष पार्टी के प्रस्तावित पंजीकरण के संबंध में आपत्तियां, यदि कोई हो, प्रस्तुत करने के लिए दो दिन का समय देने के लिए कहा जाएगा. प्रकाशन की सूचना चुनाव आयोग की वेबसाइट पर भी प्रदर्शित की जाती है.
राजनीतिक दल को नए नाम से पंजीकृत करने के लिए पंजीकरण के लिए आवेदन पंजीकृत डाक द्वारा भेजा जाना चाहिए या व्यक्तिगत रूप से चुनाव आयोग के सचिव को निर्धारित प्रारूप में पार्टी के गठन की तारीख के बाद 30 दिनों के भीतर प्रस्तुत किया जाना चाहिए.
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