Afghanistan News: अफगानिस्तान में नॉर्दन अलायंस ने तालिबान को जबरदस्त झटका दिया है. पंजशीर घाटी पर कब्जे की फिराक में लगे तालिबान लड़ाकों के एक काफिले को नॉर्दन एलायंस ने उड़ा दिया. तालिबानी लड़ाके पंजशीर घाटी के आस-पास इकट्ठा हुए थे लेकिन मौका मिलते ही नॉर्दन अलायंस ने इन्हें उड़ा दिया. तालिबान के लड़ाके एक गाड़ी के साथ वहां इकट्ठा हुए थे.
बता दें कि पंजशीर अफगानिस्तान का वो इलाका है जिसने खुद को तालिबान के हवाले करने से इनकार कर दिया है. वहां तालिबान के खिलाफ प्रतिरोध की लहर है. पंजशीर पर अमहद शाह मसूद के बेटे अहमद मसूद का कब्जा है.
वहीं तालिबान ने दावा किया कि बगलान प्रांत के तीन जिले बानू, पोलेहसार और देहसलाह पर फिर से उसका कब्जा हो गया है. तालिबान ने दावा किया कि उसके लड़ाकों ने पंजशीर घाटी को तीन तरफ से घेर लिया है. साथ ही तालिबान ने ये भी दावा किया कि अहमद मसूद ने भी तालिबान के साथ हाथ मिला लिया है. न्यूज चैनल अल जरीरा के हवाले से ये खबर सामने आई.
क्या नॉदर्न अलायंस तालिबान की बढ़त पर अंकुश लगा पाएगा?
हाल ही में किर्गिजिस्तान में भारत के पूर्व राजदूत एवं सामरिक मामलों के विशेषज्ञ फुनचोक शतोब्दन ने इस सवाल पर कहा कि उनके विचार से नॉर्दन अलायंस की भूमिका सीमित रह सकती है. फुनचोक शतोब्दन ने कहा, “मेरे विचार से नॉदर्न अलायंस की भूमिका सीमित ही रह सकती है. ऐसा इसलिये क्योंकि उन्हें सामरिक सहयोग एवं हथियारों को लेकर दूसरे देशों की मदद चाहिए . ताजिकिस्तान से शायद नॉर्दन अलायंस को कुछ मदद मिल सकती है. उज्बेकिस्तान के तालिबान से सामान्य संबंध बताये जाते हैं. तुर्कमेनिस्तान का झुकाव इस मामले में किसी पक्ष की ओर नहीं है . रूस और चीन तालिबान से सम्पर्क बनाये हुए हैं . जहां तक भारत की बात है, भौगोलिक रूप से वह नॉर्दन अलायंस की प्रत्यक्ष मदद करने की स्थिति में नहीं है.
Afghanistan Crisis: अफगानिस्तान में तालिबान की वापसी के पीछे इस शख्स का है बड़ा हाथ