American Aircraft Carrier Deployed In Atlantic: आज से 5 साल पहले विमानवाहक पोत यूएसएस गेराल्ड आर फोर्ड (USS Gerald R Ford) को अमेरिकी नौसेना (US Navy) ने अपने बेड़े में शामिल किया था. पहली बार ये अपनी काबिलियत साबित करने के लिए अटलांटिक क्षेत्र में भेजा गया है. ये मंगलवार (4अक्टूबर) को नॉरफ़ॉक (Norfolk) वर्जीनिया से अटलांटिक क्षेत्र (Atlantic Region) में अपनी पहली तैनाती पर रवाना हुआ. यहां ये विमानवाहक पोत अपनी उत्तरी अमेरिका (North America) और यूरोप (Europe) के सहयोगियों के साथ सैन्य अभ्यास करेगा.


कम वक्त का कारगर अभ्यास


सीएनएन की रिपोर्ट के अनुसार अमेरिकी नौसेना का सबसे नया और सबसे उन्नत विमानवाहक यूएसएस गेराल्ड आर फोर्ड पोत उत्तरी अमेरिका और यूरोप के सहयोगियों के साथ अटलांटिक क्षेत्र में इस अभ्यास को अंजाम देगा. अमेरिकी नौसेना के एक अधिकारी का कहना है कि यूएसएस गेराल्ड फोर्ड और उसका हमलावर समूह (Carrier Strike Group) अटलांटिक महासागर (Atlantic Ocean) और भूमध्य सागर (Mediterranean Sea) में दूसरे और छठे बेड़े के तौर पर अपनी जिम्मेदारी निभाएंगे. इस काम में उनके सहयोगी और भागीदार भी संग होंगे.  हालांकि यहां इस विमानवाहक पोत की तैनाती छह महीने के मानक वक्त से कम रहेगी. 


 80 जहाज और विमान हैं शामिल


कैरियर स्ट्राइक ग्रुप 12 के कमांडर रियर एडमिरल ग्रेगरी हफमैन (Gregory Huffman) ने कहा, "यह तैनाती लक्ष्य तक पहुंचने के साथ ही फोर्ड और कैरियर एयर विंग सीवीडब्ल्यू ( Carrier Air Wing) 8 के उस फायदे को दिखाने का मौका है जो ये नौसेना विमानन के भविष्य, इस क्षेत्र और हमारे सहयोगियों और भागीदारों के लिए लाया है."


अमेरिकी नौसेना की एक प्रेस रीलीज में कहा गया है कि अटलांटिक क्षेत्र की तैनाती में 9 देशों के लगभग 9,000 कर्मचारी, 20 जहाज और 60 विमान शामिल होंगे. इसमें बताया गया है कि  इस सैन्य अभ्यास में अमेरिका, कनाडा, डेनमार्क, फिनलैंड, फ्रांस, जर्मनी, नीदरलैंड, स्पेन और स्वीडन शिरकत कर रहे हैं. 


 ट्रम्प ने शुरू कराया था फोर्ड का काम


यूएसएस गेराल्ड फोर्ड मंगलवार यानी 4 अक्टूबर को अटलांटिक क्षेत्र तैनात किया गया. इस क्षेत्र के लिए (5अक्टूबर) फोर्ड के वाहक हमलावर समूह के अन्य जहाज रवाना हो गए हैं. वाहक हमलावर समूह (Carrier Strike Group) किसी विमानवाहक पोत में हमला करने के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले विमानों और जहाजों के बेड़े को कहा जाता है. एक दूसरे नौसेना अधिकारी ने कहा कि इस तरह की तैनाती के लिए यह सामान्य प्रक्रिया होती है.


यूएसएस गेराल्ड फोर्ड अमेरिकी नौसेना के मुताबिक, यह 40 से अधिक वर्षों में डिजाइन किया गया पहला नया विमानवाहक पोत है. अमेरिकी नौसेना की एक रीलीज के अनुसार इस कैरियर को औपचारिक तौर पर बनाने का काम नवंबर 2009 में शुरू किया गया था. इसे बनाने का काम यूएस के पूर्व राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रम्प (Donald Trump) 2017 में शुरू करवाया था. 


यूएस नौसेना का पहला फोर्ड-क्लास


ये जहाज फोर्ड-क्लास (Ford-Class) का पहला विमानवाहक पोत है. इसके बाद अमेरिकी नौसेना ने अगले दो फोर्ड-क्लास के वाहक यूएसएस कैनेडी (USS Kennedy) और यूएसएस एंटरप्राइज (USS Enterprise) को बनाना भी शुरू कर दिया है.निमिश क्लास (Nimitz-class) वाहक की तुलना में फोर्ड क्लास के पास उन्नत तकनीक के साथ ही विद्युत शक्ति की मात्रा लगभग तीन गुना अधिक है. 


निमिश- क्लास संयुक्त राज्य अमेरिका की नौसेना में 10 परमाणु-संचालित विमान वाहक (Nuclear-Powered Aircraft Carriers) को कहा जाता है. इसका नाम दूसरे विश्व युद्ध में यूएस के प्रशांत बेड़े के फ्लीट (Pacific Fleet) कमांडर एडमिरल चेस्टर डब्ल्यू निमिश (Chester W Nimitz) के नाम पर रखा गया है.


ईएमएएलएस पर करता है काम


यूएस नौसेना ( US Navy) के मुताबिक ये विद्युत चुम्बकीय विमान लॉन्च सिस्टम-ईएमएएलएस (Electromagnetic Aircraft Launch System-EMALS) का इस्तेमाल करता है. ईएमएएलएस सिस्टम (EMALS system) पिछले स्टीम कैटापल्ट सिस्टम (Steam Catapult System) के बजाय पोत से विमान को लॉन्च करने के लिए विद्युत शक्ति (Electric Power) का इस्तेमाल करता है.


यूएस नौसेना के एक अधिकारी ने बताया कि ये सिस्टम विमान पर कम दबाव डालता है, क्योंकि वे कैरियर से लॉन्च होते हैं. इसी वजह से पोत से एक के बाद एक विमान को लॉन्च करने के बीच कम वक्त लगता है. इस कैरियर में डुअल-बैंड रडार भी है, जो एक अधिक उन्नत रडार सिस्टम है. अमेरिकी नौसेना अधिकारी (Navy Official) का कहना है कि यह अपनी तरह का अकेला फॉरवर्ड क्लास कैरियर है जिसके पास इस तरह का रडार है.


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