बिटेन के डर्बीशेयर में रहने वाले डॉक्टर मंजीत सिंह रियात का कोरोना वायरस के कारण निधन हो गया. मंजीत सिंह ना केवल काफी प्रसिद्ध थे बल्कि उनके साथी और पेशेंट भी उन्हें बहुत पसंद करते थे. मंजीत इमरजेंसी मेसिडिन कंसलटेंट थे.
मंजीत ने अपनी पढ़ाई लेचेस्टर यूनिवर्सिटी से 1992 में की थी. वे पहले सिख थे जिन्हें नेशनल हेल्थ सर्विस में बतौर इमरजेंसी कंसलटेंट काम करने का मौका मिला. उनके हॉस्पिटल ट्रस्ट ने बताया कि उन्होंने डर्बीशेयर में इमरजेंसी मेडिसिन सर्विस में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई.
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अस्पताल के चीफ एक्जीक्यूटिव गाविन बॉयल ने कहा- मैं मिस्टर मंजीत रियात को श्रद्धांजलि देना चाहता हूं जिनका आकस्मिक निधन हो गया. वे बहुत अच्छे इंसान थे और सभी उनसे प्यार करते थे. पूरे अस्पताल के लोग उन्हें जानते थे. हम लोग उन्हें हमेशा याद करेंगे.
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रियात की साथी सूज़ी हेविट ने कहा- 2003 में मंजीत, डर्बीशेयर रॉयल इंफिर्मीरी में इंरजेंसी मेडिसिन कंसलटेंट बने थे. वे अच्छे साथी थे, सुपरवाइजर थे और मेंटोर थे. उनके पास कई बेहतरीन स्किल्स थीं लेकिन वो इमरजेंसी मेडिसिन कंसलटेंट के रूप में काम करना पसंद करते थे. वे सीखने और सिखाने में माहिर थे, उन्होंने मेडिकल क्षेत्र में अपना बहुमूल्य योगदान किया.
रियात अपने पीछे अपनी पत्नी और दो बेटों को छोड़ गए हैं.
इस महीने की शुरूआत में सर्जन जीतेंद्र कुमार राठौड़ की वेल्स में मौत हो गई थी. कार्डिफ और वेल यूनिवर्सिटी हेल्थ बोर्ड ने उन्हें महान डॉक्टर और साथी बताया. रियात और राठौड के अलावा फार्मासिस्ट पूजा शर्मा की भी कोरोना वायरस के कारण मौत हो गई थी.
आपको बता दें कि कोरोना मरीजों के इलाज में लगे डॉक्टरों को भी कोरोना संक्रमण अपनी चपेट में ले रहा है और विदेशों में बसे भारतीय डॉक्टर भी इससे सुरक्षित नहीं हैं.