नई दिल्ली: तमाम तरह की कोशिशों के बाद भी पाक के पीएम इमरान खान को कश्मीर मुद्दे पर हर तरफ मुंह की खानी पड़ी है. कश्मीर पर मोदी सरकार के फैसले और कूटनीतिक रणनीति ने इमरान खान के हौसले पस्त कर दिए हैं. अब आलम ये है कि पाकिस्तान की विपक्षी पार्टियों ने इमरान खान को निशाने पर लेना शुरू कर दिया है.
आज पाकिस्तान के प्रमुख विपक्षी दल पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के अध्यक्ष बिलावल भुट्टो ने कहा है कि पहले तो इमरान खान श्रीनगर की बात करते थे, अब तो उनकी नाकामी की वजह से मुजफ्फराबाद बचाने की नौबत आ गई है.
उन्होंने कहा, ''कश्मीर को लेकर हमने कहा कि संयुक्त सत्र बुलाया जाए. हमने मुजफ्फराबाद में ईद मनाने की बात कही. जिस तरीके से ये हुकूमत (इमरान खान) सो रही थी. पहले हमारा कश्मीर पर स्टैंड होता था कि श्रीनगर कैसे लेंगे? इमरान खान की नाकामी की वजह से आज पाकिस्तान की विदेश नीति है कि हम मुजफ्फराबाद (PoK की राजधानी) कैसे बचाएंगे?''
अडियाला जेल में बंद अपने पिता आसिफ अली जरदारी और बुआ फरयाल तालपुर से मुलाकात के बाद बिलावल ने कहा, ''हमारे यहां एक (इमरान खान) फासीवादी है. जमहुरियत पर हमला कर रहा है. अपने सियासी विरोधियों को निशाना बना रहा है, गिरफ्तार कर रहा है. पीपीपी फासीवाद का मुकाबला करना जानती है.''
कश्मीर से अनुच्छेद 370 खत्म किये जाने और राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेशों में बांटे जाने के बाद से इमरान खान बौखलाए हैं. उन्होंने भारत से राजनयिक संबंधों को कम करने का फैसला किया है. वहीं भारत ने साफ-साफ पाकिस्तान से कहा है कि भारत ने आंतरिक मसलों पर फैसला लिया है.