ब्रिटेन की अर्थव्यवस्था को भारत ने पीछे छोड़ा! पूर्व पीएम लिज ट्रस बोलीं- 'मुश्किल में है पश्चिम देशों की साख'
Britain Former PM Liz Truss on India: भविष्य में भारत की भूमिका पर बोलते हुए ट्रस ने कहा कि भारत अब दुनिया की सबसे बड़ी आबादी, इसका भविष्य के नेतृत्व में एक अहम स्थान होगा जो बहुत ही उत्साहजनक है.
Indian Economy: ब्रिटेन की पूर्व प्रधानमंत्री एलिज़ाबेथ ट्रस ने शनिवार (16 नवंबर 2024) को कहा कि पश्चिमी देश गंभीर संकट में हैं और भारत ने ब्रिटिश अर्थव्यवस्था को पीछे छोड़ दिया है. उन्होंने यह बात हिंदुस्तान टाइम्स लीडरशिप समिट में कही है.
ट्रस ने अपने संबोधन में कहा, "ब्रिटिश अर्थव्यवस्था अब भारत से पीछे हो चुकी है, जहां कई महत्वपूर्ण आर्थिक नीतियां और सुधार हुए हैं." उन्होंने यह भी कहा कि तकनीक और कृषि जैसे क्षेत्रों में भारत और ब्रिटेन के बीच बहुत कुछ हासिल किया जा सकता है. उन्होंने भारत की पिछले सौ वर्षों की प्रगति को सराहते हुए इसे वैश्विक मंच पर एक बड़ी भूमिका निभाने वाला बताया है.
भविष्य में भारत की भूमिका पर बोलते हुए ट्रस ने कहा, “भारत अब दुनिया की सबसे बड़ी आबादी और लंबे समय से लोकतंत्र का प्रतिनिधित्व करता है. इसका भविष्य में नेतृत्व में एक महत्वपूर्ण स्थान होगा जो बहुत ही उत्साहजनक है." उन्होंने भारत की क्वाड में भागीदारी को चीन के बढ़ते खतरे के मद्देनजर अहम बताया.
ब्रिटिश अर्थव्यवस्था पर ट्रस की टिप्पणी
ट्रस ने ब्रिटिश अर्थव्यवस्था के बारे में निराशा जाहिर करते हुए कहा कि उन्हें नहीं लगता कि ब्रिटिश अर्थव्यवस्था जल्द ही उभर सकेगी. उन्होंने यह भी कहा कि तब तक ब्रिटेन में सबकुछ दोबारा पटरी पर नहीं आ पाएगी जब तक वहां की शक्तिशाली नौकरशाही पर लगाम न लगाया जाए.
कंजर्वेटिव और लेबर पार्टी पर ट्रस का रुख
ट्रस ने कहा कि 14 साल की कंजर्वेटिव पार्टी की सत्ता के बावजूद लोगों को स्थिति में कोई खास सुधार महसूस नहीं हुआ. लोगों ने कंजर्वेटिव पार्टी को हटाकर लेबर पार्टी को चुना, जो अब और अधिक टैक्स और कड़े नियम ला रही है. टोनी ब्लेयर के संदर्भ में ट्रस ने कहा कि लेबर नेता ने ब्रिटेन में राज्य और नौकरशाही की कार्यशैली में अहम बदलाव किए थे.
उन्होंने कहा, "ब्लेयर ने संसद से अधिकार हटाकर नौकरशाहों के हाथ में दे दिया, जिससे ब्रिटेन में ठहराव आ गया, और यह एक प्रमुख कारण था कि लोगों ने लेबर पार्टी के खिलाफ मतदान किया."