Canada Supreme Court: कनाडा के सुप्रीम कोर्ट ने शारीरिक संबंध (Physical Relation) बनाने के नियमों को लेकर बड़ा फैसला सुनाया है. कोर्ट ने कहा है संबंध बनाने के दौरान साथी की स्पष्ट सहमति (Partner Consent)के बिना कंडोम (Condom) हटाना एक यौन अपराध (Sex Crime) है. कोर्ट के फैसले के बाद वकील ने कहा कि ये आपराधिक संहिता की नई व्याख्या है, जो पूरे देश में मानक होगी. उनके मुताबिक ये यौन सहमति के नियमों को काफी हद तक बदल देगी, जिससे यह लगभग एक बाध्यकारी अनुबंध की तरह हो जाएगा, जिस पर संबंध बनाने से पहले साथी की सहमति लेना जरूरी हो जाएगा.
एक केस पर अदालत ने सुनाया फैसला
द न्यूयॉर्क टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, इस निर्णय की घोषणा लेने के पीछे साल 2017 में आए एक केस के बाद किया गया जिसमें दो लोगों ने पहले ऑनलाइन बातचीत की और फिर दोनों ने मिलने की पहल की ये देखने के लिए कि क्या वे एक दूसरे के साथ कंफर्टेबल हैं और दोनों मिलने के बाद दोनों शारीरिक संबंध बनाने में सक्षम हैं.
महिला, जिसका नाम गुप्त रखा गया है, ने मिलने के बाद अपने साथी से सेक्स के दौरान कंडोम का इस्तेमाल करने की सहमति दी थी. दोनों ने दो बार शारीरिक संबंध बनाए जिसमें एक बार महिला के साथी ने कंडोम नहीं पहना था. जो महिला को पता नहीं था. इसके बाद पता चलने पर उसने एचआईवी का ट्रीटमेंट करवाया था.
उसने अपने साथी रॉस मैकेंजी किर्कपैट्रिक पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया था.
निचली अदालत ने खारिज कर दिया था केस
हालांकि, निचली अदालत के न्यायाधीश ने किर्कपैट्रिक के इस तर्क को स्वीकार करते हुए आरोप को खारिज कर दिया कि शिकायतकर्ता ने कंडोम पहनने में विफल रहने के बावजूद यौन संबंधों के लिए सहमति दी थी. कोर्ट के इस फैसले को ब्रिटिश कोलंबिया कोर्ट ऑफ अपील ने पलट दिया, जिसने एक नई जांच का आदेश दिया, जिसके बाद किर्कपैट्रिक ने उस फैसले के खिलाफ देश की शीर्ष अदालत में अपील की, जिसने पिछले नवंबर में दलीलें सुनीं थीं.
कोर्ट ने कहा-इसके लिए दोनों की सहमति जरूरी है
न्यूयार्क टाइम्स के मुताबिक शुक्रवार को इस मामले में अदालत ने फेसला सुनाते हुए कहा कि "कंडोम के बिना संभोग एक मौलिक और गुणात्मक रूप से अलग शारीरिक कार्य है." कोर्ट के द्वारा 5-4 वोटों द्वारा इसे अनुमोदित किया गया था, इसपर अदालत ने कहा कि "कंडोम का उपयोग अप्रासंगिक, गौण या आकस्मिक नहीं हो सकता है जब शिकायतकर्ता ने इस पर अपनी सहमति स्पष्ट रूप से दी हो."
बचाव पक्ष के वकील ने कहा-ये कैसे तय हो सकता है
ब्रिटिश कोलंबिया में एक बचाव पक्ष के वकील ने इसपर कहा था कि "कनाडा में, जब दोनों की सहमति हो तो कंडोम का इस्तेमाल सही है. लेकिन यह निर्णय यौन गतिविधि के उस क्षण से दूर करता है कि एक दिन पहले साथी इसकी सहमति दे. उन्होंने आगे कहा, "अगर हर किसी के लिए, लेकिन विशेष रूप से पुरुषों के लिए इसे अगर नैतिक रूप से लिया जाना है, तो आपको यह सुनिश्चित करना होगा कि क्या इसमें वो पल जिसमें दोनों की सहमति थी और यदि इसपर निश्चित नहीं हैं, तो आपको ये पूछना चाहिए. लेकिन इस तरह के शारीरिक संबंध के बारे में कैसे निर्धारित किया जा सकता है"
सहमति से कंडोम का इस्तेमाल कैसे परिभाषिक करेंगे
लिसे गोटेल, अलबर्टा विश्वविद्यालय में महिलाओं और सेक्स को लेकर अध्ययन करने वाले प्रोफेसर ने, यौन सहमति और कनाडाई कानून पर अपने विचार साझा किए उन्होंने कहा कि "दुनिया में किसी अन्य क्षेत्राधिकार में यह स्पष्ट नहीं है कि जब कोई कंडोम के साथ यौन संबंध के लिए सहमत हो गया है और उनकी सहमति के बिना इसे हटा दिया गया हो, तो क्या ये बलात्कार की श्रेणी में भी आ सकता है. "
NYT रिपोर्ट के अनुसार"अदालत ने बहुत स्पष्ट रूप से कहा है कि उस परिस्थिति में ऐसी कोई सहमति कैसे हो सकती है और इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि गैर-सहमति वाले कंडोम को हटाना था या नहीं, ये सहमति भ्रामक थी."
ब्रिटेन-स्विटजरलैंड में है सजा का प्रावधान
कुछ अध्ययनों के अनुसार, पिछले एक दशक में कंडोम के उपयोग को लेकर प्रतिरोध व्यापक हो गया है और पुरुषों के साथ यौन संबंध रखने वाली महिलाओं और पुरुषों की महत्वपूर्ण संख्या में अनुभवी साथी उनकी सहमति के बिना कंडोम हटाने की रिपोर्ट करते हैं. यह प्रथा, जिसे लोकप्रिय रूप से "चुपके" के रूप में जाना जाता है, काफी प्रचलित हो गई है कि कुछ कनाडाई विश्वविद्यालयों ने इसे अपनी यौन हिंसा रोकथाम नीतियों में शामिल कर लिया है. रिपोर्ट में कहा गया है कि ब्रिटेन और स्विटजरलैंड की अदालतों ने लोगों को संभोग के दौरान कंडोम निकालने के अपराध में दोषी भी ठहराया है.
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