China Covid Outbreak: सड़कों पर सन्नाटा, घरों में पड़े शव, कोरोना से चीन में 21 लाख मौतें संभव!
अगर चीन में हॉन्ग कॉन्ग की तरह कोरोना की लहर आती है, तो स्वास्थ्य व्यवस्थाएं चरमरा सकती हैं. कोरोना संक्रमण की इस लहर की वजह से चीन में 167 से 213 मिलियन कोरोना केस सामने आ सकते हैं.
China Covid Outbreak: चीन में एक बार फिर से कोरोना विस्फोट हो गया है. देश के कई शहरों में कोरोना संक्रमितों की संख्या तेजी सी बढ़ रही है. जीरो कोविड पॉलिसी के बावजूद चीन में हालात बेकाबू हो गए हैं. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, चीन के शहरों में कोरोना संक्रमण के हालात 2020 से भी बदतर स्थिति में पहुंच चुके हैं.
अस्पतालों में मरीजों को भूसे की तरह भरा जा रहा है. अंतिम संस्कार के लिए जगह की कमी के चलते घरों में ही शव पड़े हुए हैं. सड़कों पर सन्नाटा पसरा हुआ है. बहुत से लोगों ने खुद को घरों में कैद कर लिया है. वहीं, बहुत से लोग कोरोना संक्रमण के मामलों में अव्वल चल रहे शहरों को छोड़कर भाग रहे हैं.
चीन के बीजिंग, शंघाई, वुहान, ग्वांगझू, झेंगझोउ, चोंगकिंग और चेंगदू शहरों में हालात कहीं ज्यादा भयावह होते जा रहे हैं. कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए विशेषज्ञों ने संभावना जताई है कि चीन में कोरोना की वजह से मौतों की संख्या लाखों में पहुंच सकती है.
शवों को रखने के लिए कोल्ड स्टोरेज कम पड़े
न्यूज एजेंसी एएफपी के अनुसार, जीरो कोविड पॉलिसी के चलते जनता का विरोध झेल रहे चीन में हालात भयावह हो चले हैं. रिपोर्ट की मानें, तो चीन एक बड़े मानवीय संकट की ओर बढ़ता दिख रहा है. चीन में पिछले एक सप्ताह में इतनी मौतें हुई है कि शवों को रखने के लिए कोल्ड स्टोरेज कम पड़ गए हैं.
आसान शब्दों में कहें, तो पिछले कुछ दिनों से जो आशंकाएं जताई जा रही थीं, वो सच होती दिख रही हैं. शवदाह गृहों पर कम से कम पांच दिन की वेटिंग है. वैसे, चीन ने पहले भी जिस तरह से कोरोना संक्रमण के मामलों को छुपाया था. इस रिपोर्ट पर भरोसा और बढ़ जाता है.
चीन में कोरोना संक्रमण बढ़ने की वजह क्या है?
एयरफिनिटी की रिपोर्ट के अनुसार, चीन के नागरिकों में इम्युनिटी का स्तर बहुत कमजोर है. इसकी सबसे बड़ी वजह घरेलू वैक्सीन सिनोवैक और सिनोफार्म का इस्तेमाल है. क्योंकि, इन दोनों ही वैक्सीन की कोरोना वायरस के खिलाफ प्रभावी क्षमता कम है. साथ ही कोरोना संक्रमण और मौतों से सुरक्षा देने में भी कमजोर साबित हुई है. इतना ही नहीं, चीन की जीरो कोविड पॉलिसी का मतलब ही यही है कि चीनी नागरिकों में पूर्व संक्रमण से कोई प्राकृतिक इम्युनिटी नहीं बनी है.
चीन में 21 लाख जिंदगियों पर भारी पड़ सकता है कोरोना
लंदन स्थित ग्लोबल हेल्थ इंटेलिजेंस एंड एनालिटिक्स फर्म ने चीन में कोरोना के बढ़ते मामलों पर 1.3 से लेकर 2.1 मिलियन लोगों की जान को खतरा बताया है. फर्म ने चिंता जताई है कि अगर चीन जीरो कोविड पॉलिसी को हटाता है. तो, इसकी वजह से लाखों लोगों की मौत हो सकती है.
फर्म की रिपोर्ट के मुताबिक, इन तमाम कारणों से अगर चीन में हॉन्ग कॉन्ग की तरह कोरोना की लहर आती है. तो, स्वास्थ्य व्यवस्थाएं चरमरा सकती हैं. क्योंकि, कोरोना संक्रमण की इस लहर की वजह से चीन में 167 से 213 मिलियन कोरोना केस सामने आ सकते हैं. जो 1.3 से 2.1 मिलियन मौतों की जिम्मेदार बनेगी.
विशेषज्ञों का कहना है कि इस स्थिति से निपटने के लिए चीन को वैक्सीनेशन में तेजी लानी होगी. एयरफिनिटी के डॉ. लुईस ब्लेयर ने कहा कि जीरो कोविड पॉलिसी को हटाने के लिए चीन को अपने वरिष्ठ नागरिकों की चिंता करनी होगी. चीन को कम प्रभाव के साथ बेहतर भविष्य पाने के लिए हाइब्रिड इम्युनिटी की जरूरत है.
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