बीजिंग: चीन के एक शीर्ष चिकित्सा विशेषज्ञ ने चेतावनी दी है कि चीन और अन्य देशों में नवंबर में दोबारा कोरोना वायरस का संक्रमण फैल सकता है. उन्होंने यह चेतावनी ऐसे समय दी है जब करीब तीन महीने तक महामारी से लड़ने के बाद दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था चीन में हालात सामान्य हो रहे हैं. शंघाई में कोविड-19 विशेषज्ञ टीम और शहर के शीर्ष अस्पतालों में संक्रमक बीमारी विभाग का नेतृत्व करने वाले झांग वेंहोंग उम्मीद करते हैं कि दीर्घकाल में देश बार-बार उभरने वाली महामारी के प्रति लचीला रुख अपनाएंगे.


उन्होंने कहा कि दुनियाभर के देश शरद ऋतु तक कोरोना वायरस की महामारी पर काफी हद तक नियंत्रण स्थापित कर लेंगे लेकिन आने वाली सर्दी में चीन और अन्य देशों को इस महामारी का दोबारा सामना कर पड़ सकता है. छोटी अवधि के वीडियो के लिए लोक्रपिय मंच कुआइशोउ पर झांग ने कहा कि चीन को बीमारी नियंत्रित करने को लेकर प्राप्त अनुभव का अभिप्राय है कि इस साल के आखिर में इसे नियंत्रित किया जा सकता है और वायरस को नियंत्रित करने के लिए नाटकीय और सख्त उपाय दोहराने की जरूरत नहीं होगी.


झांग की यह टिप्पणी ऐसे समय आई है जब चीनी अधिकारी देश की अर्थव्यवस्था को फिर से पटरी पर लाने की कोशिश के तहत पृथकवास के नियमों में ढील दे रहे हैं. उल्लेखनीय है कि चीन के राष्ट्रीय स्वास्थ्य आयोग द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक बुधवार तक देश में कोविड-19 मामलों की संख्या 82,341 तक पहुंच गई जिनमें से 3,342 लोगों की मौत हुई है. हालांकि, कोरोना वायरस संक्रमण के केंद्र रहे वुहान में मामले नहीं आ रहे हैं और चीन में दर्ज होने वाले अधिकतर मामले उन चीनी नागरिकों के हैं जो विदेश यात्रा कर लौट रहे हैं.


चीन की पत्रिका सीयाशीन ने झांग को उद्धृत करते हुए लिखा, ‘‘ चीन अब कोई लॉकडाउन लागू नहीं करेगा और देश में संभवत: बड़ी संख्या में आयातित मामले होंगे.’’ उन्होंने कहा, ‘‘ लंबे समय में महामारी रोकने एवं नियंत्रण के लिए ढील और सख्ती की नीति से गुजरना होगा. सामान्य तरीके से जीवनयापन करना और काम करना संभव होगा लेकिन संभवत: पूरी तरह से महामारी को खत्म करना संभव नहीं होगा.’’


इसका अभिप्राय: है कि देशों को घरेलू स्तर पर महामारी के अपने चरम पर पहुंचने के बावजूद लड़ाई जारी रखनी होगी. झांग ने कहा कि जब सभी देश ठीक से बीमारी को नियंत्रित कर लेंगे तभी वे फिर से अच्छे से जी सकेंगे. उन्होंने कहा, ‘‘आक्रमक तरीके से जांच और संक्रमित के संपर्क में आए लोगों का पता लगाने के साथ संक्रमित को तुरंत अस्पताल में भर्ती कराना ही इस महामारी को रोकने का प्रभावी उपाय है.’’


झांग ने उम्मीद जताई कि अमेरिका इस महामारी को मई तक नियंत्रित कर लेगा. साथ ही उन्होंने दोंनों देशों से महामारी के खिलाफ करीबी सहयोग का भी आह्वान किया. उन्होंने कहा, ‘‘ चिकित्सा के स्तर पर हमारे बीच संवाद कभी बंद नहीं होना चाहिए.’’


कोरोना वायरस की महामारी को नियंत्रित करने के मामले में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प द्वारा चीन की आलोचना के बीच झांग ने कहा, ‘‘जब बात दवा, लोगों के स्वास्थ्य और महामारी को नियंत्रित करने की हो तो हम एक दूसरे से अलग नहीं हो सकते हैं.


उल्लेखनीय है कि अमेरिकी विदेश मंत्री माइक पोम्पियो ने बुधवार को चीन के वरिष्ठ राजनयिक से बात की थी और ट्रम्प प्रशासन द्वारा नये कोरोना वायरस के उद्भव और प्रचार संबंधी सूचना में पारदर्शिता की मांग को रेखांकित किया था.


पोम्पियो और कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ चाइना के विदेश मामलों के कार्यालय के निदेशक यांग जेइची की बातचीत ट्रम्प द्वारा विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ)की सहायता रोकने के एक दिन बाद हुई. ट्रम्प ने डब्ल्यूएचओ पर चीन का पक्ष लेने और कोरोना वायरस के मामले में दुनिया को अंधेरे में रखने का आरोप लगाया था.




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