China: चीन में सेंशरशिप से बचने के लिए सरकार को कुछ इस तरह चकमा दे रहे प्रदर्शनकारी
Protest in China: चीन में पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच में चूहे-बिल्ली का खेल जारी है. पुलिस को चकमा देने के लिए प्रदर्शनकारियों की ओर से डेटिंग एप और सोशल मीडिया का इस्तेमाल किया जा रहा है.
China COVID Protest: चीन में ‘जीरो कोविड पॉलिसी’ को लेकर हाहाकार मचा हुआ है. कोरोना को लेकर बनाए गए सख्त नियमों को लेकर चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग अब अपने ही देश में घिरते जा रहे हैं. ‘जीरो कोविड पॉलिसी’ से परेशान होकर लोग अब सड़कों पर उतर चुके हैं और सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. वहीं प्रदर्शनकारियों की आवाज को दबाने के लिए बल प्रयोग भी किया जा रहा है. इसके बाद भी सरकार प्रदर्शन पर लगाम नहीं लगा पा रही है.
पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच में चूहे-बिल्ली का खेल जारी है. पुलिस को चकमा देने के लिए प्रदर्शनकारियों की ओर से डेटिंग एप और सोशल मीडिया का इस्तेमाल किया जा रहा है. जिससे वे अपनी रणनीति और अपने संदेश को ज्यादा से ज्यादा लोगों तक पहुंचा सकें.
पुलिस को ऐसे चकमा दे रहे प्रदर्शनकारी
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार पुलिस ने विरोध-प्रदर्शनों से जुड़े वीडियोज, फोटोज को प्रसारित करने पर बैन है. विरोध-प्रदर्शन से जुड़ी सामग्री को वायरल करने वाले अकाउंट्स भी कड़े सेंसर वाले साइबरस्पेस पर डाले गए हैं. सोशल मीडिया यूजर्स का कहना है कि पुलिस को चकमा देने के लिए एक्टिविस्ट अब उन्हें हटाने से पहले विदेशी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर सेव कर रहे हैं. सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे वीडियोज में साफ देखा जा सकता है कि लोग कैसे सरकार की कोविड नीतियों का विरोध कर रहे हैं.
उरुम्की अग्निकांड से भड़का गुस्सा
चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के एक दशक से ज्यादा के कार्यकाल में पहली बार सरकार के विरोध में प्रदर्शनकारी सड़कों पर उतरे. वुहान में कोरोना के मामले सामने आने के बाद से सरकार की ओर से कठोर 'जीरो कोविड नीति' लागू कर दी गई थी. इसके तहत तकरीबन 3 साल से लोगों को लॉकडाउन का सामना करना पड़ रहा है. हाल ही में उरुम्की में एक अपार्टमेंट में लगी घातक आग ने लोगों के गुस्से को और भड़का दिया.
प्रतिबंधित एप का हो रहा इस्तेमाल
लोगों का आरोप है कि लॉकडाउन के कारण बचाव कार्य में देरी हुई. वहीं अधिकारियों की ओर से इस बात का खंडन किया गया है. हालांकि इसके बाद भी लोग सरकार के खिलाफ सड़कों पर उतर आए. विरोध-प्रदर्शन के वीडियोज-फोटोज सोशल मीडिया पर वायरल होने लगीं. पुलिस की ओर से इन वीडियोज को सेंसर करके रोकने की पूरी की कोशिश की जा रही है, लेकिन अब ये वीडियोज न केवल चीनी सोशल मीडिया पर बल्कि ट्विटर और इंस्टाग्राम पर भी वायरल हो रही हैं. खास बात ये है कि ये एप चीन में प्रतिबंधित हैं.
चीन ने अमेरिका पर लगाया आरोप
चीन के अलग-अलग शहरों में लोगों और छात्र संगठनों ने विरोध-प्रदर्शन किया और इसे सोशल मीडिया पर भी अपलोड कर दिया है. चीन ने इसके लिए अमेरिका को जिम्मेदार ठहराया है. चीन डिसेंट मॉनिटर के शोध प्रमुख केविन स्लेटन ने कहा कि अमेरिका में स्थित गैर-लाभकारी फ्रीडम हाउस द्वारा संचालित एक डेटाबेस से इन वीडियोज को प्रसारित किया जा रहा है. लोग इन वीडियोज को देख रहे हैं और एक-दूसरे को भड़का रहे हैं.