Teacher's Pet Podcast: वह कहता रहा मेरी पत्नी मुझे छोड़ कर चली गई है और 40 साल तक कुछ लोग भी यही समझते रहे. लेकिन अब सच सामने आ चुका है. ऑस्ट्रेलिया (Australia) के क्रिस डॉसन (Chris Dawson ) नाम के टीचर एक मशहूर क्राइम पॉडकास्ट टीचर्स पेट पॉडकास्ट (Teacher's Pet Podcast ) के विषय रहे और इस पॉडकास्ट ने ही उन्हें जेल की सलाखों तक ला छोड़ा है. साल 1982 में उनकी पत्नी लिनेट (Lynette) के लापता होने की अटकलों के आधार पर  सिडनी (Sydney) की एक अदालत में क्रिस डॉसन पर मुकदमा चल रहा था. लिनेट की बॉडी कभी नहीं बरामद हो सकी. इस वजह से इस केस में सभी सबूत बस परिस्थितियों पर आधारित थे.


साल 1982 में सिडनी के घर से लापता हुई थीं लिनेट


दो बच्चों की 33 वर्षीय मां लिनेट डॉसन जनवरी 1982 में सिडनी के अपने घर से गायब हो गई थी. इसके बाद पुलिस को उसका कोई सुराग नहीं मिला है. उनकी गुमशुदगी के बाद दो अलग-अलग जांचों में निष्कर्ष निकाला गया कि उनकी हत्या उन्हें जानने वाले ही एक शख्स ने की थी. लेकिन जब तक इस मामले में पॉडकास्ट ने जांच नहीं की थी, तब-तक अभियोजकों ने कहा था कि क्रिस पर आरोप लगाने के लिए पर्याप्त सबूत नहीं थे. इस सबका फायदा उठाकर क्रिस कहता रहा कि जनवरी 1982 में हफ्ते के आखिरी में उनकी पत्नी उन्हें फोन किया था और कहा था कि उन्हें खुद के लिए थोड़ा वक्त चाहिए. इसके बाद भी कई बार उनकी पत्नी के फोन उनके पास आए थे.


क्रिस की डिफेंस टीन ने जांच को भटकाने की कोशिश की. टीम ने मिसेज डॉसन के लापता होने के बाद बताया कि उन्होंने 5 लोग उनके घर के पास देखे गए थे. इस आधार पर टीम ने मिसेज डॉसन के जनवरी 1982 के बाद भी जिंदा होने की बात कही. लेकिन अभियोजकों ने तर्क दिया कि शादी को खत्म करने की कोशिशों के कामयाब न होने से क्रिस हत्या करने के लिए उतावले हुए. इससे पहले उन्होंने अपनी पत्नी को मारने के लिए एक हीटमैन भी हायर किया था और जेसी के साथ क्वींसलैंड (Queensland) में एक नई जिंदगी शुरू करने की कोशिश भी की थी, लेकिन उनकी सारी कोशिशें बेकार हो गईं.


न्यायमूर्ति हैरिसन ने मंगलवार को हिटमैन के दावे को खारिज कर दिया और आरोप लगाया था कि डॉसन अपनी पत्नी लिनेट को शारीरिक तौर पर प्रताड़ित करते थे और उनसे अपमानजनक व्यवहार करते थे. न्यायाधीश ने पाया कि मिसेज डॉसन अपने बच्चों और अपने पति को बेहद प्यार करती थीं. न्यायाधीश ने कहा कि लिनेट के लापता होने के बाद भी उनकी सारी संपत्ति उनके घर पर ही मिली. यहां तक ​​​​कि उनकी आंखों के लेंस भी उनकी इस्तेमाल की गई चीजों में एक नीले कंटेनर में मिले थे. जज ने ये भी कहा कि लिनेट डॉसन के गायब होने के बाद से उनके किसी दोस्त और परिवार को उन्होंने संपर्क नहीं किया. सभी परिस्थितिजन्य सबूतों ध्यान में रखते हुए, न्यायमूर्ति हैरिसन ने कहा कि उन्हें "इसमें कोई संदेह नहीं है" कि डॉसन ने वास्तव में अपनी पत्नी को मार डाला था और उसके शरीर को ठिकाने लगा दिया था.


पॉडकास्ट से आए संदेहों के घेरे में


टीचर्स पेट पॉडकास्ट (Teacher's Pet Podcast) ही रहा जिसने इस केस को पूरी दुनिया की नजर में ला दिया. नतीजन इस केस की जांच नए सिरे से शुरू हुई और साल 2018 में टीचर क्रिस डॉसन पर अपनी पत्नी की हत्या का आरोप लगाया गया. हालांकि 74 साल के डॉसन पत्नी की हत्या से इंकार करते रहे. वह कहते रहे कि शायद उनकी पत्नी लिनेट ने एक धार्मिक समूह में शामिल होने के लिए उन्हें और उनके बच्चों को छोड़ दिया था. उनकी ये दलील मंगलवार को जज के सामने नहीं चल पाई. मंगलवार को अपना फैसला सुनाते हुए न्यू साउथ वेल्स (New South Wales) उच्चतम न्यायालय (Supreme Court)  के न्यायमूर्ति इयान हैरिसन (Ian Harrison) ने कहा कि डॉसन के खिलाफ सबूत "ठोस और पुख्ता" थे.


न्यायमूर्ति इयान हैरिसन ने पाया कि टीचर क्रिस टीनएजेड बेबी सिटर के दीवाने थे. कानूनी वजहों से इस बेबी सिटर को जेसी (JC) के नाम से जाता है. क्रिस अपनी पत्नी के बदले इस बेबी सिटर को लाना चाहते थे. न्यायमूर्ति हैरिसन ने कहा कि डॉसन तेजी से हताश हो गए थे क्योंकि उनकी शादी को छोड़ने की पिछली योजना कामयाब नहीं हो पाई थी और जेसी उनसे अपना रिश्ता खत्म करना चाहती थी. न्यायाधीश हैरिसन ने बताया, "मैं इस बात को मानता हूं कि मिस्टर डॉसन उसे (जेसी) खोने के ख्याल से इतने व्यथित, निराश थे कि आखिरकार इसी ख्याल के हावी होने पर उन्होंने अपनी पत्नी लिनेट को मारने का मन बनाया."  हालांकि अभी सजा की तारीख तय नहीं की गई है. डॉसन के वकील ने संकेत दिया है कि वह सजा के खिलाफ अपील कर सकते हैं.


क्रिस डॉसन को फैसला सुन लगा सदमा


न्यू साउथ वेल्स (New South Wales) उच्चतम न्यायालय (Supreme Court)  के न्यायमूर्ति इयान हैरिसन (Ian Harrison) ने जैसे ही क्रिस डॉसन के खिलाफ अपना फैसला सुनाया  क्रिस का चेहरा डर से पीला पड़ गया. न्यायाधीश के विचार-विमर्श में विराम के दौरान अपने बड़े भाई, पीटर और उनके वकील के साथ अदालत की 13 वीं मंजिल पर लिफ्ट में कदम रखते ही क्रिस डॉसन सदमे में दिखाई दिए. 40 साल के बाद लिनेट डॉसन के लापता होने का रहस्य और त्रासदी आखिरकार सुलझ गई है. न्यायाधीश हैरिसन ने क्रिस डॉसन के बचाव के लिए दिए बयानों को 'बेतुका' और 'काल्पनिक' करार देते हुए अपने फैसले में उनके अपराध की पुष्टि की. फैसले के बाद पूर्व शिक्षक को क्रिस को हथकड़ी लगाकर ले जाया गया. जस्टिस हैरिसन के लंबे फैसले ने आखिरकार उनके झूठ और छल का पर्दाफाश कर दिया था. 


फैसले पर छलछला आईं लिनेट परिवार की आंखें


अदालत में जब क्रिस डॉसन को दोषी करार देना का फैसला सुनाया गया तो उसके परिवार के सदस्य हांफने लगे. वहीं  लिनेट डॉसन के रिश्तेदारों की आंखों में आंसू छलक पड़े, जो पास में ही चुपचाप बैठे थे.लिनेट डॉसन के भाई ग्रेग सिम्स (Greg Simms) ने कहा कि अदालत ने जिस बात को आज पुख्ता कर रही है. वह बात उनके परिवार वालों कई वर्षों से पता थी. भावुक सिम्स ने अपनी बहन लिनेट के बारे में कहा,"वह अपने परिवार से प्यार करती थी और उसने कभी भी अपनी तरफ से अपने परिवार को नहीं छोड़ा था. सिम्स ने कहा कि इसके बावजूद मेरी बहन के विश्वास को एक ऐसे शख्स ने धोखा दिया जिसे वह प्यार करती थी. उन्होंने अपनी बहन के पति क्रिस डॉसन से अपील की है कि आखिरकार अब वो एक सभ्य शख्स की तरह व्यवहार करें और हमें लिनेट को एक शांतिपूर्ण आराम के लिए घर लाने दे. सिम्स का कहना था कि मेरी बहन का शव जिस गरिमा का हकदार है वह उसे मिलनी चाहिए.


पत्रकार हेडली थॉमस के पॉडकास्ट ने दिलाया लिनेट को न्याय


ऑस्ट्रेलियाई पत्रकार हेडली थॉमस (Hedley Thomas) ने क्राइम आधारित पॉडकास्ट द टीचर्स पेट (The Teacher's Pet) में इस मामले की जांच शुरू की तो इस मामले ने पूरी दुनिया का ध्यान अपनी तरफ खींचा. इस पॉडकास्ट के लिए थॉमस को पत्रकारिता सर्वोच्च सम्मान मिला.उनका ये पॉडकास्ट दुनिया भर में 60 मिलियन से भी अधिक बार डाउनलोड किया गया है.


यही नहीं दुनिया टॉप चार्ट में रहा. इस मुकदमे में न्याय दिलाने में इस पॉडकास्ट ने अहम भूमिका निभाई. हालांकि न्यायमूर्ति हैरिसन ने पॉडकास्ट की इस मामले को लेकर संतुलित दृष्टिकोण न रखने के साथ ही कुछ गवाहों और सबूतों पर असर डालने को लेकर आलोचना भी की.पॉडकास्ट के प्रचार की वजह से इस मुकदमे को शुरू करने में देरी हुई. इससे क्रिस डॉसन के वकीलों ने भी केस पूरी तरह से रोकने की कोशिश की. उसके वकीलों ने ये तर्क दिया कि इस पॉडकास्ट सीरीज की वजह से निष्पक्ष मुकदमा नहीं चलाया जा सकेगा. यही वजह रही की डॉसन के वकीलों को जूरी के बजाय एकल न्यायाधीश के समक्ष मुकदमा चलाने की मंजूरी मिली.


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