पिछले कई हफ्ते से 31 वर्षीय डॉ.जोशी सोशल मीडिया का इस्तेमाल राष्ट्रीय स्वास्थ्य सेवा (एनएचएस) के अंतर्गत कोरोना वायरस के संक्रमितों का इलाज कर रहे चिकित्सा पेशेवरों के समक्ष पीपीई की कमी का मुद्दा उठाने के लिए कर रहे हैं. वह चिकित्सा कर्मियों के बेहतर सुरक्षा उपकरणों के लिए स्पष्ट दिशा निर्देश देने की मांग कर रहे हैं.
दक्षिण पूर्व इंग्लैंड के बेडफोर्डशायर में डॉक्टर ने कहा, ‘‘यह बड़ी जीत है आपने ध्यान दिया कि हमने पीपीई की लड़ाई जीत ली है. सरकार ने दिशानिर्देशों को अद्यतन किया है और जो मुद्दे उठाए गए थे उनके प्रति पहले के रुख से यूटर्न लिया है- जैसे अस्पताल में सभी जगह सर्जिकल मास्क और मरीजों से संपर्क के दौरान कम से कम एफएफपी-2 मास्क का इस्तेमाल.’’
डफोर्डशायर के एनएचएस अस्पताल के आपाकालीन सेवा में कार्यरत जोशी ने सवाल किया कि क्यों नहीं सरकार ने शुरू में ही ऐसे नियम बनाए.
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