US Dr BR Ambedkar Statue: US में डॉ. बी आर आंबेडकर की सबसे बड़ी प्रतिमा का किया जाएगा उद्घाटन, जानिए क्या है खास
US Statue: आंबेडकर अंतर्राष्ट्रीय केंद्र (AIC) ने ने एक बयान में कहा कि इस प्रेरक अवसर का हिस्सा बनें क्योंकि हम समानता, मानवाधिकार और सशक्तिकरण में डॉ. अंबेडकर के योगदान का सम्मान करते हैं.
US Dr BR Ambedkar Statue: भारतीय संविधान के पिता कहे जाने वाले डॉ. बी आर आंबेडकर (Dr BR Ambedkar) की भारत के बाहर ‘सबसे बड़ी’ प्रतिमा का अमेरिका (America) के मैरीलैंड में 14 अक्टूबर को उद्घाटन किया जाएगा. 125 फुट की इस प्रतिमा को स्टैच्यू ऑफ इक्वेलिटी (समानता की प्रतिमा) नाम दिया गया है, जिसे प्रसिद्ध कलाकार और मूर्तिकार राम सुतार ने बनाया है. सुतार ने ही गुजरात के अहमदाबाद में स्थापित सरदार पटेल की प्रतिमा बनाई थी. सुतार ने पिछले साठ वर्षों में 90 से अधिक स्मारकीय मूर्तियां बनाई हैं, जिन्हें भारत, अमेरिका, फ्रांस, अर्जेंटीना, इटली, रूस और मलेशिया में रखा गया है.
PTI की रिपोर्ट के मुताबिक डॉ. बी आर आंबेडकर की प्रतिमा मैरीलैंड के एकोकीक शहर में 13 एकड़ भूमि पर बनाए जा रहे अंबेडकर अंतरराष्ट्रीय केंद्र (AIC) का हिस्सा है. AIC ने कहा, ‘‘यह भारत के बाहर बाबासाहेब की सबसे बड़ी प्रतिमा है और इसे इस केंद्र में बनाए जा रहे आंबेडकर स्मारक के एक हिस्से के रूप में स्थापित किया जा रहा है.’’
कार्यक्रम में बड़ी संख्या में शामिल होने की उम्मीद
आंबेडकर अंतर्राष्ट्रीय केंद्र (AIC) ने कहा, ‘‘इस कार्यक्रम में अमेरिका और दुनिया के अन्य हिस्सों से आंबेडकरवादी आंदोलन के प्रतिनिधियों और उनके अनुयायियों के बड़ी संख्या में शामिल होने की उम्मीद है.’’ AIC ने बताया कि यह स्मारक बाबासाहेब के संदेशों और शिक्षाओं का प्रसार करेगा और समानता तथा मानवाधिकारों के प्रतीक को प्रदर्शित करेगा. डॉ. बी आर आंबेडकर के प्रतिमा का अनावरण 14 अक्टूबर को होगा, जिसमें विभिन्न देशों के प्रतिनिधियों के शामिल होने की उम्मीद है.
कार्यक्रम 14 अक्टूबर को सुबह 10 बजे
आंबेडकर अंतर्राष्ट्रीय केंद्र (AIC) ने ने एक बयान में कहा कि इस प्रेरक अवसर का हिस्सा बनें क्योंकि हम समानता, मानवाधिकार और सशक्तिकरण में डॉ. अंबेडकर के योगदान का सम्मान करते हैं. उनकी स्थायी प्रभाव की प्रतीक, भव्य प्रतिमा के भव्य अनावरण के साक्षी बनें और उस महान नेता को श्रद्धांजलि अर्पित करें, जिन्होंने अन्याय से लड़ने के लिए अपना जीवन समर्पित कर दिया. ये कार्यक्रम 14 अक्टूबर को सुबह 10 बजे शुरू होगा और शाम को 5:30 में खत्म होगा. इस दौरान सांस्कृतिक प्रस्तुतियां का आयोजन किया जाएगा.
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