नई दिल्ली: आतंक पर अमेरिका के सबसे बड़े हमले से आतंकियों के होश उड़ गए हैं. बम से कितना नुकसान हुआ है इसकी अभी तक सटीक जानकारी सामने नहीं आई है, लेकिन जिस बम का इस्तेमाल हुआ उसकी क्षमता इतनी है कि अफगानिस्तान तो क्या पड़ोस के पाकिस्तान तक इसका असर पड़ेगा.
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अफगानिस्तान के नांगरहार प्रांत में बीती रात जब आप सो रहे थे, अमेरिका ने अफगानिस्तान में सबसे बड़ा बम फोड़ दिया. GBU-43 नाम के इस बम की ताकत इतनी कि अफगानिस्तान के नांगरहार प्रांत की गुफाओं में छिपे आईएसआईएस के आतंकियों के चीथड़े उड़ गए. GBU-43 के प्रहार से आतंकियों को हुए नुकसान का आकलन अभी होना बाकी है, लेकिन इसके पहले इस बम की ताकत जान लीजिए.
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- GBU- 43 अमेरिका का सबसे बड़ा गैर परमाणु बम है. इसे मदर ऑफ ऑल बॉम्ब्स कहा जाता है. इस बम का वजन करीब 10 हजार किलो है. ये बम 30 फुट लंबा और 3 फुट 4 इंच मोटा है.
- GBU-43 से एक बार में 11 टन TNT के बराबर धमाका होता है. इस बम को सुरंग और बंकर तबाह करने में महारत हासिल है.
- अमेरिका के रक्षा विभाग यानी पेंटागन के मुताबिक GBU-43 बम में 11 टन विस्फोटक है. इसे पहली बार इस्तेमाल किया है.
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अमेरिका ने 2003 में इस बम का सफल परीक्षण किया था.इसका अभी तक कहीं इस्तेमाल नहीं हुआ था. ये बम इतना भारी है कि इसे अफगानिस्तान में लड़ाकू विमान की बजाय C-130 नाम के कार्गो विमान से गिराया गया. GBU-43 बम को गिराने के लिए जगह जीपीएस के जरिए जगह की पहचान की गई.
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अमेरिका ने 2003 में फ्लोरिडा के एयर बेस में जब इस बम का परीक्षण किया था. उसके कुछ समय बाद ही रूस ने भी ऐसे ही बम का परीक्षण किया था, जिसे वो फादर ऑफ ऑफ बॉम्ब्स कहता है. GBU- 43 के इस्तेमाल से फिर दुनिया में हथियारों की विनाशलीला बढ सकती है.