![ABP Premium](https://cdn.abplive.com/imagebank/Premium-ad-Icon.png)
Al-Zawahiri Killed: कितनी खतरनाक है अमेरिका की हेलफायर मिसाइल, इसी मिसाइल से मारा गया अल-जवाहिरी
Hellfire R9x Missile: हेलफायर को हेलीबॉर्न लेजर फायर एंड फोर्गेट मिसाइल भी कहा जाता है. भारतीय वायुसेना के अपाचे हेलीकॉप्टर में लॉन्गबो हेलफायर मिसाइल लगी है.
![Al-Zawahiri Killed: कितनी खतरनाक है अमेरिका की हेलफायर मिसाइल, इसी मिसाइल से मारा गया अल-जवाहिरी Hellfire R9x What is Hellfire R9x Missile Used To Kill Al-Qaeda Chief Ayman al-Zawahiri Know Specifications ann Al-Zawahiri Killed: कितनी खतरनाक है अमेरिका की हेलफायर मिसाइल, इसी मिसाइल से मारा गया अल-जवाहिरी](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2022/08/02/84813057d0aa8d7d6b29e047a19e89aa1659436029_original.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=1200&height=675)
Al-Zawahiri Killed: आतंकी संगठन अलकायदा के प्रमुख अल जवाहिरी को जिस हेलफायर मिसाइल से मार गिराया गया उसका एयर और नेवल वर्जन भारत भी इस्तेमाल करता है. अल जवाहिरी को इस हेलफायर मिसाइल के ड्रोन वर्जन यानी सीक्रेट आर9एक्स 'निन्जा बम' से निशाना बनाया गया है. भारतीय वायुसेना ने तीन साल पहले अमेरिका से जो अपाचे हेलीकॉप्टर लिए हैं वो भी हेलफायर मिसाइल से लैस है.
ग्लोबल टेरेरिस्ट अल जवाहिरी को मारने के लिए अमेरिकी खुफिया एजेंसी, सीआईए ने किस ड्रोन का इस्तेमाल किया है इस बात की आधिकारिक जानकारी सामने नहीं आई है लेकिन माना जा रहा है कि रीपर प्रीडेटर-ड्रोन का इस्तेमाल किया गया था. क्योंकि इसी प्रीडेटर ड्रोन से ही हेलफायर मिसाइल को दागा जाता है.
क्यों कहा जाता है फायर एंड फॉरगेट मिसाइल?
हेलफायर को हेलीबोर्न लेज़र फायर एंड फॉरगेट मिसाइल भी कहा जाता है. लेकिन अब इस मिसाइल का लॉन्गबो वर्जन भी आ चुका है जो रडार आधारित है. भारतीय वायुसेना के अपाचे हेलीकॉप्टर में लॉन्गबो हेलफायर मिसाइल लगी है. अपाचे हेलीकॉप्टर में हवा से जमीन (एजीएम) पर मार करने वाली हेलफायर लगी हुई है. कुल आठ हेलफायर मिसाइल एक अपाचे हेलीकॉप्टर में लग सकती हैं. हेलफायर मिसाइल का वजन 47 किलो है और इसकी रेंज 7-11 किलोमीटर है.
लेकिन रिपोर्ट्स की मानें तो अल जवाहिरी को मारने के लिए सीआईए ने हेलफायर मिसाइल के सीक्रेट वर्जन, आर नाइन एक्स (आर9एक्स) का इस्तेमाल किया है. इस मिसाइल का वजन तो उतना ही जितना हेलफायर मिसाइल का होता है लेकिन इसमें वॉरहेड यानी बारूद नहीं होता है. बल्कि इसमें ब्लेड होते हैं जिससे ये एक सटीक निशाना लगाता है और कोलेट्रल डैमेज के चांस बेहद कम होते हैं. यही वजह है कि इसे निन्जा-बम भी कहा जाता है.
किन हेलीकॉप्टर में इस्तेमाल की जा सकती है मिसाइल?
दरअसल, हेलफायर एक मल्टी-मिशन मल्टी टारगेट भी मिसाइल है जिसे जमीन, आकाश और समंदर तीनों से लॉन्च किया जाता है. अमेरिका इस मिसाइल का इस्तेमाल अपाचे हेलीकॉप्टर के अलावा नौसेना के एमएच-60 आर यानि रोमियो हेलीकॉप्टर में भी करता है. भारत ने भी अमेरिका से दो साल पहले 24 रोमियो हेलीकॉप्टर का सौदा किया था. इनमें से दो हेलीकॉप्टर भारत पहुंच चुके हैं और तीसरा इसी महीने पहुंचने वाला है. बाकी हेलीकॉप्टर 2025 तक भारत पहुंच जाएंगे.
स्ट्राइक मिशन में अमेरिका की पहली पसंद है हेलफायर मिसाइल
हेलफायर का इस्तेमाल शुरुआत में एंटी-आर्मर यानि हेलीकॉप्टर से दुश्मन के टैंक, आईसीवी व्हीकल और मिलिट्री ट्रक तबाह करने के लिए इस्तेमाल किया जाता था. लेकिन इसके प्रेसिसयन स्ट्राइक को देखते हुए दुश्मन सेना के बंकर और सैन्य छावनियों को नेस्तानबूत करने के लिए भी इस्तेमाल किया जाने लगा.
क्योंकि यह एक प्रेसिसयन वैपन है इसलिए 'कोलेट्रल-डैमेज' का खतरा भी कम होता है. यही वजह है कि अमेरिका ने अल जवाहिरी को मारने के लिए इस खास हेलफायर मिसाइल का इस्तेमाल किया. क्योंकि काबुल की जिस बिल्डिंग में अल जवाहरी छिपा हुआ था वो एक रिहायशी इलाके का हिस्सा थी. माना जाता है कि अमेरिका ने ईरान के सैन्य कमांडर, कासिम सुलेमानी को मारने के लिए भी इसी हेलफायर और प्रीडेटक ड्रोन का इस्तेमाल किया था.
ट्रेंडिंग न्यूज
टॉप हेडलाइंस
![ABP Premium](https://cdn.abplive.com/imagebank/metaverse-mid.png)
![शशांक शेखर झा, एडवोकेट](https://feeds.abplive.com/onecms/images/author/9b8abdc403deb156892be83734d70d7b.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=70)