Russia Ukraine War: 'रूस और यूक्रेन के प्रयासों से ही आएगी शांति', स्विट्जरलैंड शांति शिखर सम्मेलन में बोला भारत
Russia Ukraine War: स्विट्जरलैंड में शांति शिखर सम्मेलन का आयोजन किया गया, जिसमें भारत समेत 90 से अधिक देशों ने भाग लिया. इस दौरान दुनियाभर के देशों ने यूक्रेन में शांति लाने के प्रयासों पर चर्चा की.
Switzerland Peace Summit: स्विट्जरलैंड में आयोजित शांति शिखर सम्मेलन में भारत ने रूस-यूक्रेन युद्ध पर बड़ा बयान दिया है. भारत ने रविवार (16, जून) को कहा कि रूस और यूक्रेन के बीच केवल ईमानदार और बातचीत ही स्थायी शांति की ओर ले जा सकता है. एक शीर्ष भारतीय राजनयिक ने शांति शिखर सम्मेलन में यह बात कही.
दरअसल, स्विट्जरलैंड में शांति शिखर सम्मेलन का आयोजन किया गया, जिसमें 90 से अधिक देशों ने भाग लिया. विदेश मंत्रालय के सचिव (पश्चिम) पवन कपूर ने कहा कि भारत संयुक्त बयान या शांति शिखर सम्मेलन से निकलने वाले किसी भी दस्तावेज से खुद को नहीं जोड़ेगा, क्योंकि उनका मानना है कि रूस और यूक्रेन दोनों को स्वीकार्य विकल्प ही स्थायी शांति की ओर ले जा सकते हैं.
'बातचीत और कूटनीति के माध्यम से निकलेगा समाधान'
विदेश मंत्रालय के सचिव (पश्चिम) पवन कपूर ने दो मिनट से भी कम समय तक सभा को संबोधित किया. उन्होंने कहा कि यूक्रेन के हालात पर बनी वैश्विक चिंता को भारत भी साझा करता है और संघर्ष के शांतिपूर्ण समाधान की दिशा में किसी भी तरह की सामूहिक इच्छा का समर्थन करता है. शांति शिखर सम्मेलन में भारत की हिस्सेदारी, हमारे इस स्पष्ट और एकरूप रुख के मुताबिक है कि केवल संवाद और कूटनीति से ही स्थायी शांति संभव है. हमारा यकीन है कि स्थायी शांति केवल बातचीत और कूटनीति के माध्यम से ही प्राप्त की जा सकती है.
साझा बयान में नहीं शामिल हुआ भारत
कपूर ने कहा कि भारत यूक्रेन में स्थायी शांति प्राप्त करने के लिए सभी गंभीर प्रयासों में योगदान देने के लिए सभी हितधारकों और संघर्ष के दोनों पक्षों के साथ बातचीत जारी रखेगा, लेकिन उसने शिखर सम्मेलन से निकलने वाले किसी भी संयुक्त विज्ञप्ति का समर्थन नहीं करने का निर्णय लिया है. उन्होंने कहा कि हमारे विचार में, केवल वे विकल्प ही स्थायी शांति की ओर ले जा सकते हैं, जो दोनों पक्षों को स्वीकार्य हों.
2022 फरवरी में शुरू हुआ था युद्ध
बता दें कि फरवरी 2022 में रूस ने यूक्रेन पर हमला बोला था. दोनों देशों के बीच पिछले दो सालों से अधिक समय से युद्ध चल रहा है. हालांकि, भारत ने रूस की सार्वजनिक आलोचना करने से परहेज किया है. भारत ने यूक्रेन युद्ध का समाधान खोजने के लिए लगातार बातचीत और कूटनीति पर जोर दिया है. भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2022 की बैठक के दौरान रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से कहा था कि आज का युग युद्ध का नहीं है.