नई दिल्ली: भारत ने मंगलवार को घोषणा की कि वह अगले दो साल में फिलिस्तीनी शरणार्थियों के लिए संयुक्त राष्ट्र राहत कार्य एजेंसी (UNRWA) में एक करोड़ डॉलर का योगदान देगा. भारत ने साथ ही कहा कि प्रशिक्षण और स्थायी संस्थानों के निर्माण के माध्यम से क्षमता वृद्धि फिलिस्तीन के लिए विकास का एक प्रमुख माध्यम है.


'गरिमापूर्ण जीवन जी सकें फिलिस्तीनी विस्थापित'

UNRWA के लिए एक डिजिटल मंत्रिस्तरीय सम्मेलन को संबोधित करते हुए, विदेश राज्य मंत्री वी मुरलीधर ने कहा कि भारत मेजबान देशों, दाताओं और UNRWA के उदार सहयोग और अथक प्रयासों की बहुत सराहना करता है, जिससे कि अपनी मातृभूमि से विस्थापित होने वाले हमारे लाखों फिलिस्तीनी भाई और बहनें गरिमापूर्वक जीवन जी सकें.

इस सम्मेलन के दौरान वैश्विक महामारी कोरोना वायरस का भी जिक्र आया. वी मुरलीधर ने कहा, ‘‘कोविड-19 महामारी दुनिया भर में कहर बरपा रही है. सरकारें अपने-अपने देशों के लोगों की स्वास्थ्य और सामाजिक-आर्थिक जरूरतों को पूरा करने के लिए संसाधनों को बढ़ा रही हैं.’’

130 मिलियन डॉलर जुटाए गए

UNRWA संयुक्त राष्ट्र संघ की एक संस्था है जो 50 लाख से ज्यादा फिलिस्तीनी शरणार्थियों को सुरक्षा, स्वास्थ्य, शिक्षा और अन्य राहत पहुंचाने के लिए जिम्मेदार है.

रिपोर्ट्स के मुताबिक इस बैठक के दौरान 75 देशों और गैर सरकारी संगठनों ने मिलकर UNRWA के लिए 130 मिलियन डॉलर की राशि जुटाई गई.

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