एक तरफ जहां ब्रिटेन में फाइजर कंपनी के वैक्सीन को मंजूरी देकर बड़े पैमाने पर वैक्सीनेशन की इजाजत दी है, तो वहीं दूसरी तरफ सुरक्षा एजेंसियों ने वैक्सीन की सुरक्षा के प्रति आगाह किया है. ऐसा वैक्सीन की शुरुआती वक्त में कम सप्लाई और काफी मांग की वजह से है. यहां पर मंगलवार को वैक्सीनेशन का काम शुरू हो रहा है. ऐसे में खुफिया एजेंसियों ने सरकार को बताया है कि अपराधियों के गैंग वैक्सीन तक पहुंचने के लिए इसकी लूटपाट की वारदात को अंजाम दे सकते हैं.
ब्रिटेन में वैक्सीन की सप्लाई पर नजर रखने के लिए सेंट्रल मॉनिटरिंग स्टेशन बनाया गया है. द सन की रिपोर्ट के मुताबिक, वैक्सीन को लेकर सुरक्षा बढ़ा दी गई है. वहां पर लगभग पचास अस्पतालों में वैक्सीनेशन का काम शुरू किया जा रहा है. ब्रिटेन में फाइजर कंपनी ने बेल्जियम से वैक्सीन की डिलिवरी करवाई है.
रिपोर्ट के अनुसार, इंटरपोल ने दुनिया के विभिन्न देशों को यह चेतावनी दी है कि कोरोना वैक्सीन की लूट हो सकती है. उसका ऐसा कहना है कि अपराधियों का समूह वैक्सीन की सप्लाई चेन में बाधा खड़ी कर सकता है. ऐसे में ब्रिटेन में वैक्सीनेशन कार्यक्रम के लिए करीब 14 हजार सैनिकों को स्टैंडबाय रखा गया है.
स्कॉटलैंड यार्ड के एक पूर्व जांचकर्ता ने कहा कि अपराधी वैक्सीन से भरी गाड़ी हाइजैक कर सकते हैं और बदले में पैसे मांग सकते हैं. इधर, इंटरपोल के सेक्रेटरी जनरल जुर्गन स्टॉक ने यह भी कहा है कि सीमित सप्लाई और भारी मांग की वजह से अपराधियों की नजर में कोरोना वैक्सीन की वैल्यू लिक्विड गोल्ड के बराबर हो गई है.
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